आपरेशन की राशि नहीं देने पर महिला मरीज को बनाया बंधक

आदापुर में श्यामपुर बाजार स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र से रेफर गर्भवती महिला का एक निजी क्लीनिक में आपरेशन कर पेट से मृत बच्चा निकाले जाने व तयशुदा राशि नहीं मिलने के कारण मरीज को बंधक बनाए रखने का मामला प्रकाश में आया है। यह मामला स्थानीय श्यामपुर बाजार स्थित डा.आरके वर्मा के क्लीनिक का बताया गया है।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 21 May 2022 12:31 AM (IST) Updated:Sat, 21 May 2022 12:32 AM (IST)
आपरेशन की राशि नहीं देने पर महिला मरीज को बनाया बंधक
आपरेशन की राशि नहीं देने पर महिला मरीज को बनाया बंधक

रक्सौल । आदापुर में श्यामपुर बाजार स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र से रेफर गर्भवती महिला का एक निजी क्लीनिक में आपरेशन कर पेट से मृत बच्चा निकाले जाने व तयशुदा राशि नहीं मिलने के कारण मरीज को बंधक बनाए रखने का मामला प्रकाश में आया है। यह मामला स्थानीय श्यामपुर बाजार स्थित डा.आरके वर्मा के क्लीनिक का बताया गया है। महिला के स्वजन जमूनभार गांव निवासी तपसी पासवान ने थाने में उक्त चिकित्सक के विरुद्ध आवेदन दिया है। जिसमे आरोप लगाया गया है कि बीते सोमवार की देर शाम उनकी गर्भवती पतोहू प्रतिमा देवी को सरकारी अस्पताल लाया गया। जहां से अस्पतालकर्मियों द्वारा महिला की हालत गंभीर बताते हुए मोतिहारी सदर अस्पताल रेफर कर दिया गया। पुन: अस्पताल के कर्मियों की मिलीभगत से मरीज को बाजार स्थित नर्सिंग होम में पहुंचा दिया गया। इसके बाद चिकित्सक ने आनन-फानन में मरीज की हालत गंभीर बताते हुए गर्भवती महिला के पेट का ऑपरेशन कर दिया। इस दौरान मृत बच्चे को सामने लाकर बताया गया कि किसी तरह महिला की जान बचाई गई है। इसके एवज में 25 हजार रुपये का खर्च बताया गया, और नहीं दिए जाने की स्थिति में मरीज अब भी उक्त निजी क्लीनिक में ही है। इधर आवेदन मिलने के उपरांत पुलिस नर्सिग होम पहुंच कर मामले की जांच में जुट गई है, जबकि सरकारी चिकित्सक डा. संजय कुमार गुप्ता ने भी उक्त चिकित्सक से आवश्यक जानकारी लेने का प्रयास किया, परंतु निजी चिकित्सक का सहयोग नहीं मिलने से बैरंग वापस लौट गए। इस बाबत थानाध्यक्ष महेंद्र कुमार ने बताया कि मामले में जांच की जा रही है। वहीं सीएचसी प्रभारी डा. राजेश कुमार सहनी ने दूरभाष पर बताया कि अस्पताल की तरफ से आवश्यक रिपोर्ट पूर्व में भी की जा चुकी है। पुन: रिपोर्ट की जा रही है। इस संबंध में डा.आरके वर्मा का कहना है कि आरोप बेबुनियाद है। बदनाम करने की साजिश है।

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