प्रतापगढ़ में कुंडा विधायक राजा भैया के पिता उदय प्रताप व उनके 10 समर्थक नजरबंद, भदरी आवास पर फोर्स तैनात

प्रतापगढ़ में कुंडा विधायक रघुराज प्रताप सिंह (राजा भैया) के पिता उदय प्रताप सिंह के भदरी आवास पर फोर्स तैनात कर दी गई है। वहीं उदय प्रताप सिंह को घर में नजरबंद कर दिया गया है।

By Brijesh SrivastavaEdited By: Publish:Sat, 29 Aug 2020 12:00 PM (IST) Updated:Sat, 29 Aug 2020 05:41 PM (IST)
प्रतापगढ़ में कुंडा विधायक राजा भैया के पिता उदय प्रताप व उनके 10 समर्थक नजरबंद, भदरी आवास पर फोर्स तैनात
प्रतापगढ़ में कुंडा विधायक राजा भैया के पिता उदय प्रताप व उनके 10 समर्थक नजरबंद, भदरी आवास पर फोर्स तैनात

प्रयागराज, जेएनएन। प्रतापगढ़ में कुंडा विधायक रघुराज प्रताप सिंह (राजा भैया) के पिता उदय प्रताप सिंह के भदरी आवास पर शनिवार की सुबह पुलिस फोर्स तैनात कर दी गई। उदस प्रताप सिंह और उनके 10 समर्थकों को शाम पांच बजे से नजरबंद कर दिया जाएगा। उनके समर्थकों के घरों पर भी नोटिस तामील करा दी है।

दसवीं मोहर्रम के दिन भंडारे के आयोजन पर रोक लगाई गई है

जिला प्रशासन ने कुंडा स्थित शेखपुर आशिक गांव में हर साल की तरह इस बार भी उदय प्रताप सिंह के हनुमान मंदिर पर दसवीं मोहर्रम के दिन भंडारे के आयोजन पर रोक लगा दी है। इससे क्षेत्र में तनाव की स्थिति है।  जिलाधिकारी के निर्देश पर भारी संख्या में हनुमान मंदिर और भदरी स्थित उदय प्रताप सिंह के आवास पर पुलिस फोर्स तैनात कर दी गई है।

पिछले पांच सालों से मोहर्रम पर यह तनाव बनता है

शांति व्यवस्था कायम रखने के लिए 31 अगस्त तक पुलिस फोर्स तैनात रहेगी। किसी भी स्थिति से निपटने के लिए दो प्लाटून पीएसी भी लगा दी गई है। पिछले पांच सालों से मोहर्रम पर यह तनाव बनता है। प्रशासन शांति व्यवस्था के मद्देनजर वर्ष 2016 से भंडारे का आयोजन नहीं होने दे रहा है। इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ बेंच ने उदय प्रताप सिंह व अन्य की याचिका पर पूर्व में जिला प्रशासन को निर्देशित किया था कि वह परिस्थितियों के अनुरूप फैसला ले।

2005 में 10 वीं मोहर्रम के दिन बंदर की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी

उल्लेखनीय है कि कुंडा तहसील क्षेत्र के शेखपुर आशिक गांव में वर्ष 2005 में 10 वीं मोहर्रम के दिन बंदर की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। वर्ष 2014 में 10 वीं मोहर्रम पर उदय प्रताप ने हनुमान चालीसा का पाठ कराने साथ ही भंडारे के आयोजन की शुरुआत की थी। अगले वर्ष वृहद पैमाने पर आयोजन से तनाव बढ़ गया था।

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