कंक्रीट जंगलों के बीच बनेंगे Urban Forest Park , प्रदूषण से बचाने के लिए सरकार का नया कदम
Urban Forest Park कटक एवं भुवनेश्वर में कंक्रीट जंगल के बीच सात जगहों पर शहरी वन उद्यान स्थापित किए जाएंगे। भुवनेश्वर नगर निगम (BMC) कटक नगर निगम (CMC) या फिर ओडिशा वन विकास निगम को इसके निर्माण का दायित्व दिया जाएगा।
भुवनेश्वर, जागरण संवाददाता। कटक एवं भुवनेश्वर में सात जगहों पर शहरी वन उद्यान अर्थात अर्बन फॉरेस्ट पार्क बनाया जाएगा। शहर में कंकरीट जंगल (Concrete Forest) के बीच कृत्रिम जंगल (Artificial Forest) स्थापित किया जाएगा। जंगल परिवेश के बीच लोगों को चित्तविनोद का अवसर मिलेगा। इसके लिए वन विभाग ने ब्लू प्रिंट तैयार किया है। शहर के अंदर जंगल का प्रवेश मुहैया कराने के उद्देश्य से जुड़वा नगरी कटक एवं भुवनेश्वर में 7 फॉरेस्ट पार्क बनाया जाएगा। इसमें से 5 फॉरेस्ट पार्क कटक में होगा जबकि दो फॉरेस्ट पार्क भुवनेश्वर में बनाया जाएगा। इसके संचालन का दायित्व ओएफडीसी संभालेगी।
कंकरीट जंगल से बढ़ा प्रदूषण
जंगलों की हो रही अंधाधुंध कटाई (Deforestation) एवं कंकरीट जंगल के बढ़ने से पर्यावरण प्रदूषित हो रहा है। शहर के अंदर जंगल पर्यावरण सृष्टि करने के लिए सरकारी स्तर पर यह कदम उठाया गया है। पहले चरण में कटक एवं भुवनेश्वर में यह 7 अर्बन फॉरेस्ट पार्क बनाया जाएगा। भुवनेश्वर कुआखाई नदी तट पर कोरनकंटा में, कटक में उत्तमपुर, बेलगछिया, अरिलो, सेक्टर 8, ब्रजराज पुर आदि जगहों पर फॉरेस्ट पार्क बनाने के लिए जगह की पहचान की गई है। 15 एकड़ से अधिक जमीन में फॉरेस्ट पार्क निर्माण करने के लिए वन विभाग ने ब्लू प्रिंट तैयार किया है। भुवनेश्वर में मौजूद जयदेव वाटिका शैली में यह पार्क बनाया जाएगा। भुवनेश्वर नगर निगम (बीएमसी), कटक नगर निगम (सीएमसी) या फिर ओडिशा वन विकास निगम को इसके निर्माण का दायित्व दिया जाएगा।
सरकार के निर्णय का स्वागत
जुड़वा नगरी में लोगों की आवश्यकता पूरा करने के लिए पार्क की कमी है। ऐसे में अर्बन फॉरेस्ट पार्क बन जाने से लोगों की आवश्यकता भी पूरी होगी। भुवनेश्वर, कटक में अधिक अर्बन फॉरेस्ट पार्क स्थापित करने के लिए सरकार ने जो निर्णय लिया है उसका लोगों ने स्वागत किया है। इसके अलावा बहुत जल्द राज्य में दो नगर वन बनाने की भी सरकार की योजना है। एक नगर वन भुवनेश्वर के पात्रपड़ा स्थित औषधीय वृक्ष संज्ञान केंद्र के पास एवं अन्य एक इस्पात नगरी राउरकेला में प्रतिष्ठा किया जाएगा।