Bihar Board 10th. Result : CM नीतीश के निश्चयों में शामिल सिमुलतला ने फिर रचा इतिहास

बिहार विद्यालय परीक्षा समिति द्वारा मैट्रिक परीक्षा का परिणाम घोषित किए जाने के साथ ही जमुई के सिमुलतला आवासीय विद्यालय के छात्रों ने पुन: इतिहास रचा है।

By Kajal KumariEdited By: Publish:Sun, 29 May 2016 07:07 PM (IST) Updated:Mon, 30 May 2016 11:26 AM (IST)
Bihar Board 10th. Result : CM नीतीश के निश्चयों में शामिल सिमुलतला ने फिर रचा इतिहास

जमुई [आशुतोष कुमार सिंह]। बिहार विद्यालय परीक्षा समिति द्वारा मैट्रिक परीक्षा का परिणाम घोषित किए जाने के साथ ही जमुई के सिमुलतला आवासीय विद्यालय के छात्र-छात्राओं ने पुन: इतिहास रच दिया। पिछले वर्ष के अपने रिकॉर्डतोड़ प्रदर्शन को दोहराते हुए विद्यालय के 42 छात्र-छात्राओं ने इस बार टॉप टेन की सूची में जगह बनाई है।

मैट्रिक की परीक्षा में बिहार में 15,73,498 छात्र-छात्राएं शामिल हुई थीं। 483 अंक हासिल कर सिमुलतला आवासीय विद्यालय की बबीता कुमारी एवं तृषा तानवी संयुक्त रूप से बिहार टॉपर बनीं। विद्यालय की कोमल कुमारी, अभिनव शर्मा तथा मधुकर कुमारी 482 अंकों के साथ संयुक्त रूप से दूसरे स्थान पर रहीं।

पिछले वर्ष 2015 में भी सिमुलतला आवासीय विद्यालय के 30 छात्रों ने टाप-10 में जगह बनाई थी। अपने पहले वर्ष में ही सिमुलतला आवासीय विद्यालय ने 63 साल पुराना कीर्तिमान को तोड़ते हुए नीतीश कुमार के सपने को साकार किया था। इस बार भी विद्यालय पर अपने प्रदर्शन को दोहराने का दबाव था।

इसके बावजूद यहां के छात्रों ने न केवल पिछले साल के रिकॉर्ड को तोड़ा, अपितु टॉप-10 में किसी अन्य विद्यालय को शामिल होने का मौका ही नहीं दिया। टाप-10 में शामिल सभी 42 छात्र-छात्राएं सिमुलतला आवासीय विद्यालय के ही हैं।

यहां के छात्रों से बिहार की बड़ी उम्मीदें जुड़ी हुई हैं। क्योंकि बिहार के बंटवारे के बाद नेतरहाट की कमी बिहार में रहने वाले अभिभावकों को खल रही थी। जिसके बाद बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 9 अगस्त 2010 को सिमुलतला आवासीय विद्यालय की स्थापना की। तब से उम्मीद लगाए बैठे बिहार के लोगों को बीते साल 2015 में मैट्रिक परीक्षा के परिणाम से गौरवान्वित होने का अवसर मिला था।

सिमुलतला आवासीय विद्यालय पर एक नजर

-नेतरहाट की तर्ज पर नीतीश कुमार ने अपने सपनों के विद्यालय को सिमुलतला आवासीय विद्यालय का रूप दिया

-इसकी स्थापना 9 अगस्त 2010 को नीतीश कुमार ने बतौर मुख्यमंत्री के रूप में की

-विद्यालय में 120 सीटों पर नामांकन के लिए भारी संख्या में पूरे बिहार भर से 34 हजार से अधिक छात्रों ने आयोजित प्रवेश परीक्षा में भाग लिया

-किराए के भवन और सुरक्षा की गारंटी नहीं होने के बाद भी छात्रों की संख्या नहीं घटी

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