Bihar Lok sabha Election 2019: तीसरे चरण में, मियां- बीवी हैं रण में, किसकी होगी जीत

लोकसभा चुनाव के तीसरे चरण का मतदान जारी है। इस चरण में कई दिग्गजों की प्रतिष्ठा दांव पर लगी है। खासकर दो दिग्गज पति-पत्नी भी मैदान में हैं... पप्पू यादव और रंजीत रंजन।

By Kajal KumariEdited By: Publish:Tue, 23 Apr 2019 12:20 PM (IST) Updated:Wed, 24 Apr 2019 11:26 AM (IST)
Bihar Lok sabha Election 2019: तीसरे चरण में, मियां- बीवी हैं रण में, किसकी होगी जीत
Bihar Lok sabha Election 2019: तीसरे चरण में, मियां- बीवी हैं रण में, किसकी होगी जीत

पटना, काजल। बिहार में तीसरे चरण के लिए मंगलवार को पांच लोकसभा सीटों पर हुए मतदान में दो अलग-अलग राजनीतिक दलों के निवर्तमान सांसद पति-पत्नी राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव और रंजीत रंजन के भाग्य का फैसला ईवीएम में बंद हो गया। इस चरण में पति-पत्नी दोनों में से किसके सिर पर जीत का ताज सजेगा ये तो अब मतदाताओं ने तय कर दिया है, फैसले । 

इस चरण में मधेपुरा से जन अधिकार पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और निवर्तमान सांसद पप्पू यादव मैदान में हैं जहां उनका मुकाबला राजद सिंबल पर चुनाव लड़ रहे शरद यादव से है तो वहीं इन दोनों को चुनौती देंगे जदयू के दिनेशचंद्र यादव। इस सीट पर त्रिकोणीय मुकाबला है।

वहीं पप्पू यादव की पत्नी सुपौल सीट से फिर से चुनाव लड़ रही हैं। बता दें कि रंजीत रंजन यहां की निवर्तमान सांसद हैं और फिर से कांग्रेस के टिकट से इस बार चुनाव मैदान में हैं और उनका मुकाबला एक बार फिर से जदयू के दिलेश्वर कामत से है।  

वर्ष 2014 में आम चुनाव में शरद यादव ने जदयू के टिकट से मधेपुरा से चुनाव लड़ा था लेकिन वे राजद के प्रत्याशी पप्पू यादव से 56209 वोट से हार गए थे। इस बार चुनावी समीकरण बदले हुए हैं।

राजद से निष्कासित किए जाने के बाद पप्पू यादव ने अपनी जनअधिकार पार्टी बना ली वहीं जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष सह बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के गठबंधन तोड़ एनडीए में जाने से नाराज शरद यादव ने भी लोकतांत्रिक जनता दल का गठन कर लिया।

बिहार में तीसरे चरण के लिए मधेपुरा, सुपौल, अररिया, खगड़िया और झंझारपुर लोकसभा सीटों के लिए चुनाव हो रहे हैं। इसमें कुल 82 उम्मीदवारों का भविष्य दांव पर है। इस चरण में एनडीए की ओर से जेडीयू ने तीन, बीजेपी और एलजेपी ने एक-एक प्रत्याशी खड़े किए हैं। जबकि विपक्षी गठबंधन में आरजेडी तीन और कांग्रेस और वीआईपी एक-एक सीट की दावेदार है।

बिहार के चर्चित और बाहुबली नेता राजेश रंजन उर्फ पप्पू यादव मधेपुरा से सांसद हैं और इस बार भी चुनाव मैदान में हैं। अपराध और विवादों से घिरे रह चुके पप्पू यादव आज बिहार के कोसी अंचल के एक लोकप्रिय नेता हैं।

अपनी इस लोकप्रियता की वजह से ही वह बिहार के अलग-अलग इलाकों से पांच बार सांसद रह चुके हैं और छठी बार मधेपुरा से चुनावी मैदान में हैं। पप्पू यादव जनता की जरूरतों के लिए अपने घर के खुले दरवाजे और पढ़ने-लिखने में रुचि के लिए भी जाने जाते हैं।

उनका जन्म 24 दिसंबर, 1967 को बिहार के पूर्णिया जिले के खुरदा करवेली गांव में एक जमींदार परिवार में हुआ था। उनकी पत्नी रंजीता रंजन सुपौल से कांग्रेस की सांसद हैं। उनकी दो संतान सार्थक रंजन और प्रकृति रंजन हैं। उनका बेटा सार्थक रंजन क्रिकेट खिलाड़ी है।

पप्पू यादव अपने इलाके में काफी लोकप्रिय हैं और वह 1991, 1996, 1999 और 2004 में बिहार के अलग-अलग संसदीय क्षेत्र से लोकसभा चुनाव जीत चुके हैं। वह समाजवादी पार्टी, लोक जनशक्ति पाटी और राष्ट्रीय जनता दल जैसे कई दलों से जुड़े रह चुके हैं। उन्हें साल 2015 में सर्वश्रेष्ठ सांसद का सम्मान मिल चुका है। 

रंजीत रंजन की राह आसान नहीं  है। सुपौल लोकसभा सीट से कुल 20 उम्मीदवार मैदान में हैं, लेकिन असली मुकाबला कांग्रेस की सांसद रंजीत रंजन और जेडीयू के दिलेश्वर कामत के बीच है। रंजीत रंजन महागठबंधन की ओर से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ रही हैं। जबकि कामत जेडीयू के टिकट पर एनडीए के उम्मीदवार हैं. दूसरी बार दोनों आमने-सामने हैं। पिछले चुनाव में रंजीत रंजन ने दिलेश्वर कामत को हरा दिया था।

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