अधिकारों पर चर्चा के लिए जुटे देश भर के आदिवासी संगठन

13 राज्यों से आए थे आदिवासी संगठनों के लोग

By JagranEdited By: Publish:Fri, 14 Sep 2018 10:56 AM (IST) Updated:Fri, 14 Sep 2018 10:56 AM (IST)
अधिकारों पर चर्चा के लिए जुटे देश भर के आदिवासी संगठन
अधिकारों पर चर्चा के लिए जुटे देश भर के आदिवासी संगठन

जागरण संवाददाता, रांची :

संयुक्त राष्ट्र संघ द्वारा घोषित विश्व आदिवासी अधिकार दिवस का जश्न गुरुवार को रांची में देखने को मिला। आदिवासी समन्वय समिति के तत्वाधान में आयोजित इस महासम्मेलन में देश के 13 राज्यों का प्रतिनिधित्व दर्ज हुआ। हरमू मैदान में पूरे दिन के लिए यह कार्यक्रम चला जिसमें आदिवासी हित से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर बात हुई। अन्य राज्यों से आए लोगों ने अपन राज्यों में आदिवासियों की स्थिति का वर्णन किया और उनकी उम्मीदों व मांगो को सबके सामने रखा।

हजारों लोगों की उपस्थिति में देश के दर्जनों आदिवासी संगठनों ने संवैधानिक अधिकारों की बात की। मुख्य अतिथि के तौर पर उपस्थित कालु राम धोद्ड़े ने संविधान की पांचवी अनुसूची के तहत प्रशासन और नियंत्रण पर जोर दिया। उन्होने कहा कि आज तक हम देश के संविधान और अंतराष्ट्रीय आदिवासियों के अधिकारों से अनभिज्ञ थे। समता जजमेंट के बाद हमको भारतीय संविधान में दिए प्रावधान जैसे पाचवीं अनुसूची क्षेत्र के संचालन के बारे में ज्ञात हुआ है। उन्होने कहा कि 1997 में सुप्रीम कोर्ट ने जो फैसला किया था, उसका पालन होना चाहिए। मौके पर विशिष्ट अतिथि के तौर पर गुजरात के पूर्व मंत्री अमर सिंह उपस्थित हुए। -----------

आदिवासियों को मिले खनिज के खनन का अधिकार

समिति के संयुक्त संयोजक राजकुमार पाहन ने कहा कि आदिवासियों की जमीन पर खनन का अधिकार भी आदिवासियों को ही मिलना चाहिए। उन्होने बताया कि खतियान में जिनका नाम है, केवल उन्हें ही अधिकार मिले कि वे खनिज का खनन कर सके। इसके अलावा पेसा कानून को पूर्णत: लागू करने पर भी जोर दिया गया। राजकुमार पहान ने कहा कि जब तक मांगों को पूरा नहीं किया जाता, देश भर में आंदोलन चलता रहेगा। सांस्कृतिक कार्यक्रमों का चला दौर

महासम्मेलन में आदिवासी संगठनों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम पेश किए गए। ढ़ोल, मांदर, की थाप संग थिरकते पैरों ने आदिवासी संस्कृति को लोगों के सामने रखा। अन्य राज्यों के आतिथ्य में झारखंड की परंपरा और संस्कृति को नृत्य के रूप में प्रस्तुत किया गया। वहीं अन्य राज्यों के प्रतिनिधि अपने अपने सास्कृतिक मंडलियों के साथ प्रस्तुति देते नजर आए। कार्यक्रम के दौरान पूरा हरमू मैदान राज्य की संस्कृति के प्रदर्शन का गवाह बना।

कार्यक्रम की अध्यक्षता कुमार चंद्र मार्डी ने की। मौके पर गुजरात से आए समिति के सरंक्षक अशोक चौधरी, झारखंड से बहादुर उराव व देवौंद्र नाथ चंपिया, महा राष्ट्र से रंजना पावरा, मध्य प्रदेश से सीमा वासकले व डॉ. केएस दामोर, भावना इल्पाचे, तुकाराम वरकडे, अशोक बागुल, प्रभु टोकिया, जंगसाय कोया, डेविड बुरुडी, व अन्य कई राज्यों के लोग उपस्थित हुए।

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