जमीन व फ्लैट की बिक्री में फर्जीवाड़े से सैकड़ों लोग प्रभावित

औद्योगिक ²ष्टि से पूरी दुनिया में पहचान बनाने वाले गुरुग्राम में जमीन व फ्लैट की खरीद-बिक्री के नाम पर जमकर फर्जीवाड़ा चल रहा है। एक ही प्लॉट या फ्लैट कई बार बेच दिए जाते हैं। यही नहीं हिस्से में जमीन नहीं होने के बाद भी लोग आगे रजिस्ट्री करा देते हैं। हालांकि ऑनलाइन सिस्टम होने से कुछ हद तक रोक लगी है लेकिन पूरी तरह रोक तभी लगेगी जब रजिस्ट्री के साथ-साथ इंतकाल दर्ज हो एवं बैंक एकाउंट की तरह हर व्यक्ति के हिस्से की जमीन का डाटा बैंक राजस्व विभाग के ऑनलाइन हो।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 20 Feb 2019 06:49 PM (IST) Updated:Wed, 20 Feb 2019 06:49 PM (IST)
जमीन व फ्लैट की बिक्री में फर्जीवाड़े से सैकड़ों लोग प्रभावित
जमीन व फ्लैट की बिक्री में फर्जीवाड़े से सैकड़ों लोग प्रभावित

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: औद्योगिक विकास की दृष्टि से पूरी दुनिया में पहचान बनाने वाले गुरुग्राम में जमीन व फ्लैट की खरीद-बिक्री के नाम पर जमकर फर्जीवाड़ा चल रहा है। एक ही प्लॉट या फ्लैट कई बार बेच दिए जाते हैं। यही नहीं हिस्से में जमीन नहीं होने के बाद भी लोग आगे रजिस्ट्री करा देते हैं। हालांकि ऑनलाइन सिस्टम होने से कुछ हद तक रोक लगी है लेकिन पूरी तरह रोक तभी लगेगी जब रजिस्ट्री के साथ-साथ इंतकाल दर्ज हो एवं हर व्यक्ति के हिस्से की जमीन का डाटा बैंक राजस्व विभाग के पास ऑनलाइन हो।

पिछले कुछ वर्षों के दौरान गुरुग्राम में जमीन की कीमत आसमान को छू गई। इस वजह से दो रूम के फ्लैट की कीमत पर एक करोड़ रुपये के नजदीक या इससे अधिक तक पहुंच गई। कीमत में आई बढ़ोत्तरी से काफी लोगों की लालच बढ़ गई। लालच ने काफी लोगों को कानून के गिरफ्त में ला दिया है। सेक्टर 10ए निवासी सुदेश शर्मा ने बताया कि उन्होंने एक बिल्डर के प्रोजेक्ट में दुकान बुक कराई थी। कागजों में दुकान थी, मौके पर दुकान नहीं थी। मामला पुलिस में जाने के बाद उसने ब्याज सहित पैसे लौटाए।

पटेल नगर निवासी राजकुमार ने बताया कि उन्होंने फरुखनगर इलाके में 100 गज जमीन खरीदी थी। बाद में पता चला कि जिससे जमीन खरीदी थी, उसके हिस्से में जमीन बची ही नहीं थी। फर्जीवाड़े से कैसे करें बचाव

- जमीन या फ्लैट खरीदने से पहले पूरी छानबीन करें

- आसपास के लोगों व संबंधित पटवारी से पूछताछ करें

- ओरिजनल कागजात देखने के बाद ही बातचीत शुरू करें

- जमीन खरीदने के साथ ही इंतकाल दर्ज कराने का प्रयास करें

- बिल्डर एरिया में खरीदारी करने से पहले डीटीपी ऑफिस में रिकार्ड देखें

- ग्रामीण इलाके में खरीदारी से पहले संबंधित नंबरदार एवं पटवारी से बात करें सबसे पहले जमीन का डाटा बैंक बनाने पर जोर देना होगा। किस व्यक्ति के हिस्से कितनी जमीन बची है, यह ऑनलाइन रहना चाहिए। इससे वह अपने हिस्से से अधिक जमीन नहीं बेच सकेगा। इसी तरह किसके पास कितने फ्लैट बचे हैं, यह ऑनलाइन रहना चाहिए। साथ ही रजिस्ट्री के साथ-साथ हर हाल में इंतकाल दर्ज करने के ऊपर जोर दिया जाए।

-रतनपाल ¨सह राघव, सेवानिवृत्त जिला राजस्व अधिकारी काफी हद तक सिस्टम ऑनलाइन कर दिया गया है। रजिस्ट्री के साथ-साथ इंतकाल करने के ऊपर भी ध्यान दिया जाने लगा है। जहां तक पूरी तरह फर्जीवाड़े पर रोक का सवाल है तो खरीदारों को भी सजग रहना होगा। कुछ भी खरीदने से पहले पूरी छानबीन करें। पड़ोसी से बात करें, संबंधित पटवारी से बात करें। बात करने से फंसने की गुंजाइश कम रहेगी।

- संजीव ¨सगला, एसडीएम, गुरुग्राम

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