बांग्लादेशी किन्नर शहादत हुसैन उर्फ पायल की भागलपुर अदालत में हुई पेशी

रेल पुलिस ने फरक्का एक्सप्रेस से 24 नवंबर 2018 को भारत में घुसपैठ को लेकर जिस बांग्लादेशी किन्नर शहादत हुसैन उर्फ पायल को हिरासत में लिया था वह पुरुष निकला था।

By Dilip ShuklaEdited By: Publish:Sun, 17 Mar 2019 10:49 AM (IST) Updated:Sun, 17 Mar 2019 10:49 AM (IST)
बांग्लादेशी किन्नर शहादत हुसैन उर्फ पायल की भागलपुर अदालत में हुई पेशी
बांग्लादेशी किन्नर शहादत हुसैन उर्फ पायल की भागलपुर अदालत में हुई पेशी

भागलपुर [जेएनएन]। फरक्का एक्सप्रेस से 24 नवंबर 2018 को बांग्लादेशी किन्नर शहादत हुसैन उर्फ पायल की गिरफ्तारी प्रकरण में सूचक रेल इंस्पेक्टर श्रीकांत मंडल की गवाही हुई। जेल से कड़ी सुरक्षा घेरे में शहादत की पेशी भी छठे अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश रोहित शंकर की अदालत में पेशी कराई गई। अदालत में विदेशी अधिनियम एवं एनडीपीएस एक्ट में आरोप का गठन हुआ है।

शहादत के बचाव में कोई वकील नहीं रहने के कारण उसे लीगल सेल से अधिवक्ता उपलब्ध कराया गया। बचाव पक्ष के अधिवक्ता ने रेल इंस्पेक्टर की गवाही का प्रति परीक्षण कराने के लिए न्यायालय से समय की मांग की है। न्यायालय ने बचाव पक्ष की मांग स्वीकार करते हुए बचाव पक्ष को प्रति परीक्षण कराने के लिए दो अप्रैल की तिथि दे दी है। बचाव पक्ष के अधिवक्ता ने अदालत में शुक्रवार को इस आशय की एक अर्जी दाखिल की है कि अभियुक्त विदेशी है। बांग्लादेश का है। इसके केस में कोई पैरवीकार नहीं है।

इसलिए भारतीय विदेश मंत्रालय के माध्यम से बांग्लादेशी विदेश मंत्रालय को पत्र लिखकर अभियुक्त के परिवार वालों को सूचित किया जाए। बचाव पक्ष की इस अर्जी को न्यायाधीश ने सुनवाई के लिए अभिलेख में रखने का निर्देश दिया। अगली तिथि पर इस बिंदु पर सुनवाई होनी है। सरकार की ओर से एनडीपीएस एक्ट के विशेष लोक अभियोजक श्रीधर सिंह ने सरकार का पक्ष रखा। रेल इंस्पेक्टर श्रीकांत मंडल ने अपनी गवाही में प्राथमिकी में उल्लेखित तथ्यों का जिक्र करते हुए घटना से जुड़ी बातों का समर्थन किया। गवाही बाद रेल इंस्पेक्टर ने न्यायालय में एक अर्जी भी दाखिल की। दाखिल अर्जी में कहा कि मालखाना प्रभारी के छुट्टी में रहने के कारण शहादत की गिरफ्तारी के समय जब्त स्मैक कोर्ट नहीं ला सका। मालखाना रजिस्टर भी कोर्ट में प्रस्तुत नहीं कर सका।

विदेशी आरोपित को देखने कोर्ट परिसर में जमा थी भीड़

शहादत हुसैन उर्फ पायल को देखने काफी लोगों की भीड़ पेशी के समय कचहरी परिसर में जमा हो गई थी। कड़ी सुरक्षा घेरे की वजह से लोग उसके नजदीक नहीं पहुंच पा रहे थे। भीड़ को देखते हुए हाजत से कोर्ट तक सुरक्षा घेरा और सख्त कर दिया गया था।

यहां बता दें कि रेल पुलिस ने भारत मे घुसपैठ को लेकर जिस बांग्लादेशी किन्नर शहादत हुसैन उर्फ पायल को हिरासत में लिया था, वह पुरुष निकला था। मेडिकल में डॉक्टरों ने उसे पुरुष घोषित कर दिया था। इसके बाद रेल पुलिस ने अवैध रूप से भारत में रहने, चोरी का मोबाइल इस्तेमाल करने और पास से कई आपत्तिजनक सामान मिलने को लेकर में रेल थाना में मामला दर्ज किया गया।

उसने बताया था कि पिछले सात सालों से शहादत हुसैन दिल्ली में पायल कुमारी बनकर गुड़गांव के एक मॉल में डांसर का काम करता था। इसके साथ बांग्लादेश की कई लड़कियां और किन्नर भी है। इसका मुख्य सरगना गोरुआ उर्फ गुरु भी बांग्लादेश का ही रहने वाला है।

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