कोचिग संस्थाओं के द्वार पर शोहदों का आतंक

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By JagranEdited By: Publish:Sat, 19 Oct 2019 09:26 PM (IST) Updated:Sat, 19 Oct 2019 09:26 PM (IST)
कोचिग संस्थाओं के द्वार पर शोहदों का आतंक
कोचिग संस्थाओं के द्वार पर शोहदों का आतंक

जागरण संवाददाता, बलिया: सरकार बालिका सुरक्षा के लाख दावे कर रही हो, लेकिन जनपद में उसका कहीं भी कोई असर नहीं दिख रहा है। बालिकाओं और महिलाओं की सुरक्षा के उद्देश्य से बनाई गई एंटी रोमियो स्क्वायड तो पूरी तरह लापता ही हैं। न तो उसका कहीं अभियान दिखाई देता है और न ही कोई कारवाई। हां, अगर प्रदेश में कहीं कोई बड़ी घटना हो जाती है तो यह एंटी रोमियो टीम औपचारिक तौर पर एकाध दिनों के लिए सड़क पर अभियान चलाते हुए जरूर दिख जाती हैं। इसके बाद यह टीम गायब हो जाती है। कोचिग संस्थानों के आसपास शोहदों का जमावड़ा एंटी रोमियो स्क्वायड की तत्परता के दावे की सारी पोल खोलने के लिए काफी है। उदाहरण के तौर पर, द्वारकापुरी कॉलोनी में चल रहे कोचिग संस्थानों में जाने वाले रास्ते की शुरुआत में ही शोहदों का आतंक देखने को मिलता है। कभी पूरे रास्ते पर ये अराजक तत्व खड़े रहते हैं तो कभी किसी बालिका पर छींटाकशी भी कर देते हैं। इससे कोचिग जाने वाली बालिका कई बार शर्मसार हो जाती हैं। लेकिन इस गंभीर समस्या को लेकर जनपद की पुलिस पूरी तरह मौन धारण की हुई है। पास में पुलिस चौकी, फिर भी लगा रहता जमावड़ा

सबसे बड़ी बात कि सिविल लाइन पुलिस चौकी द्वारिकापुर कॉलोनी से महज 50 मीटर की दूरी पर है। सुबह-शाम वहां पुलिस भी तैनात रहती है। बावजूद इसके संस्थान के मुख्य द्वार पर दर्जनों ऐसे लड़के मिल जाएंगे जो अराजक तत्व के रूप में खड़े रहते हैं। उनको न तो कोई टोकने वाला है और न ही कोई रोकने वाला। न ही उनके अंदर पुलिस का डर है और न ही भय। एंटी रोमियो स्क्वायड तो अपने दायित्वों को पूरी तरह भूल ही चुकी है। इस तरह निश्चित रूप बालिकाओं और महिलाओं की सुरक्षा के सरकार के दावे पर सवालियां निशान खड़ा हो जाता है।

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