12वीं कक्षा की इतिहास की पुस्तक के नए चैप्टर पर विवाद

-शिअद ने कहा- बोर्ड वापस ले किताबें, सिख गुरुओं के बारे में अपमानजनक शब्दावली का आरोप

By JagranEdited By: Publish:Wed, 24 Oct 2018 09:28 PM (IST) Updated:Wed, 24 Oct 2018 09:28 PM (IST)
12वीं कक्षा की इतिहास की पुस्तक के नए चैप्टर पर विवाद
12वीं कक्षा की इतिहास की पुस्तक के नए चैप्टर पर विवाद

-शिअद ने कहा- बोर्ड वापस ले किताबें, सिख गुरुओं के बारे में अपमानजनक शब्दावली का आरोप

-शिक्षा मंत्री और बोर्ड के चेयरमैन को तुरंत बर्खास्त करने की मंाग

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राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़: पंजाब स्कूल शिक्षा बोर्ड की 12वीं कक्षा की इतिहास की पुस्तकों के नए चैप्टरों की सामग्री पर विवाद शुरू हो गया है। शिरोमणि अकाली दल ने इन्हें तुरंत वापस लेने की माग की है। पार्टी ने कहा कि इन चैप्टरों में बोर्ड ने न सिर्फ इतिहास को तोड़ा-मरोड़ा है, बल्कि सिख गुरु साहिबान और सिख पंथ को भी बदनाम करने की कोशिश की है।

पूर्व शिक्षा मंत्री डॉक्टर दलजीत सिंह चीमा ने कहा कि ऑनलाइन जारी किए गए नए चैपटरों में ढेर सारी गलतियां हैं। यह सिख गुरु साहिबान और सिख धार्मिक ग्रंथों से जुड़े ऐतिहासिक तथ्यों को तोड़ने-मरोड़ने की खतरनाक साजिश है। इतनी बड़ी गलती के लिए शिक्षा मंत्री ओपी सोनी और पंजाब स्कूल शिक्षा बोर्ड के चेयरमैन मनोहर कात कलोहिया की तुरंत पदों से बर्खास्त करना चाहिए।

चीमा ने कहा कि सिख पंथ कभी भी काग्रेस सरकार को पंजाब व सिख इतिहास के साथ खिलवाड़ नहीं करने देगा। उन्होंने कहा कि इन विवादग्रस्त चैप्टरों को तुरंत वापस लिया जाए, नहीं तो अकाली दल जन आदोलन करेगा। चीमा ने कहा कि ऐसा लगता है कि काग्रेस सरकार गुरु साहिबानों व सिख इतिहास के बारे में इतिहास की पुस्तकों में गलत व गुमराह करने वाली जानकारी डालकर हमारी नौजवान पीढ़ी को उनके इतिहास तथा संस्कृति से अलग करना चाहती है। उन्होंने कहा कि इतिहास की पुस्तक के संशोधित तीसरे व पाचवें चैप्टरों में गुरु साहिबानों के बारे में बहुत ही गलत जानकारी दी गई है। गुरु साहिबान और शहरों का निरादर

अकाली नेता ने कहा कि एक पंक्ति में यह लिखा है कि दसवें गुरु साहिबान ने भीमचंद से नाराज होकर आलीशान नाम का एक गाव लूटा था। उन्होंने कहा कि इसी तरह श्री गुरु अर्जुन देव जी की शहीदी के बारे में तथ्यों को तोड़ मरोड़कर यह प्रभाव देने की कोशिश की गई है कि गुरु साहिबान की सजा को जुर्माने में बदलने के बाद उनको सिर्फ शारीरिक यातनाएं दी गई थी, शहीद नहीं किया गया था। उन्होंने कहा कि इसके अलावा गुरु साहिबान के नाम सही तरीके से न लिखकर उनका निरादर किया गया है। सिख इतिहास के साथ जुड़े शहरों के पीछे 'साहिब' हटाकर ऐतिहासिक शहरों का अपमान किया गया है। अभी तक 11वीं की इतिहास की पुस्तक का सिर्फ एक चैप्टर आनॅलाइन जारी किया गया है, जबकि परीक्षा में सिर्फ कुछ ही महीने बचे हैं। यहा तक कि 12वीं कक्षा की इतिहास की पुस्तक के भी सिर्फ 5 चैप्टर ही जारी किए गए हैं। इनमें भी ढेर सारी गलितया हैं।

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