चालक को फंसाने के लिए ऑटो में रखी थी पिस्तौल, तीन को भेजा जेल Jamshedpur News

Jamshedpur Crime. चालक को फंसाने के लिए ऑटो में पिस्तौल रखने के आरोप में तीन युवकों को जेल भेजा गया है। बिष्टुपुर इंस्पेक्टर की सही तफ्तीश के कारण सच्चाई सामने आई।

By Rakesh RanjanEdited By: Publish:Fri, 31 Jan 2020 03:20 PM (IST) Updated:Fri, 31 Jan 2020 03:20 PM (IST)
चालक को फंसाने के लिए ऑटो में रखी थी पिस्तौल, तीन को भेजा जेल Jamshedpur News
चालक को फंसाने के लिए ऑटो में रखी थी पिस्तौल, तीन को भेजा जेल Jamshedpur News

 जमशेदपुर, जासं। बिष्टुपुर थाना की पुलिस ने रीगल मोड़ के पास 28 जनवरी को जिस ऑटो चालक आफताब आलम को पिस्तौल के साथ गिरफ्तार किया था, वह दरअसल साजिश का शिकार हो गया था। टेंपो की लाइनटेकरी की राजनीति में जान बूझ कर उस ऑटो चालक के ऑटो में पिस्तौल रख दी गई थी।

इस मामले में पुलिस ने अब जांच के बाद गोलमुरी टुइलाडूंगरी ए ब्लाक निवासी मो. इमरान, कपाली ओपी डांगूडीह के मो. आफताब और कपाली गौसनगर के इरफान उर्फ मैक्स को गिरफ्तार किया है। गुरुवार को उन्हें जेल भेज दिया गया। सभी के खिलाफ बिष्टुपुर थाना में प्राथमिकी दर्ज की गई है। 

लाइन टेकर की साजिश
दरअसल, ऑटो चालक आफताब को पकडऩे के बाद बिष्टुपुर थाना के इंस्पेक्टर राजेश प्रकाश सिन्हा से पूछताछ में उसने बताया था कि पिस्तौल उसकी नहीं है। किसी ने उसे फंसाने को ऑटो में पिस्तौल रख दिया। चालक की बात सुनकर इंस्पेक्टर को भी मामले में संदेह हुआ। तफ्तीश की गई तो सच सामने आ गया। दरअसल, आफताब के बयान के आधार पर पहले पुलिस ने इमरान को हिरासत में लिया। पूछताछ में यह पता चला कि सच में चालक को फंसाने के लिए ही साकची-बिष्टुपुर के ऑटो स्टैंड के लाइन टेकर इमरान ने साजिश रची थी। 
लाइन टेकरी पर कब्जा बरकरार रखने को रची साजिश 
दरअसल, पहले मानगो जाकिरनगर निवासी आफताब मंजर की लाइन टेकरी चलती थी, लेकिन पिछले तीन साल तक वह जेल में था। सो, उसकी लाइन टेकरी पर इमरान ने कब्जा कर लिया। जेल से रिहाई के बाद आफताब मंजर ऑटो चलाने लगा। लाइन टेकरी को लेकर इमरान से उसका विवाद हुआ। कहीं लाइन टेकरी हाथ से नहीं निकल जाए, यह सोचकर इमरान ने आफताब की ऑटो में पिस्तौल रख उसे जेल भिजवाने को योजना बनाई।
छह हजार रुपये में पिस्तौल खरीदी
आफताब आलम को फंसाने के लिए कपाली के डांगूडीह निवासी मो. आफताब से इमरान ने पिस्तौल उपलब्ध कराने को कहा। आफताब ने पिस्तौल के लिएगौसनगर के इरफान उर्फ मैक्स से संपर्क किया। मैक्स ने कहा कि छह हजार रुपये में पिस्तौल वह उपलब्ध करा सकता है। इमरान और आफताब रुपये देने को तैयार हो गए। दोनों ने तीन-तीन हजार मिलाकर मैक्स को सौंप दिया। मैक्स ने पिस्तौल दे दी। 
इमरान ने सीट के नीचे रख दी पिस्तौल 
आफताब किराये पर ऑटो चलाता है। 28 जनवरी की सुबह साकची-बिष्टुपुर ऑटो स्टैंड में जब आफताब की ऑटो खड़ी थी, तब इमरान ने ऑटो की पिछली सीट के नीचे पिस्तौल छुपाकर रख दी। ऑटो लेकर आफताब टाटानगर स्टेशन यात्री को लेकर गया। वहां से वापस बिष्टुपुर की ओर लौटने लगा। इस बीच स्कूटी लेकर इमरान आफताब को फॉलो करता रहा। 
डीएसपी के चालक को फोन कर इमरान ने दी जानकारी
बिष्टुपुर मुख्य मार्ग पर जैसे ही आफताब ऑटो लेकर पहुंचा। पीछा कर रहे इमरान ने ट्रैफिक डीएसपी के चालक संजय सिंह को मोबाइल पर यह जानकारी दी। डीएसपी के चालक ने  बिष्टुपुर ट्रैफिक इंस्पेक्टर को मामले की जानकारी दी। इंस्पेक्टर ने ऑटो को रुकवा उसे पकड़ लिया। 
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