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Loksabha Election 2019: राहुल गांधी का फार्मूला मानने को तैयार नहीं राजस्थान के कांग्रेसी नेता

मानवेंद्र सिह परंपरागत सीट बाड़मेर-जैसलमेर से लोकसभा चुनाव लड़ना चाहते है लेकिन गहलोत सरकार में राजस्व मंत्री हरीश चौधरी भी इसी सीट से अपना टिकट पक्का मानकर तैयारी में जुटे हैं।

By Arun Kumar SinghEdited By: Published: Fri, 08 Mar 2019 10:39 PM (IST)Updated: Fri, 08 Mar 2019 11:35 PM (IST)
Loksabha Election 2019: राहुल गांधी का फार्मूला मानने को तैयार नहीं राजस्थान के कांग्रेसी नेता

जयपुर, राज्‍य ब्‍यूरो राजस्थान के कांग्रेसी नेता अपने राष्ट्रीय अध्यक्ष राहुल गांधी द्वारा लोकसभा चुनाव के टिकट को लेकर तय किया गया फार्मूला मानने को तैयार नहीं हैं। एक तरफ तो कांग्रेस के दिग्गज नेता राहुल गांधी का फार्मूला मानने को तैयार नहीं हैं, वहीं दूसरी ओर विधानसभा चुनाव से पहले स्वाभिमान का नारा देकर भाजपा छोड़ने वाले दिग्गज नेता जसवंत सिह के पुत्र मानवेंद्र सिह कांग्रेस नेतृत्व से नाराज चल रहे हैं।

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इसी के चलते वह मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बाड़मेर-जैसलमेर दौरे में शामिल नहीं हुए। मानवेंद्र सिह अपनी परंपरागत सीट बाड़मेर-जैसलमेर से लोकसभा चुनाव लड़ना चाहते है, लेकिन गहलोत सरकार में राजस्व मंत्री हरीश चौधरी भी इसी सीट से अपना टिकट पक्का मानकर तैयारी में जुटे हैं। हरीश चौधरी गहलोत के करीबी माने जाते हैं।

राहुल ने बनाया यह फार्मूला राहुल गांधी ने टिकट वितरण को लेकर जो गाइडलाइन तय की है, इसके तहत विधानसभा चुनाव में जीते या हारे नेताओं को टिकट नहीं देने की बात कही गई है। इसके साथ ही नेताओं के रिश्तेदारों, राज्यसभा सदस्यों और राज्य सरकार में मंत्रियों को टिकट नहीं देने का फार्मूला दिया गया है। लेकिन प्रदेश के नेता राहुल गांधी का यह फार्मूला मानने को तैयार नहीं हैं।

इनमें सबसे प्रमुख नाम गहलोत सरकार में राजस्व मंत्री हरीश चौधरी, दिग्गज नेता डॉ. गिरिजा व्यास, विपक्ष के पूर्व नेता रामेश्वर डूडी, पूर्व विधायक श्रवण कुमार, विधायक मुरारी लाल मीणा शामिल हैं। हरीश चौधरी बाड़मेर-जैसलमेर सीट से अपना टिकट तय बताते हुए कार्यकर्ताओं की बैठकों में व्यस्त हैं। वह गांवों का दौरा भी कर रहे हैं।

रामेश्वर डूडी चूरू संसदीय सीट से चुनाव लड़ना चाहते हैं। डूडी हाल ही में विधानसभा चुनाव हारे हैं। विधायक मुरारी लाल मीणा दौसा सीट से टिकट मांग रहे हैं, जबकि जिले के अधिकांश नेता उनका विरोध कर रहे हैं। श्रवण कुमार झुंझुंनू सीट से चुनाव लड़ना चाहते हैं। वहीं पूर्व केंद्रीय मंत्री डॉ. गिरिजा व्यास चित्तौड़गढ़ सीट से चुनाव लड़ने की तैयारी में जुटी हैं। मुख्यमंत्री के पुत्र वैभव गहलोत जालौर-सिरोही सीट से चुनाव लड़ना चाहते हैं। वैभव गहलोत वर्तमान में प्रदेश कांग्रेस कमेटी में महासचिव हैं।

मानवेंद्र को लेकर असमंजस विधानसभा चुनाव से पहले स्वाभिमान की खातिर भाजपा से पुराना रिश्ता तोड़कर कांग्रेस का दामन थाम चुके मानवेंद्र सिह को लेकर असमंजस की स्थिति बनी हुई है। मानवेंद्र सिह बाड़मेर-जैसलमेर से लोकसभा चुनाव लड़ना चाहते हैं।

उनका दावा है कि कांग्रेस में शामिल होते समय उन्होंने राहुल गांधी के समक्ष यह शर्त रखी थी और उन्होंने इसे स्वीकार भी किया था। राहुल गांधी के कहने पर ही उन्होंने वसुंधरा राजे के सामने झालारापाटन से विधानसभा चुनाव लड़ा और हार गए थे। लेकिन अब एक तरफ तो राहुल गांधी द्वारा तय किया गया फार्मूला उनके आड़े आ रहा है, वहीं दूसरी तरफ प्रदेश के राजस्व मंत्री हरीश चौधरी की दावेदारी उनके लिए मुश्किल बनी हुई है।


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