नैनीताल लोकसभा क्षेत्र में भाजपा के दो मंत्रियों अरविंद व यशपाल की प्रतिष्‍ठा भी दांव पर

विषम भौगोलिक व भिन्न सामाजिक स्थिति वाले नैनीताल लोकसभा क्षेत्र में 14 विधानसभा सीटें हैं। इसमें से 11 में भाजपा के विधायक हैं जिसमें से दो कैबिनेट मंत्री भी हैं।

By Skand ShuklaEdited By: Publish:Fri, 15 Mar 2019 09:39 AM (IST) Updated:Fri, 15 Mar 2019 09:39 AM (IST)
नैनीताल लोकसभा क्षेत्र में भाजपा के दो मंत्रियों अरविंद व यशपाल की प्रतिष्‍ठा भी दांव पर
नैनीताल लोकसभा क्षेत्र में भाजपा के दो मंत्रियों अरविंद व यशपाल की प्रतिष्‍ठा भी दांव पर

हल्द्वानी, जेएनएन : विषम भौगोलिक व भिन्न सामाजिक स्थिति वाले नैनीताल लोकसभा क्षेत्र में 14 विधानसभा सीटें हैं। इसमें से 11 में भाजपा के विधायक हैं, जिसमें से दो कैबिनेट मंत्री भी हैं। ऐसे में इस क्षेत्र में भाजपा का प्रदर्शन बेहतर होने के संकेत हैं। पार्टी भी अपने इस प्रदर्शन को लोकसभा चुनाव में भी बरकरार रखना चाहेगी। इस सीट पर दो कैबिनेट मंत्रियों में यशपाल आर्य व अरविंद पांडेय शामिल हैं। इसमें से यशपाल आर्य ने दावेदारी भी की है। फिर भी इस चुनाव में इन दोनों मंत्रियों के लिए राजनीतिक परीक्षा की घड़ी रहेगी। यशपाल तराई क्षेत्र बाजपुर से विधायक हैं, लेकिन उनका प्रभाव भाबर व पहाड़ पर भी है। उनके बेटे संजीव आर्य नैनीताल से विधायक हैं। ऐसे में उनके प्रदर्शन पर पार्टी हाइकमान की नजर रहेगी। जबकि, अरविंद पांडे का तराई क्षेत्र में अच्छा प्रभाव माना जाता है।

अगर जिला स्तर का आकलन करें तो नैनीताल जिले की छह विधानसभा सीटों में एक सीट पौड़ी लोकसभा में है। पांच में से एक विधानसभा सीट कांग्रेस और एक निर्दलीय के पास और तीन भाजपा के पास है। ऊधमसिंह नगर में भी आठ में से कांग्रेस के पास केवल एक सीट है।

नगर निगम तीनों सीटें अपने भाजपा के पास हैं, लेकिन नगर पालिका व पंचायत की 50 फीसद सीटों पर कांग्रेस ने जीत दर्ज की। हालांकि, दोनों चुनावों की परिस्थितियां व मुद्दे अलग-अलग रहे। इसलिए लोकसभा चुनाव में इन मेयरों व पालिकाध्यक्षों के लिए भी अपने क्षेत्र में जीत दर्ज कराना चुनौती रहेगा।

पुराने विधायकों की प्रतिष्ठा भी दांव पर रहेगी

भाजपा में विधायक बंशीधर भगत, राजकुमार ठुकराल, राजेश शुक्ला, हरभजन सिंह चीमा, पुष्कर धामी का कद भी बढ़ा है। कोई दूसरी बार तो कोई छठी बार के विधायक हैं। इनका अपना भी अलग प्रभाव है। ऐसे में इन विधायकों की प्रतिष्ठा भी दांव पर लगी रहेगी।

नेता प्रतिपक्ष को कायम रखना होगा दबदबा

हल्द्वानी विधानसभा सीट पर कांग्रेस की विधायक डॉ. इंदिरा हृदयेश हैं, जो इस चुनाव में खुद दावेदार भी हैं। भाजपा प्रत्याशी से 29 फीसद अधिक वोटों से जीती थी। इस समय उनके पास नेता प्रतिपक्ष की जिम्मेदारी भी है। इसलिए उन्हें भी अपने क्षेत्र में दबदबा कायम रखना होगा।

क्षेत्र में दलीय स्तर पर विधायकों की स्थिति

नैनीताल                  भाजपा            संजीव आर्य

भीमताल                 निर्दलीय          राम सिंह कैंड़ा

हल्द्वानी                 कांग्रेस            डॉ. इंदिरा हृदयेश

लालकुआं                 भाजपा           नवीन दुम्का

कालाढूंगी                 भाजपा           बंशीधर भगत

बाजपुर                    भाजपा           यशपाल आर्य

गदरपुर                    भाजपा           अरविंद पांडेय

जसपुर                     कांग्रेस           आदेश चौहान

काशीपुर                   भाजपा           हरभजन सिंह चीमा

खटीमा                    भाजपा            पुष्कर धामी

किच्छा                    भाजपा            राजेश शुक्ला

नानकमत्ता              भाजपा            प्रेम सिंह राणा

रुद्रपुर                      भाजपा            राजकुमार ठुकराल

सितारगंज                भाजपा             सौरभ बहुगुणा

2014 में यह रही थी स्थिति

वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव में राज्य के पूर्व सीएम भगत सिंह कोश्यारी ने 2 लाख 84 हजार 717 वोटों से जीत हासिल की। इस चुनाव में भगत सिंह कोश्यारी को 6 लाख 36 हजार 769 वोट मिले थे। जबकि, कांग्रेस के केसी सिंह बाबा को तीन लाख 52 हजार 52 वोट मिले थे। जहां 11 विधायकों व तीन मेयरों के लिए जीत के इस अंतर को बरकरार रखने के लिए काम करना होगा, वहीं कांग्रेस को अधिक मेहनत करने की जरूरत पड़ेगी।

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