नई बिल्डिंग की बेसमेंट में वाहनों के लिए लगाना होगा चार्जिग प्वाइंट, अन्यथा नहीं मिलेगी अप्रूवल Chandigarh news

बढ़ते प्रदूषण की वजह से शहर की आबोहवा लगातार जहरीली हो रही है। एयर क्वालिटी इंडेक्स लेवल बढ़ने का मुख्य कारण वाहनों से निकलने वाला धुआं भी है।

By Edited By: Publish:Wed, 19 Feb 2020 09:25 PM (IST) Updated:Thu, 20 Feb 2020 09:33 AM (IST)
नई बिल्डिंग की बेसमेंट में वाहनों के लिए लगाना होगा चार्जिग प्वाइंट, अन्यथा नहीं मिलेगी अप्रूवल Chandigarh news
नई बिल्डिंग की बेसमेंट में वाहनों के लिए लगाना होगा चार्जिग प्वाइंट, अन्यथा नहीं मिलेगी अप्रूवल Chandigarh news

चंडीगढ़, बलवान करिवाल। बढ़ते प्रदूषण की वजह से शहर की आबोहवा लगातार जहरीली हो रही है। एयर क्वालिटी इंडेक्स लेवल बढ़ने का मुख्य कारण वाहनों से निकलने वाला धुआं भी है। इन वाहनों की जगह इलेक्ट्रिक वाहन ले सकें, इसलिए इन वाहनों के लिए शहर में इंफ्रास्ट्रक्चर तैयार होगा। नई बिल्डिंग कंस्ट्रक्शन करते समय इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए अनिवार्य रूप से चार्जिंग प्वाइंट बनाने होंगे। सरकारी बिल्डिंग में तो यह अनिवार्य कर ही दिया गया है। अब निजी बिल्डिंग में भी चार्जिंग प्वाइंट उपलब्ध कराने के लिए नियम बनेगा। बिना चार्जिंग प्वाइंट के बिल्डिंग प्लान अप्रूव ही नहीं होगा। यूटी प्रशासन इस पर काम कर रहा है।

बिल्डिंग अर्बन रूल्स में संशोधन की तैयारी

जिस तरह से इतने एरिया की बिल्डिंग पर सोलर प्लांट लगाना अनिवार्य है। इसी तरह से इलेक्ट्रिक चार्जिंग स्टेशन भी बनाने जरूरी होंगे। इसके लिए बिल्डिंग अर्बन रूल्स में संशोधन करने की तैयारी है।

यूटी सेक्रेटेरिएट और हाउसिंग बोर्ड की नई बिल्डिंग को इसी तरह से किया है डिजाइन

नए नियम में जो भी बड़ी बिल्डिंग बनेगी उसकी बेसमेंट पार्किंग में इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए चार्जिंग स्टेशन भी बनाने होंगे। यूटी सेक्रेटेरिएट और चंडीगढ़ हाउसिंग बोर्ड की नई बिल्डिंग को इसी तरह से डिजाइन किया गया है। इन दोनों बिल्डिंग की बेसमेंट में पार्किंग बनाई गई है। इस पार्किंग में इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए चार्जिंग प्वाइंट भी होंगे। एक बिल्डिंग में पांच से अधिक प्वाइंट बनाए जाएंगे।

ऑटो कैब भी होंगे इलेक्ट्रिक

निजी वाहनों के साथ-साथ ऑटो और कैब को भी क्लीन फ्यूल से संचालित किया जाएगा। डीजल ऑटो चंडीगढ़ में पहले ही बैन हैं। हालांकि चोरी छिपे कुछ ऑटो अभी भी दौड़ रहे हैं, लेकिन अब शहर में सिर्फ सीएनजी और इलेक्ट्रिक ऑटो ही चलें, यह सुनिश्चित किया जाएगा। ऐसे वाहनों को बढ़ावा देने के लिए ट्रांसपोर्ट डिपार्टमेंट पॉलिसी भी बना रहा है। इन वाहनों को रोड टैक्स की पहले ही छूट है। अब रजिस्ट्रेशन के साथ पार्किंग फीस भी छोड़ने की तैयारी है। कई और छूट दी जाएंगी। इसी तरह से डीजल कैब भी एक साल ही चल सकती है। इसके बाद शहर में पेट्रोल, सीएनजी और इलेक्ट्रिक कैब ही चल सकेंगी।

40 इलेक्ट्रिक बसों के लिए टेंडर जारी

चंडीगढ़ ट्रांसपोर्ट अंडरटेकिंग (सीटीयू) ने 40 इलेक्ट्रिक बस चलाने के लिए दोबारा से टेंडर जारी किया है। इसकी फाइनेंशियल बिड खुलने वाली है। यह बसें सोसायटी प्रति किलोमीटर स्कीम के तहत चलाएगी। कई कंपनियों ने बसें चलाने के लिए आवेदन किया है। जो फाइनल होगी वह शहर में बसें चलाएगी।

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