AIIMS Nurses Union indefinite strike: एम्स डायरेक्टर ने 5000 नर्सों से हड़ताल वापस लेने की अपील की
AIIMS Nurses Union indefinite strike सोमवार को एम्स के नर्सिग कर्मचारी वार्डो में भर्ती मरीजों को उनके हाल पर छोड़कर हड़ताल पर चले गए। इस हड़ताल से बड़ी संख्या में मरीजों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। AIIMS Nurses Union indefinite strike : दिल्ली स्थित अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान में छठे वेतन आयोग से संबंधित मांगों समेत कई अन्य मांगों को लेकर सभी पांच हजार नर्सों का अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जाने से लोगों को परेशानी हो रही है। वहीं, एम्स डायरेक्टर डॉक्टर रणदीप गुलेरिया ने हड़ताल पर गई सभी 5000 नर्सों से हड़ताल वापस लेने की अपील की। जानकारों की मानें तो वेतन बढ़ोतरी की मांग को लेकर एम्स में सभी पांच हजार नर्सों का अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जाना दुर्भाग्यपूर्ण है। कोरोना महामारी के समय, जबकि नर्सों की अत्यधिक आवश्यकता है, ये हड़ताल कतई उचित नहीं ठहराई जा सकती। सोमवार को एम्स के नर्सिग कर्मचारी वार्डो में भर्ती मरीजों को उनके हाल पर छोड़कर हड़ताल पर चले गए। इस हड़ताल से बड़ी संख्या में मरीजों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। यदि ये हड़ताल आगे भी जारी रहती है तो मरीजों की परेशानी काफी अधिक बढ़ सकती है।
एम्स निदेशक ने कोरोना महामारी के समय वेतन बढ़ोतरी को लेकर नर्सों की मांग और हड़ताल को गलत बताया है और उन्हें हड़ताल खत्म करने को कहा है। निदेशक का कहना सही है कि यह समय हड़ताल का कतई नहीं है। यह घटना निश्चित तौर पर एम्स को शर्मसार करने वाली है।
देश के इस प्रमुख चिकित्सा संस्थान में कार्यरत सभी नर्सिंग कर्मचारियों के हड़ताल पर रहने से यहां किस तरह अव्यवस्था की स्थिति पैदा हुई है और मरीजों को किस हद तक परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है, इसका अंदाजा आसानी से लगाया जा सकता है। इसमें कोई दो राय नहीं कि कोरोना महामारी के समय कोरोना पीडि़त व सामान्य मरीजों की देखरेख करने में नर्सिग कर्मचारियों का महत्वपूर्ण योगदान रहा है। उन्होंने अपनी जिंदगी की परवाह न करते हुए अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन किया है। ऐसे में यदि एम्स प्रशासन के साथ उनका किसी विषय पर विवाद है तो उन्हें व एम्स प्रशासन को मिल बैठकर निपटाना चाहिए, लेकिन हड़ताल जैसा कड़ा कदम कतई नहीं उठाना चाहिए।
एम्स प्रशासन को भी हरसंभव प्रयास करना चाहिए कि नर्सिंग कर्मचारी तत्काल हड़ताल खत्म कर वापस काम पर लौटें। यह एम्स प्रशासन का दायित्व है कि अस्पताल में भर्ती मरीजों को किसी तरह की परेशानी का सामना न करना पड़े। एम्स में कोरोना के मरीजों के साथ ही अन्य बीमारियों से संबंधित गंभीर मरीज भर्ती हैं, अत: किसी भी स्तर पर लापरवाही नहीं बरती जानी चाहिए और नर्सो की ये हड़ताल जल्द से जल्द खत्म कराई जानी चाहिए।
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