सरबजीत की मौत पर संसद ने भी किया गुस्से का इजहार

पाकिस्तान की कोट लखपत जेल में कैदियों के हमले के चलते भारतीय कैदी सरबजीत की मौत पर भारतीय संसद ने भी जबरदस्त गुस्से का इजहार किया है। संसद के दोनों सदनों ने इस बर्बर व अमानवीय घटना की तल्ख शब्दों में निंदा की। जबकि, विपक्षी सांसदों ने इस घटना के लिए भी परोक्ष रूप से सरकार की नाकामी को ही जिम्मेदार ठहराया है।

By Edited By: Publish:Thu, 02 May 2013 09:14 AM (IST) Updated:Thu, 02 May 2013 07:16 PM (IST)
सरबजीत की मौत पर संसद ने भी किया गुस्से का इजहार

नई दिल्ली [जागरण ब्यूरो]। पाकिस्तान की कोट लखपत जेल में कैदियों के हमले के चलते भारतीय कैदी सरबजीत की मौत पर भारतीय संसद ने भी जबरदस्त गुस्से का इजहार किया है। संसद के दोनों सदनों ने इस बर्बर व अमानवीय घटना की तल्ख शब्दों में निंदा की। जबकि, विपक्षी सांसदों ने इस घटना के लिए भी परोक्ष रूप से सरकार की नाकामी को ही जिम्मेदार ठहराया है।

लोकसभा में गुरुवार को सदन की कार्यवाही शुरू होते ही सरबजीत की मौत से उत्तेजित भाजपा सदस्यों ने अध्यक्ष के आसन के पास आकर 'पाकिस्तान हाय-हाय' के नारे लगाना शुरू कर दिया। बाद में 12:00 बजे लोकसभा अध्यक्ष मीरा कुमार ने सदस्यों की भावना के मद्देनजर सदन की तरफ से इस बर्बर और अमानवीय घटना निंदा की। उम्मीद जताई गई कि घटना के दोषियों को सजा जरूर मिलेगी। उधर, राज्यसभा में सभापति मो. हामिद अंसारी ने भी इसी तरह का प्रस्ताव रखा। घटना की कड़ी भ‌र्त्सना के बाद सदस्यों ने दो मिनट का मौन रखकर सरबजीत की आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना भी की।

राज्यसभा में वित्त, विनियोग और रेलवे के विनियोग विधेयक पर चर्चा से पहले नेता विपक्ष अरुण जेटली ने सरबजीत की मौत मामले में भी सरकार को आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा कि सरबजीत की घटना बताती है कि पाकिस्तान ने मौत की सजा का एक नया विकल्प ढूंढ़ा है। जेल की जिस कोठी तक खाने के अलावा चिड़िया भी नहीं पहुंच सकती, वहां एक कैदी को 'भेड़ियों' को सौंप दिया जाता है। यह कैसे हो सकता है? जेटली ने जोर देकर कहा कि पाकिस्तान सरकार और उनकी पुलिस की मिलीभगत के बगैर इस तरह की घटना संभव ही नहीं है।

सपा के नरेश अग्रवाल ने भी सरकार की विदेश नीति पर सवाल उठाया। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान में क्या हो रहा है। आलम यह है कि पाकिस्तान से जो भी अल्पसंख्यक भारत आए हैं, लौटकर वहां जाना नहीं चाहते। बसपा के सतीश चंद्र मिश्र ने कहा कि सरबजीत की हत्या के खिलाफ सदन से प्रस्ताव पारित होना चाहिए।

शिरोमणि अकाली दल के बलविंदर सिंह भुंडर बोलने खड़े हुए तो सदन में प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह भी मौजूद थे। भुंडर ने कहा, 'प्रधानमंत्री बताएं कि सरबजीत की मौत मामले में हम (भारत सरकार) कहां फेल हुए। सिख समुदाय की आबादी बहुत कम है, लेकिन कौम के लोगों ने लंदन तक में जाकर बदला लिया है। लेकिन अब तो यह कहने में शर्म आने लगी है कि यह देश हमारा है'। कांग्रेस के डॉ. कर्ण सिंह ने भी घटना की निंदा की। इसके अलावा माकपा के तपन कुमार सेन, भाकपा के डी. राजा समेत दूसरे सदस्यों ने भी इस मामले पर कड़ी प्रतिक्रिया दी।

मोबाइल पर ताजा खबरें, फोटो, वीडियो व लाइव स्कोर देखने के लिए जाएं m.jagran.com पर

chat bot
आपका साथी