दिल्ली दंगे से जुड़े मनी लांड्रिंग मामले में बढ़ सकती है आरोपित ताहिर हुसैन की परेशानी, केस से जुडे़ अमित गुप्ता बने सरकारी गवाह

दिल्ली दंगे से जुड़े मनी लांड्रिंग मामले में अमित गुप्ता सरकारी गवाह बन गए हैं। न्यायाधीश अमिताभ रावत ने सह आरोपित की तरफ से दायर सरकारी गवाह बनने की अर्जी को स्वीकार कर लिया है। अमित गुप्ता रोहिणी का रहने वाला कारोबारी है।

By Ashish GuptaEdited By: Publish:Tue, 22 Feb 2022 01:16 PM (IST) Updated:Tue, 22 Feb 2022 01:16 PM (IST)
दिल्ली दंगे से जुड़े मनी लांड्रिंग मामले में बढ़ सकती है  आरोपित ताहिर हुसैन की परेशानी, केस से जुडे़ अमित गुप्ता बने सरकारी गवाह
दिल्ली दंगे के सह आरोपित व रोहिणी निवासी अमित गुप्ता बने सरकारी गवाह।

नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। दिल्ली दंगे जुड़े मनी लांड्रिंग मामले में मुख्य आरोपित एवं आप के पार्षद रहे ताहिर हुसैन की परेशानी बढ़ सकती है। इस केस में सह आरोपित अमित गुप्ता सरकारी गवाह बन गया है। अब वह ताहिर से जुड़े कई राज खोल सकता है। अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश अमिताभ रावत ने सह आरोपित की तरफ से दायर सरकारी गवाह बनने की अर्जी को स्वीकार कर लिया है। अमित गुप्ता रोहिणी का रहने वाला कारोबारी है

दरअसल, दिल्ली दंगे से जुड़े मनी लांड्रिंग के मामले में मुख्य आरोपित एवं आप के पार्षद रहे ताहिर हुसैन की तरफ से उसके वकील ने सह आरोपित अमित गुप्ता के सरकारी गवाह बनने की अर्जी का विरोध किया था। जबकि अमित गुप्ता के वकील का पक्ष है कि इस अर्जी पर ताहिर हुसैन को विरोध करने का अधिकार नहीं है। उस समय अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश अमिताभ रावत के कोर्ट ने निर्णय सुरक्षित रख लिया था। इस मामले की सुनवाई सात जनवरी को भी हुई थी। फिलहाल कोर्ट ने सह आरोपित अमित गुप्ता की सरकारी गवाह बनने वाली अर्जी को स्वीकार कर लिया है। इससे आरोपित ताहिर हुसैन की परेशानी काफी हद तक बढ़ जाएगी।

 बता दें कि ताहिर हुसैन पर दंगा कराने के लिए डमी कंपनी बनाकर 1.59 करोड़ रुपये जुटाने का आरोप लगाते हुए प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने उसके खिलाफ प्रीवेंशन आफ मनी लांड्रिंग एक्ट (पीएमएलए) के तहत मुकदमा दर्ज किया था। इसमें सहयोग करने के लिए रोहिणी के कारोबारी अमित गुप्ता को भी सह आरोपित बनाया गया था। इस मामले में बीते मार्च में अमित गुप्ता ने सरकारी गवाह बनने के लिए अर्जी दायर की थी।

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अर्जी में उसने कहा था कि वह जांच में पूर्ण सहयोग करने और साक्ष्य उपलब्ध कराने के लिए तैयार है। इस अर्जी का ताहिर हुसैन के वकील ने विरोध किया है। बता दें कि दंगे में नाम आने के बाद आप ने ताहिर हुसैन को निलंबित कर दिया था।

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