Horticulture of litchi : जानिए उत्तर बिहार स्थित चार जिलों के 52 एकड़ में लीची की सघन बागवानी के लिए क्या तैयारियां चल रहीं
Horticulture of litchi उन्नति प्रोजेक्ट के तहत चार जिलों का चयन किया गया है। कोका कोला और देहात के संयुक्त तत्वावधान में गोष्ठी का आयोजन किया गया।
मुजफ्फरपुर, जेएनएन। उन्नति प्रोजेक्ट के तहत चार जिलों के 52 एकड़ भूमि में लीची की सघन बागवानी होगी। कोका कोला और देहात के संयुक्त तत्वावधान में उन्नति प्रोजेक्ट के तहत लीची विकास को लेकर मुजफ्फरपुर, वैशाली, समस्तीपुर और पूर्वी चंपारण जिले को शामिल किया गया है।
एक दिवसीय किसान गोष्ठी
एमबीआरआइ भटौलिया के भगवान जानकी सभागार में उन्नति प्रोजेक्ट के तहत एक दिवसीय किसान गोष्ठी के दौरान देहात के सीनियर मैनेजर अमरेंद्र कुमार झा ने बताया कि इस प्रोजेक्ट के तहत लीची की गुणवत्ता सुधारने हेतु जहां देहात के द्वारा पुराने बगीचों का जीर्णोद्धार एवं उत्थान किया जाएगा, वहीं दूसरी ओर 52 एकड़ में सघन बागवानी तकनीक से मॉडल बगीचों की स्थापना की जाएगी।
किसानों की पाठशाला
चार एकड़ जमीन में देहात खुद सघन बागवानी से बगीचा स्थापित करेगा, जिसे किसानों की पाठशाला बनाई जाएगी। इस योजना के तहत प्रथम चरण में आठ हजार किसानों को जोड़ उनके बगीचों में काम किया जाएगा। इस योजना में इस योजना के तहत देहात किसानों के खेतों तक पहुंचकर उनके बगीचों को सुधारने का काम करेगी।
फलों के प्रबंधन की जानकारी
गोष्ठी को देहात के वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. केके सिंह ने संबोधित करते हुए फलों के प्रबंधन के बारे में किसानों को बताया। कहा कि किसानों को समय से पौधों पर दवा का छिड़काव करना चाहिए। साथ ही फेरोमैन ट्रैप का उपयोग कर कीटों से बचाव करने की जरूरत है। गोष्ठी में विषय प्रवेश एमबीआरआई के संस्थापक अविनाश कुमार ने किया। मौके पर उन्नति प्रोजेक्ट के परमजीत सिंह और प्रोजेक्ट मैनेजर अभिनव विवेक ने भी किसानों का मार्गदर्शन किया। मौके पर मरवन और सरैया प्रखंड के लीची उत्पादक किसान मौजूद थे।