CBSE News: सीबीएसई के लाखों स्टूडेंट के लिए जरूरी खबर, बोर्ड परीक्षा के प्रश्नपत्र के तरीके में हुआ बदलाव

सीबीएसई के निदेशक (अकादमिक) द्वारा जारी परिपत्र के अनुसार अगले वर्ष से 10वीं की सालाना बोर्ड परीक्षा में लगभग 40 प्रतिशत प्रश्न समझ आधारित होंगे। ये बहुविकल्पीय प्रश्न होंगे जिनमें केस स्टडी आधारित व पैराग्राफ पर आधारित प्रश्न प्रश्न होंगे।

By Prateek KumarEdited By: Publish:Sun, 22 May 2022 10:11 PM (IST) Updated:Sun, 22 May 2022 10:31 PM (IST)
CBSE News: सीबीएसई के लाखों स्टूडेंट के लिए जरूरी खबर, बोर्ड परीक्षा के प्रश्नपत्र के तरीके में हुआ बदलाव
10वीं, 12वीं के साथ ही नौवीं और 11वीं में भी इसी बदले हुए पैटर्न पर ली जाएगी परीक्षा।

नई दिल्ली [राहुल चौहान]। केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने इस सत्र के लिए दसवीं व 12वीं की बोर्ड परीक्षा के प्रश्नपत्रों के पैटर्न में बदलाव किया है। प्रश्नपत्रों में ये बदलाव नई शिक्षा नीति के अंतर्गत किए गए हैं। सीबीएसई यह पहले ही स्पष्ट कर चुका है कि इसी सत्र (2022-23) से 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षाएं कोरोना पूर्व के वर्षों की भांति एक ही टर्म में सत्र के अंत में वार्षिक परीक्षा के रूप में आयोजित की जाएंगी, जबकि पूर्व में कोरोना के कारण दो टर्म में परीक्षाएं लेने का निर्णय किया गया था।

इस तरह होंगे प्रश्नपत्र

सीबीएसई के निदेशक (अकादमिक) द्वारा जारी परिपत्र के अनुसार, अगले वर्ष से 10वीं की सालाना बोर्ड परीक्षा में लगभग 40 प्रतिशत प्रश्न समझ आधारित होंगे। ये बहुविकल्पीय प्रश्न होंगे, जिनमें केस स्टडी आधारित व पैराग्राफ पर आधारित प्रश्न प्रश्न होंगे। 20 प्रतिशत प्रश्न वस्तुनिष्ठ होंगे और बाकी के 40 प्रतिशत प्रश्न लघु उत्तरीय व दीर्घ उत्तरीय होंगे। 12वीं की परीक्षा में 30 प्रतिशत प्रश्न समझ आधारित बहुविकल्पीय प्रश्न होंगे, जिनमें केस स्टडी व पैराग्राफ आधारित प्रश्न होंगे। 20 प्रतिशत वस्तुनिष्ठ प्रश्न होंगे, जबकि शेष 50 प्रतिशत प्रश्न लघु और दीर्घ उत्तरीय पूछे जाएंगे।

आंतरिक परीक्षाओं में कोई बदलाव नहीं

सीबीएसई द्वारा यह स्पष्ट किया गया है कि 10वीं और 12 वीं की आंतरिक परीक्षाओं के पैटर्न में किसी भी प्रकार का बदलाव नहीं किया जाएगा। जिस प्रकार पहले स्कूलों में आंतरिक परीक्षाएं होती रही हैं, वे आगे भी उसी प्रकार से होंगी। इसके लिए पहले ही दिशानिर्देश जारी किए जा चुके हैं। हालांकि, नौवीं और 11वीं की परीक्षाओं के लिए भी प्रश्नपत्र का बदला हुआ पैटर्न लागू होगा। छात्र सीबीएसई द्वारा निर्धारित किए गए प्रश्न पत्र के नए पैटर्न को सीबीएसई की वेबसाइट से डाउनलोड कर सकते हैं।

कोरोनाकाल में परीक्षा प्रणाली में हुआ था बदलाव

कोरोना महामारी के चलते पिछले साल बोर्ड को अपनी परीक्षा प्रणाली में बदलाव करने पड़े थे। इससे 2021-22 में बोर्ड परीक्षाएं दो टर्म में आयोजित करने का फैसला लिया गया था। दो बार में टर्म परीक्षाएं आयोजित करने के लिए सीबीएसई ने पाठ्यक्रम को दो भागों (टर्म-एक और टर्म-दो) में बांटा था। इसी के हिसाब से प्रश्न पत्र के पैटर्न को भी बदला गया था। इसके अनुसार, 50 प्रतिशत पाठ्यक्रम की परीक्षा टर्म-एक में वैकल्पिक माध्यम में ली गई थी, जबकि बाकी 50 प्रतिशत पाठ्यक्रम की परीक्षा टर्म-दो में सैद्धांतिक माध्यम में ली जा रही है।

कोरोना के कारण हुआ था बदलाव

बोर्ड के परीक्षा नियंत्रक संयम भारद्वाज ने बताया कि सीबीएसई ने कोरोना महामारी के कारण सत्र 2021-22 में 10वीं और 12वीं की परीक्षा दो टर्म में लेने का निर्णय किया था, लेकिन मौजूदा स्थितियों को देखते हुए बोर्ड ने पहले की तरह शैक्षणिक सत्र से अंत में एक वार्षिक परीक्षा लेने का निर्णय किया है। सीबीएसई के अन्य वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि बोर्ड ने पहले की तरह वार्षिक परीक्षाओं का निर्णय सभी हितधारकों की प्रतिक्रिया लेने के बाद लिया है। ये परीक्षाएं तीन घंटे की होंगी।

क्या कहते हैं प्रधानाचार्य 

सीबीएसई द्वारा बोर्ड परीक्षा के प्रश्नपत्र के पैटर्न में बदलाव करना अच्छा निर्णय है। इससे बच्चों में रटने के बजाय सीखकर लिखने की आदत बनेगी। आज के समय में रटने के बजाय बच्चों में अनुभव आधारित समझ विकसित करने की जरूरत है।

स्वप्ना नायर, प्रधानाचार्या अर्वाचीन इंटरनेशनल स्कूल, दिलशाद गार्डन

कोरोना संकट के कारण सीबीएसई को पिछले साल मजबूरी में दो टर्म में परीक्षाएं कराने के लिए प्रश्नों के पैटर्न में बदलाव करना पड़ा था। इस बार एक ही बार में परीक्षा होने से बच्चों के ऊपर से मानसिक दबाव भी कम होगा। प्रश्नों का पैटर्न बदलने से बच्चों की समझ भी विकसित होगी।

डा. सतबीर शर्मा, प्रधानाचार्य, विद्या बाल भवन सीनियर सेकेंडरी स्कूल, मयूर विहार फेज-3

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