शिक्षा सेवा अधिकरण के विरोध में सड़क पर उतरेंगे इलाहाबाद हाई कोर्ट के अधिवक्ता, शुक्रवार को भी न्यायिक कार्य बहिष्कार

शिक्षा सेवा अधिकरण को लेकर इलाहाबाद हाई कोर्ट के वकीलों का गुस्सा बढ़ता जा रहा है। लगातार दूसरे दिन गुरुवार को हाई कोर्ट में न्यायिक कामकाज ठप रहा। शुक्रवार को सैकड़ों अधिवक्ता अधिकरण के विरोध में सड़क पर उतरेंगे।

By Umesh TiwariEdited By: Publish:Thu, 25 Feb 2021 11:37 PM (IST) Updated:Thu, 25 Feb 2021 11:38 PM (IST)
शिक्षा सेवा अधिकरण के विरोध में सड़क पर उतरेंगे इलाहाबाद हाई कोर्ट के अधिवक्ता, शुक्रवार को भी न्यायिक कार्य बहिष्कार
शिक्षा सेवा अधिकरण के विरोध में इलाहाबाद हाई कोर्ट के अधिवक्ता शुक्रवार को भी न्यायिक कार्य बहिष्कार करेंगे।

प्रयागराज, जेएनएन। शिक्षा सेवा अधिकरण को लेकर इलाहाबाद हाई कोर्ट के वकीलों का गुस्सा बढ़ता जा रहा है। लगातार दूसरे दिन गुरुवार को हाई कोर्ट में न्यायिक कामकाज ठप रहा। अधिवक्ताओं ने मुकदमे दाखिल किए और न ही सुनवाई हुई। शुक्रवार को सैकड़ों अधिवक्ता अधिकरण के विरोध में सड़क पर उतरेंगे। न्यायविद हनुमान मंदिर से सुभाष चौराहे तक पैदल मार्च निकाला जाएगा। साथ ही हाई कोर्ट बार कहा है कि न्यायिक कार्य से बहिष्कार का फैसला शुक्रवार को भी जारी रहेगा।

हाई कोर्ट बार एसोसिएशन की बैठक लाइब्रेरी हाल में हुई। आमसभा में कहा गया कि अधिकरण से न्यायिक, सामाजिक व राजनीतिक उद्देश्यों की पूर्ति नहीं होती, ये गैर जरूरी है। चंद अफसरों की सुविधा के लिए अधिनियम पारित किया गया है। वहीं, शिक्षक व शिक्षणेतर कर्मियों ने कभी अधिनियम की मांग नहीं की, इसीलिए केंद्र सरकार ने अधिकरणों को समाप्त करने का उचित निर्णय लिया है।

सुप्रीम कोर्ट ने भी अपने फैसलों में अधिकरणों को गैर जरूरी बताया है। अधिकरण सिर्फ राजकीय खजाने पर बोझ बन कर रह गए हैं। दूसरी ओर राज्य सरकार इलाहाबाद के महत्व को नजरअंदाज कर नौकरशाहों के दबाव में अधिकरण की पीठ के मामले में काम कर रही है। बैठक की अध्यक्षता अमरेंद्र नाथ सिंह ने और संचालन प्रभाशंकर मिश्र ने किया।

बैठक में निर्णय लिया गया कि शुक्रवार को अधिवक्ता सुबह साढ़े ग्यारह बजे हाईकोर्ट चौराहा न्यायविद हनुमान मंदिर पर एकत्र होकर सुभाष चौराहे तक जुलूस के रूप में अधिकरण की प्रधानपीठ प्रयागराज में न बनाए जाने का विरोध करेंगे। वहीं, सर्वसम्मति से आंदोलन जारी रखने का भी निर्णय लिया गया। बैठक में जमील अहमद आजमी, अजय कुमार मिश्र, अनिल पाठक, केके मिश्र, रजनीकांत राय, अंजू श्रीवास्तव, अभिषेक शुक्ला, दिलीप कुमार पांडेय, राजेंद्र सिंह, मंजू पांडेयए दुर्गेश चंद्र तिवारी तथा कार्यकारिणी के सभी सदस्य व अधिवक्ता उपस्थित थे।

विभिन्न संगठनों का समर्थन : अधिकरण के विरोध में अधिवक्ताओं के आंदोलन को कई संगठनों का समर्थन मिला है। इंटरनेशनल एडवोकेट काउंसिल के वीके उपाध्याय, संदीप श्रीवास्तव ने इसे तानाशाही बताया है। उत्तर प्रदेश माध्यमिक शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष अनिल कुमार मिश्र के अलावा कैट बार एसोसिशन व अन्य संगठनों ने कार्य बहिष्कार का समर्थन किया है।

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