शराब फैक्ट्री के विरोध में महिलाओं ने संभाला मोर्चा

जिले के गांव हीरांवाली में 30 गांवों की पंचायतों की ओर से शराब फैक्ट्री को लेकर पिछले 20 दिनों से फाजिल्का-अबोहर हाईवे पर धरना देकर प्रदर्शन किया जा रहा है।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 06 Mar 2021 10:49 PM (IST) Updated:Sat, 06 Mar 2021 10:49 PM (IST)
शराब फैक्ट्री के विरोध में महिलाओं ने संभाला मोर्चा
शराब फैक्ट्री के विरोध में महिलाओं ने संभाला मोर्चा

संवाद सूत्र, खुईखेड़ा (फाजिल्का) : जिले के गांव हीरांवाली में 30 गांवों की पंचायतों की ओर से शराब फैक्ट्री को लेकर पिछले 20 दिनों से फाजिल्का-अबोहर हाईवे पर धरना देकर प्रदर्शन किया जा रहा है। जहां पुरुषों द्वारा भूखहड़ताल की जा रही है, वहीं महिलाएं भी लगातार भूख हड़ताल पर बैठे रही हैं, जबकि अब धरने पर दिए जा रहे रोष धरने की स्टेज भी महिलाओं ने संभालनी शुरू कर दी है।

शनिवार को गांव हीरांवाली निवासी इंदिरा देवी, सुदेश कुमार, बिमला देवी, मूर्ति देवी, गुरमीत कौर, परमेसवरी देवी, कमला देवी, बस्ती राम भाटिया, सरवन कुमार, त्रिलोक चंद वर्मा, गांव बेगांवाली निवासी प्रिथी राम मेघवाल, गांव बोदीवाला निवासी राम सिंह भूख हड़ताल पर बैठे। इस मौके महिलाओं ने कहा कि दिल्ली में जहां कृषि कानूनों को लेकर किए जा रहे संघर्ष में महिलाएं बढ़ चढ़कर सहयोग कर रही हैं। वहीं शराब फैक्ट्री के विरोध में चल रहे धरने पर वह नारी शक्ति के रूप में धरने की अगुवाई कर रही हैं। उन्होंने कहा कि शराब फैक्ट्री लगने के साथ जहां यहां का पानी प्रदूषित हो जाएगा। वहीं सांस लेने में दिक्कत होगी। बड़े लोग तो पलायन करके जा सकते हैं, लेकिन जिन लोगों ने मेहनत से थोड़े थोड़े पैसे जोड़कर घर बनाया, वह गांव छोड़कर नहीं जा सकते। इसलिए उनका संघर्ष तब तक जारी रहेगा, जब तक इस फैक्ट्री को जिले से बाहर नहीं ले जाया जाता। इस मौके सरपंच अनिल झींझा, गांव बेगांवाली के सरपंच सुरिद्र कुमार, विक्रमजीत सिंह, राजेश कुमार, सुरिद्र कुमार, राये सिंह, गौरव झींझा, मनोज कुमार व बिक्रम ने बताया कि शराब फैक्ट्री को लेकर अब तक कई बैठकें जिला प्रशासन के साथ हो चुकी हैं। लेकिन अभी तक उनकी समस्या का हल नहीं हुआ। उन्होंने कहा कि उनके गांवों का पानी पहले ही पीने योग्य नहीं है, लेकिन इसके बावजूद हीरांवाली गांव में एक प्राइवेट कंपनी की ओर से शराब की फैक्ट्री लगाई जा रही है। यदि उनके गांव में शराब फैक्ट्री लगती है तो फैक्ट्री से निकलने वाले गंदे पानी से जमीनी पानी भी गंदा हो जाएगा, जिस कारण पीने वाले पानी पर बुरा प्रभाव पड़ेगा। इसके अलावा उक्त फैक्ट्री के लगने से माइनर का पानी भी फैक्ट्री को मिलेगा, जिससे किसानों को सिचाई का पानी पर्याप्त मात्रा में नहीं मिल पाएगा।

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धरना स्थल पर लगाई प्रदर्शनी

ग्रामीणों की ओर से धरना स्थल पर शराब फैक्ट्री के लगने के साथ क्या-क्या वस्तुएं प्रभावित होंगे, के संबंध में प्रदर्शनी भी लगाई गई है। धरना स्थल पर बनाई गई स्टेज के साथ पांच घड़े एक टेबल पर रखे गए हैं, जिस पर पहले घड़े पर नस्ल, दूसरे पर फसल, तीसरे पर हवा, चौथे पर पानी और पांचवें पर धरती लिखा गया है। ग्रामीणों के अनुसार शराब फैक्ट्री लगने से साथ यह सभी पांच तत्व प्रभावित होंगे। सुखबीर बादल का दौरा हुआ रद

दो दिन पहले शराब फैक्ट्री के विरोध में ग्रामीणों का एक शिष्टमंडल शिअद के अध्यक्ष एवं फिरोजपुर के सांसद सुखबीर सिंह बादल से मिला था, जिस संबंध में सुखबीर सिंह बादल शनिवार को सुबह 11 बजे धरना स्थल पर पहुंचने वाले थे। लेकिन उनका शनिवार का दौरा रद हो गया। शिअद नेता नरिद्रपाल सिंह सवना ने बताया कि किसी जरूरी बैठक के चलते सांसद बादल का दौरा रद हुआ है, वह जल्द ही ग्रामीणों की समस्या सुनने के लिए आएंगे।

शिअद-भाजपा सरकार ने दी थी शराब फैक्ट्री की मंजूरी : संदीप जाखड़

संस, अबोहर : बीते काफी दिनों से फाजिल्का जिले के गांव हीरा वाली में जिस शराब फैक्ट्री का विरोध क्षेत्र के लोग कर रहे हैं वह शराब फैक्ट्री अकाली- भाजपा सरकार की ही देन है। यह कहना है कांग्रेस प्रभारी संदीप जाखड़ का। उन्होंने कहा कि पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सुनील जाखड़ ने यह खुलासा न किया होता तो अकाली भाजपा नेता इस पर अपना राजनीतिक ड्रामा करते रहते। संदीप ने कहा कि कुछ दिन पहले ही भाजपा के पूर्व मंत्री सुरजीत ज्याणी गांववासियों की समस्याएं सुनने उनके पास धरने में गए थे और गांववासियों ने फिरो•ापुर से सांसद व अकाली दल प्रधान सुखबीर सिंह बादल से इस फैक्ट्री के विरोध में शामिल होने की घोषणा की थी। इस फैक्ट्री को लगाने के लिए मंजूरी साल 2015 में अकाली भाजपा कार्यकाल के दौरान ही अपने चहेतों को दी गई थी। उन्होंने कहा कि यह लाइसेंस जारी करने के समय आबकारी विभाग के मंत्री सुखबीर सिंह बादल स्वयं थे।

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