बालू निकासी के विवाद में तैयार हो रही खूनी संघर्ष की पृष्टभूमि

बेतिया। दोहरम नदी से लगी रैयती भूमि पर अपना-अपना दावा करने वाले दो पक्षों के बीच बालू निकासी

By JagranEdited By: Publish:Wed, 02 Dec 2020 12:58 AM (IST) Updated:Wed, 02 Dec 2020 12:58 AM (IST)
बालू निकासी के विवाद में तैयार हो रही खूनी संघर्ष की पृष्टभूमि
बालू निकासी के विवाद में तैयार हो रही खूनी संघर्ष की पृष्टभूमि

बेतिया। दोहरम नदी से लगी रैयती भूमि पर अपना-अपना दावा करने वाले दो पक्षों के बीच बालू निकासी का मामला गहराता जा रहा है। बालू निकासी के विवाद में खूनी संघर्ष की पृष्टभूमि तैयार हो रही है। हालांकि पुलिस व प्रशासनिक अधिकारी अभी इस मामले को लेकर गंभीर नहीं हैं। सहोदरा थाना क्षेत्र के एकवा परसौनी निवासी शेख नसीम और शिकारपुर थाना क्षेत्र के बरवा निवासी शेख मूसा के बीच बनी तानातनी कभी भी बड़ी घटना में तब्दील हो सकती है। सुबह से शाम तक दोनों पक्ष भूमि के दोनों तरफ जमा हो रहे हैं। एक दूसरे के विरुद्ध लगाया जा रहा घात प्रशासन के लिए भी बड़ा सिरदर्द बन सकता है। सूत्रों की माने तो भूमि का बहुत बड़ा टूकड़ा एक पक्ष ने दूसरे पक्ष को लीज पर दिया था। बाद में खुद के कब्जे में लेना चाहा। बीच में परिस्थितियां ऐसी बदली कि दूसरा पक्ष अपनी जमीन बताकर उसपर दावा करने लगा। इसके बाद दोनों पक्ष में विवाद शुरू हुआ। करीब तीन साल पूर्व वहां गोलियां चली थी, जिसमें कुछ लोग घायल हुए थे। नदी से लगी इस भूमि पर काफी बालू जमा रहता है, जिसकी निकासी के लिए दोनों पक्षों के बीच विवाद होता रहा है। लोगों का कहना है कि भूमि विवाद इस फसाद के जड़ में है। कुछ लोग तो यह भी बताते हैं रैयती भूमि के नाम पर उस जगह पर दोहरम नदी में भी खनन किया जा रहा है। शनिवार को इसी तरह बालू निकासी के मामले में दोनों पक्ष भिड़ गए 1 सप्ताह पूर्व इन दोनों पक्षों के बीच हुए विवाद में सहोदरा पुलिस ने प्राथमिकी भी दर्ज की है। बावजूद इसके दोनों पक्ष आमने-सामने की स्थिति में है। सीओ अमित कुमार का कहना है कि उक्त घाट पर हो रही बालू की निकासी वैध है या अवैध। इस संबंध में जिला खनन पदाधिकारी से मंतव्य मांगा जा रहा है। जबकि सहोदरा थानाध्यक्ष अशोक कुमार साह का कहना है कि विवादित स्थल से बालू निकासी पर रोक लगा दी गई है। दोनों गुटों को यह निर्देश दिया गया है कि विवादित स्थल से बालू की निकासी नहीं करें अन्यथा कार्रवाई होगी। जबकि मूसा गुट द्वारा रविवार को बालू निकासी के मामले को गलत बताया गया है।

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