अभी नहीं चाहिए जीएसटी कटौती लेकिन दिसंबर के बाद के परिदृश्य को लेकर बनी हुई है अनिश्चितता : मारुति सुजुकी

मारुति सुजुकी लिमिटेड के चेयरमैन आर सी भार्गव को इसको लेकर संशय है और वह कहते हैं कि अभी कार कंपनियों को सरकार से जीएसटी कटौती नहीं चाहिए। लेकिन जनवरी के बाद अगर बिक्री में कमी होती है तो सरकार को इस पर विचार करना चाहिए।

By Ankit KumarEdited By: Publish:Fri, 30 Oct 2020 07:53 AM (IST) Updated:Fri, 30 Oct 2020 07:53 AM (IST)
अभी नहीं चाहिए जीएसटी कटौती लेकिन दिसंबर के बाद के परिदृश्य को लेकर बनी हुई है अनिश्चितता : मारुति सुजुकी
भार्गव मारुति सुजुकी की दूसरी तिमाही के परिणाम के बाद मीडिया से बात कर रहे थे।

नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। कोविड की वजह से ऑटो बाजार में जो शांति पसरी थी वह खत्म हो चुकी है। सितंबर के बाद अक्टूबर माह में भी बिक्री बहुत अच्छी है और दिसंबर, 2020 तक ग्राहकों की भीड़ बने रहने की संभावना है। लेकिन सवाल यह है कि क्या जनवरी, 2021 के बाद भी ग्राहक ऑटो डीलरों के यहां आएंगे? देश की सबसे बड़ा कार कंपनी मारुति सुजुकी लिमिटेड के चेयरमैन आर सी भार्गव को इसको लेकर संशय है और वह कहते हैं कि अभी कार कंपनियों को सरकार से जीएसटी कटौती नहीं चाहिए। लेकिन जनवरी के बाद अगर बिक्री में कमी होती है तो सरकार को इस पर विचार करना चाहिए वैसे वह यह भी मानते हैं कि इस बारे में भारत सरकार ही बेहतर फैसला कर सकती है।

भार्गव मारुति सुजुकी की दूसरी तिमाही के परिणाम के बाद मीडिया से बात कर रहे थे। कंपनी को सितंबर, 2020 में समाप्त तिमाही में 1419 करोड़ रुपये का शुद्ध मुनाफा हुआ है जो पिछली तिमाही के मुकाबले दो फीसद ज्यादा है। भार्गव ने कोविड की वजह से कार बाजार में हो रहे कई तरह के दिलचस्प बदलावों के बारे में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि जुलाई के बाद की बिक्री को देखा जाए तो इंट्री लेवल कारों को खरीदने वाले ग्राहकों की संख्या बढ़ी है।

पेट्रोल कारों के साथ ही सीएनजी कारों की बिक्री ज्यादा तेजी से बढ़ रही है। लोगो में व्यक्तिगत वाहन रखने की सोच बन रही है। भाड़े पर वाहन चलाने वाली कंपनियों को होने वाली बिक्री में दूसरी तिमाही में 69 फीसद की गिरावट हुई है। जुलाई से सितंबर, 2020 के दौरान कंपनी की कुल बिक्री में हैचबैक वाहनों की हिस्सेदारी 62.5 फीसद रही है जो पिछले वर्ष के मुकाबले पांच फीसद ज्यादा है। पूरे उद्योग की बात करें तो हैचबैक की हिस्सेदारी तकरीबन 43 फीसद हो गई है जो पिछले साल के मुकाबले तीन फीसद ज्यादा है। उन्होंने बताया कि सीएनजी वाहनों की मांग को देखते हुए आने वाले दिनों में ज्यादा सीएनजी मॉडल पेश करने की तैयारी है।

सनद रहे कि कोविड-19 महामारी की वजह से लागू लॉकडाउन के शुरुआती महीनों में जब कारों की बिक्री एकदम ठप्प थी तो कार कंपनियों की तरफ से जीएसटी की दरों में राहत देने की मांग की गई थी। सरकार की तरफ से सार्वजनिक तौर पर जल्द ही सकारात्मक फैसला करने का आश्वासन दिया गया था। अब भार्गव का कहना है कि जब बिक्री की रफ्तार अच्छी बनी हुई है तो जीएसटी दर में कटौती की कोई वजह नहीं है। मगर, बिक्री की रफ्तार जनवरी, 2020 के बाद प्रभावित हो सकती है।

उन्होंने बताया कि नवरात्रि के दौरान 10 दिनों में 96,700 कारों की बिक्री मारुति सुजुकी ने की है जो बता रहा है कि अभी लोग कार खरीदना चाहते हैं। नवंबर, 2020 में त्योहार होने की वजह से भी बिक्री की रफ्तार बने रहने की संभावना है। दिसंबर में कार कंपनियों की तरफ से डिस्काउंड वगैरह दिया जाता है जो मांग को बरकरार रखेगा।

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