(बोनस) बोनस नहीं मिला तो 22 को रेल की सभी गतिविधियों पर लगेगा विराम
दुर्गा पूजा से पहले जहां एक तरफ लगभग कंपनियों ने अपने कर्मचारियों को बोनस का तोहफा दिया है। लेकिन केंद्र सरकार द्वारा रेलकर्मियों के लिए अभी तक बोनस की घोषणा नहीं की है। इसको लेकर रेलकर्मियों में केंद्र सरकार के प्रति आक्रोश व्याप्त है। अब रेलकर्मियों ने विरोध प्रदर्शन करना शुरू कर दिया है।
जागरण संवाददाता, जमशेदपुर : दुर्गा पूजा से पहले जहां एक तरफ लगभग कंपनियों ने अपने कर्मचारियों को बोनस का तोहफा दिया है। लेकिन केंद्र सरकार द्वारा रेलकर्मियों के लिए अभी तक बोनस की घोषणा नहीं की है। इसको लेकर रेलकर्मियों में केंद्र सरकार के प्रति आक्रोश व्याप्त है। अब रेलकर्मियों ने विरोध प्रदर्शन करना शुरू कर दिया है।
ऑल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन ने केंद्र सरकार को चेतावनी देते हुए कहा कि रेलकर्मियों को जल्द से जल्द बोनस दिया जाए और रात्रि भत्ता कटौती का आदेश को वापस लिया जाए। अगर केंद्र सरकार ऐसा नहीं करती है तो 22 अक्टूबर को रेल की सारी गतिविधियां पर विराम लग जाएगा। बुधवार को देशव्यापी बोनस डे पर मंगलवार को दक्षिण पूर्व रेलवे मेंस यूनियन के रनिग मंडल शाखा सचिव एम के सिंह व आल इंडिया लोको रनिग स्टाफ एसोसिएशन के पारस कुमार के नेतृत्व में टाटानगर के कामरेड साथियों के साथ मिलकर प्रत्येक विभाग के कर्मचारियों को जागरूक किया।
तापस चट्टराज ने कहा कि कठिन परिश्रम से अर्जित किए जाने वाला रात्रि भत्ता को 17 जुलाई 2000 से सरकार काटने पर अमादा है जिसे हम बर्दाश्त करने वाले नहीं हैं। पारस कुमार ने कहा कि ऐसे आर्थिक शोषण का आल इंडिया रेलवे मेंस फेडरेशन के साथ आल इंडिया लोकों रनिग स्टाफ एसोसिएशन कंधा से कंधा मिलाकर इसका सख्त विरोध करता है।
इस आक्रोश प्रदर्शन में अनंत प्रसाद, बालक दास, संजय सिंह, एम पी गुप्ता, सुरेश सिंह, एके सिंह, बाबू राव, आई डी प्रसाद, एन के शर्मा, जेबी सिंह आदि ने योगदान दिया