आरएसएस की पाठशाला में हुई थी सीएम से सैनी की नजदीकियां, अब मिला इनाम
भाजपा ने बागी हुए निवर्तमान सांसद राजकुमार सैनी की काट के रूप में उन्हीं के शहर के नेता को भाजपा ने टिकट दिया है। नायब सिंह सैनी की मुख्यमंत्री से नजदीकियां भी एक वजह बताई जा रही।
पानीपत/कुरुक्षेत्र, [पंकज आत्रेय]। प्रदेश के श्रम, रोजगार एवं खनन राज्य मंत्री नायब सैनी कुरुक्षेत्र लोकसभा सीट पर भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी घोषित कर दिए गए हैं। आरएसएस की पाठशाला से निकले नायब मुख्यमंत्री के बेहद करीबी माने जाते हैं और इन्हीं नजदीकियों का उन्हें तीसरी बार इनाम मिला है। दो बार नारायणगढ़ विधानसभा में और अब सीधे लोकसभा के टिकट के रूप में।
भाजपा के निवर्तमान सांसद राजकुमार सैनी के बागी होने के जाने के बाद से ही वे कुरुक्षेत्र और कैथल में पूरी तरह से सक्रिय हो गए थे। बहरहाल राजकुमार सैनी की काट के रूप में और सैनी समाज की वोट साधने के लिए पार्टी ने उन्हें मैदान में उतार दिया है। अंबाला के सांसद रतन लाल कटारिया से भी उनके मधुर संबंध है। यह बात अलग है कि प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री अनिल विज से उनकी थोड़ी बहुत दूरियां ही रही हैं।
कॉलेज में आरएसएस विचारधारा से हुई प्रभावित
नायब सैनी के पिता सेना में रहे हैं और कॉलेज में उनकी गिनती होनहार विद्यार्थियों में होती थी। इसी दौरान वे आरएसएस की विचारधारा से प्रभावित हुए और मनोहर लाल खट्टर से उनका मिलना हुआ। आरएसएस से वे भाजपा में आए और 2005 में विधानसभा का चुनाव लड़ा। इस चुनाव में कांग्रेस के रामकिशन गुर्जर से बुरी तरह हारे। 2014 में वे 24361 वोटों से जीतकर पहली बार विधायक बने और पहली ही बार में राज्यमंत्री बनाए गए।