आज सुबह सात से रात आठ बजे तक खुलेंगे शापिग मॉल व दुकानें

जिला प्रशासन ने रक्षाबंधन के मद्देनजर लोगो को राहत देते हुए दो अगस्त को लॉकडाउन से छूट दी है।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 02 Aug 2020 06:40 AM (IST) Updated:Sun, 02 Aug 2020 06:40 AM (IST)
आज सुबह सात से रात आठ बजे तक खुलेंगे शापिग मॉल व दुकानें
आज सुबह सात से रात आठ बजे तक खुलेंगे शापिग मॉल व दुकानें

जागरण संवाददाता, लुधियाना : जिला प्रशासन ने रक्षाबंधन के मद्देनजर लोगो को राहत देते हुए दो अगस्त को लॉकडाउन से छूट दी है। यह जानकारी देते हुए डीसी वरिदर शर्मा ने बताया कि रविवार को शापिग मॉल व सभी दुकानें सुबह सात से रात आठ बजे तक खुली रहेंगी। डीसी ने फेसबुक पर लाइव होकर लोगो से अपील की है कि त्योहार को सादगी से मनाएं। कम से कम लोग घरों से निकलें ताकि कोरोना की चेन बढ़ने रोक सकें।

दुकानदार यह भी सुनिश्चत करें कि सेहत विभाग द्वारा जारी गाइडलाइन का पालन किया जाए। बिना मास्क दुकानों में न आने दें, सैनिटाइजर की व्यवस्था दुकानदार करें, दुकान या व्यापारिक परिसर में शारीरिक दूरी का पालन सुनिश्चत किया जाए। डीसी ने लोगो को आगाह करते हुए कहा कि आने वाले आठ सप्ताह तक हम सब लोगो को सतर्क रहना होगा। इस दौरान कोरोना के बढ़ने की गति और बढ़ सकती है। इसी को देखते हुए आवश्यक कार्य होने पर ही घर से निकलें। डीसी ने कहा कि मिठाईं विक्रेताओं को मिठाई के डिब्बे के साथ दो मास्क निश्शुल्क देने के निर्देश दिए गए हैं। इधर, होटल कारोबारी मौजूदा हालात पर चार को करेंगे मंथन

होटल एंड रेस्टोरेंट एसोसिएशन ऑफ पंजाब की हंगामी बैठक चार अगस्त को बुलाई गई है। इसमें एसोसिएशन के पदाधिकारी कोरोना महामारी के दौरान बनी परिस्थितियों पर मंथन करेंगे और सरकार को सुझाव देंगे।

बैठक को लेकर सूबा प्रधान अमरवीर सिंह का कहना है कि होटल एंड रेस्टोरेंट उद्योग बुरे दौर से गुजर रहा है। सरकार ने सशर्त होटल एवं रेस्टोरेंट को खोलने की इजाजत दी है, लेकिन अभी तक बार, पब, नाइट क्लब इत्यादि बंद हैं। इसके अलावा विवाह में भी तीस लोगों को लाने की इजाजत है। ऐसे में कारोबारियों का खर्च तक पूरा नहीं हो रहा है। दूसरी तरफ सरकार के तय खर्च मसलन बिजली के चार्जेज समेत अन्य टैक्स लगातार पड़ रहे हैं। अमरवीर ने कहा कि सख्त सरकारी शर्तों के कारण अभी तक आधे होटल एवं रेस्टोरेंट तो खुल ही नहीं पाए हैं। जो खुले हैं उनको भी बंद करने का फैसला बैठक में लिया जा सकता है।

अमरवीर का कहना है कि सरकारी फरमान समझ से परे हैं। एक तरफ बस में पचास सवारियां ले जाने की इजाजत है, जबकि होटल के बड़े हाल में विवाह समारोह के दौरान केवल तीस लोग ही लाए जा सकते हैं। उन्होंने कहा कि होटल कारोबारी अपना आस्तित्व बचाने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। उनके लिए अब होटल एवं रेस्टोरेंट बंद करने के अलावा कोई रास्ता नहीं है। बैठक में तमाम तरह के मुद्दों पर विचार करके फैसला लिया जाएगा।

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