गणतंत्र दिवस 2022: उत्तर प्रदेश में लहरा रहा मुजफ्फरपुर में बना तिरंगा

Happy Republic Day 2022 वाराणसी प्रयागराज मगहर देवरिया व गोरखपुर में यहां से की गई है आपूर्ति। सरकारी और निजी कार्यालयों के लिए हर साल होती खरीदारी। खादी ग्रामोद्योग की पहल से पांच लाख का कारोबार ।

By Ajit KumarEdited By: Publish:Wed, 26 Jan 2022 09:13 AM (IST) Updated:Wed, 26 Jan 2022 09:13 AM (IST)
गणतंत्र दिवस 2022: उत्तर प्रदेश में लहरा रहा मुजफ्फरपुर में बना तिरंगा
महाराष्ट्र में बने टेबल व कार स्टैंड फ्लैग की शहर में खूब मांग है। फोटो: जागरण

मुजफ्फरपुर, [अमरेंद्र तिवारी]। मुजफ्फरपुर में बने तिरंगे की उत्तर प्रदेश में मांग ने शहर को गौरवान्वित कर दिया है। खादी ग्रामोद्योग केंद्र द्वारा उत्तर प्रदेश के वाराणसी, प्रयागराज, मगहर स्थित खादी केंद्रों पर तिरंगे की आपूर्ति की गई है। इस साल करीब पांच लाख का कारोबार हुआ है, जबकि पिछली बार दो लाख का हुआ था। उत्तर प्रदेश की तीन संस्थाओं इलाहाबाद जगतपुर खादी आश्रम को ढाई लाख, वाराणसी के खादी आश्रम को डेढ़ लाख और मगहर के खादी आश्रम को एक लाख का तिरंगा दिया गया है। 

सितंबर से ही होने लगती डिमांड

जिला खादी ग्रामोद्योग संघ के मंत्री वीरेंद्र कुमार के अनुसार, उत्तर प्रदेश से गणतंत्र दिवस के लिए सितंबर माह से ही हर आकार के तिरंगे की मांग आने लगती है। इस बार 14 कारीगरों को इस काम में लगाया गया था। जनवरी के पहले सप्ताह से तिरंगे की आपूर्ति होने लगी थी।

गुणवत्ता से बढ़ी मांग

मोटा कपड़ा और पक्का रंग होने के कारण यहां के तिरंगे की मांग सरकारी कार्यालयों, स्कूलों और विभिन्न संस्थानों में ज्यादा होती है। स्थानीय स्तर पर भी उपलब्ध कराने के लिए इस बार करीब 10 लाख रुपये के तिरंगे का निर्माण कराया गया है।

खादीग्रामोद्योग की रही अपनी पहचान

खादी बिक्री केंद्र के रूप में मुजफ्फरपुर की पहचान रही है। मोटा कपड़ा और पक्का रंग होने के कारण यहां के तिरंगे की मांग सरकारी कार्यालय, स्कूल और विभिन्न संस्थानों में ज्यादा होती है। स्थानीय स्तर पर भी करीब 10 लाख रुपये के तिरंगे का निर्माण कराया गया है। आजादी के बाद से ही खादी झंडों के लिए ग्रामउद्योग संघ की विश्वसनीयता रही है। खादी ग्रामउदोग संघ के मंत्री वीरेंद्र कुमार की माने तो कुछ दिनों से प्लास्टिक के झंडे का प्रचलन था । लेकिन अब वह बंद हो जाने से खादी ग्रामद्योग संघ के बिक्री केंद्रों पर लोग तिरंगा झंडा के लिए आ रहे हैं। उन्हें कहा कि हर साल गणतंत्र दिवस व स्वतंत्र दिवस पर सबसे ज्यादा डिमांड रहती है । लेकिन वैसे लोग सालों भर झंडा खरीदने के लिए आते हैं। उन्होंने बताया कि महाराष्ट्र के हुबली स्थित कर्नाटका संयुक्ता खादी ग्रामद्योग फेडरेशन से झंडा मंगाया गया है। वहां से टेबल फ्लैग व कार फ्लैग की मांग भी इस बार है। इस बार 250 रुपया से लेकर 2800 रुपए का तिरंगा झंडा है।उन्होंने बताया कि 2 फीट 3 फीट और 6 फीट का झंडा हर जगह उपलब्ध है। अपने जिले के साथ ही उनसे समन्वय रखने वाली उत्तर प्रदेश के 3 संस्थाओं को भी झंडा दिया गया है। इलाहाबाद जगतपुर खादी आश्रम को ढाई लाख, बनारस के खादी आश्रम को डेढ़ लाख और मगहर के खादी आश्रम को एक लाख का झंडा दिया गया है। सभी जगह लोग ले गए हैं ।

महाराष्ट्र से आ रहा स्टैंड तिरंगा

खादी ग्रामोद्योग केंद्र द्वारा स्थानीय स्तर पर तिरंगे के निर्माण के साथ इस बार महाराष्ट्र के हुबली स्थित संयुक्त खादी ग्रामोद्योग फेडरेशन से भी झंडा मंगाया गया है। महाराष्ट्र में बने टेबल व कार स्टैंड फ्लैग की शहर में खूब मांग है। इनकी कीमत 250 से लेकर 2800 रुपये तक है। जिलाधिकारी कार्यालय एसएसबी, एसएसपी, सीआरपीएफ, सेंट्रल जेल, सिविल सर्जन कार्यालयों में इनकी खूब मांग है।  

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