Weekly News Roundup Ranchi: रघुवर के रथ का पहिया थमा, विपक्ष को बड़ा झटका; पढ़ें BJP की हफ्तेभर की हलचल

Weekly News Roundup Ranchi बीता सप्ताह भाजपा के लिए बेहद खास रहा। बीजेपी ने विपक्षी में बड़ी सेंधमारी करते हुए उनके पांच विकेट गिरा दिए।

By Alok ShahiEdited By: Publish:Wed, 30 Oct 2019 08:31 AM (IST) Updated:Wed, 30 Oct 2019 01:41 PM (IST)
Weekly News Roundup Ranchi: रघुवर के रथ का पहिया थमा, विपक्ष को बड़ा झटका; पढ़ें BJP की हफ्तेभर की हलचल
Weekly News Roundup Ranchi: रघुवर के रथ का पहिया थमा, विपक्ष को बड़ा झटका; पढ़ें BJP की हफ्तेभर की हलचल

रांची, राज्य ब्यूरो। Weekly News Roundup Ranchi बीता सप्ताह सत्ताधारी दल भाजपा के लिए काफी अहम रहा है। भाजपा ने विधानसभा चुनाव से पूर्व विपक्षी दलों के पांच अहम विकेट गिरा बड़ा झटका दिया। चुनाव पूर्व भाजपा की इस सर्जिकल स्ट्राइक से कांग्रेस और झामुमो अब तक उबर नहीं सके हैं। वहीं, विधानसभा चुनाव को लेकर चल रही मुख्यमंत्री रघुवर दास की जोहार जन आशीर्वाद यात्रा के रथ का पहिया भी इस अवधि के दौरान थमा।

बीते 23 अक्टूबर को कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सुखदेव भगत और वरिष्ठ विधायक मनोज यादव ने भाजपा का दामन थामा लिया। वहीं, झामुमो के तेजतर्रार विधायक कुणाल षाडंगी और झामुमो से निष्कासित जेपी पटेल भी ऐेन चुनाव से पहले भाजपा से जा मिले। नौवजवान संघर्ष मोर्चा के अध्यक्ष, भवनाथपुर विधायक भानु प्रताप शाही ने तो अपनी पार्टी का ही विलय भाजपा में कर लिया। कांगेे्रस के राष्ट्रीय सचिव रह चुके पूर्व आइपीएस अधिकारी अरुण उरांव, पूर्व डीजीपी डीके पांडेय, रिटायर्ड आइएएस सुचित्रा सिन्हा और एआइसीसी सदस्य बजरंगी यादव भी भाजपा में शामिल हो गए।

भाजपा ने विपक्षी दलों के इन विधायकों को अपने पाले में करने के लिए करीब एक माह पूर्व फिल्डिंग सजाई थी। कोशिश को झामुमो विधायक चमरा लिंडा को भी पार्टी में लाने की थी लेकिन ऐन समय में वे छिटक गए। हालांकि उनको लाने का प्रयास अब भी जारी है। इन दिग्गजों की आमद से भाजपा अपेक्षाकृत और अधिक मजबूत हुई वहीं, विपक्षी दलों को इससे उबरने में कुछ समय लग सकता है। हालांकि, यह तो चुनाव के बाद ही तय होगा कि इन दलबदलुओं को जनता किस हद तक स्वीकारती है।

इधर, मुख्यमंत्री रघुवर दास की जोहर जन आशीर्वाद यात्रा का उत्तरी छोटानागपुर प्रमंडल में अंतिम पड़ाव भी बीते बुधवार को समाप्त हुआ। रघुवर के रथ ने 19 दिनों राज्य के भीतर पांचों प्रमंडलों को नाप दिया। हालांकि, वे पलामू प्रमंडल के सभी विधानसभा क्षेत्रों में नहीं जा सके। भाजपा की माने तो सीएम ने 19 दिनों के भीतर राज्य की 38 लाख की आबादी से संपर्क साधने में कामयाबी पाई, वे औसतन हर दिन दो लाख लोगों से मिले। संताल परगना में छह दिन में मुख्यमंत्री ने 581 किमी यात्रा की जबकि कोलहन में 486 किमी यात्रा की। इसी प्रकार उत्तरी छोटानागपुर में 454 किमी यात्रा और पलामू के लातेहार व मानिक में एक दिन में लगभग 50 किमी की दूरी तय की। सीएम की 19 दिन की कुल यात्रा में 57 छोटी सभा और 38 बड़ी सभा हुई। 

हरियाणा-महाराष्ट्र के जश्न से प्रदेश भाजपा ने बनाई दूरी

बीते सप्ताह महाराष्ट्र और हरियाणा के चुनाव परिणाम भी आए। महाराष्ट्र में भाजपा-शिवसेना गठबंधन की एक बार फिर सत्ता में वापसी तय मानी जा रही है जबकि हरियाणा में बहुमत से कुछ कम सीटें पाने के बावजूद भाजपा सरकार बनाने में दोबारा कामयाब रही। लेकिन आश्चर्यजनक रूप से प्रदेश भाजपा ने इस जीत का कोई जश्न नहीं मनाया। जाहिर है जिस परिणाम की भाजपा ने आशा की थी चुनाव नतीजे उससे इतर थे।

हरियाणा के चुनाव परिणाम झारखंड में भी भाजपा के लिए अहम सबक है। हरियाणा में भाजपा ने 75 प्लस का लक्ष्य निर्धारित किया था, प्रत्यक्ष में वह पूर्ण बहुमत का लक्ष्य भी हासिल नहीं कर सकी। झारखंड में भी भाजपा ने 65 प्लस का लक्ष्य निर्धारित किया है अब देखना है कि वह इस लक्ष्य के करीब पहुंचेगी या नहीं।

chat bot
आपका साथी