राज्य में बढ़ता जा रहा महिलाओं पर अत्याचार

राज्य में दिन प्रतिदिन महिलाओं पर अत्याचार बढ़ता ही जा रहा है। र

By JagranEdited By: Publish:Sat, 09 Feb 2019 07:57 PM (IST) Updated:Sat, 09 Feb 2019 07:57 PM (IST)
राज्य में बढ़ता जा रहा महिलाओं पर अत्याचार
राज्य में बढ़ता जा रहा महिलाओं पर अत्याचार

जागरण संवाददाता, भुवनेश्वर : राज्य में दिन प्रतिदिन महिलाओं पर अत्याचार बढ़ता ही जा रहा है। राज्य महिला आयोग के अनुसार पिछले नौ साल में राज्य में महिला एवं शिशुओं पर अत्याचार के आरोप में 27 हजार 723 मामले दर्ज किए गए है। विधानसभा में इस संबंध में एक सवाल के जवाब में यह तथ्य राज्य महिला एवं शिशु कल्याण मंत्री प्रफुल्ल सामल ने पेश किया।

सरकारी रिकार्ड के मुताबिक 2010 से 2018 के बीच खुर्दा जिला में सर्वाधिक महिला एवं शिशु प्रताड़ना की घटना सामने आई है। खुर्दा में पिछले 9 साल में 5 हजार 227 प्रताड़ना के मामले दर्ज हुए हैं जबकि 2010 में इस जिले में 417 मामला दर्ज किए गए थे, जबकि 2013 में सर्वाधिक 691, वर्ष 2014 में 643, वर्ष 2015 में 689, वर्ष 2017 में 635 एवं वर्ष 2018 में 610 महिला एवं शिशु प्रताड़ना के मामले सामने आए हैं। खुर्दा जिला के बाद कटक है। कटक में इस दौरान कुल 2 हजार 608 प्रताड़ना के मामले दर्ज किए गए हैं। इस मामले में पूरी तीसरे स्थान पर है। पुरी जिला में इस दौरान 2 हजार 157 मामला सामने आया है। गंजाम में 1753, भद्रक में 1538, केंद्रापड़ा में 1377, बालेश्वर जिला में 1374 प्रताड़ना के मामले सामने आए हैं। इसी तरह से मलकानगिरी जिला में सबसे कम महिला एवं शिशु प्रताड़ना का मामला दर्ज होने की बात मंत्री ने कही है। मलकानगिरी जिले में पिछले 9 साल के अंदर मात्र 87 मामले दर्ज हुए हैं।

हर जिले में तैनात है सुरक्षा अधिकारी :

पारिवारिक ¨हसा से महिला को सुरक्षा देने के लिए 2005 में घरेलू ¨हसा कानून के मुताबिक प्रत्येक जिला में सुरक्षा अधिकारी सरकार की तरफ से नियुक्ति पाए हैं। उसी तरह कार्य क्षेत्र में महिलाओं के ऊपर होने वाले यौन प्रताड़ना रोकने के लिए प्रत्येक जिला में स्थानीय अभियोग कमेटी बनाई गई है। ¨हसा द्वारा प्रभावित बालिका एवं महिलाओं की मदद करने के लिए खुर्दा, संबलपुर, गंजाम, सुंदरगढ़ व कोरापुट जिला में सखी केंद्र खोला गया है।

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