लोजपा ने तय किये प्रत्याशी, लेकिन रोक दी घोषणा, पासवान नहीं लड़ेंगे लोकसभा चुनाव
लोक जनशक्ति पार्टी के प्रमुख राम विलास पासवान इस बार लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे। वह राज्यसभा के रास्ते संसद जाएंगे।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। लोक जनशक्ति पार्टी ने बिहार में अपने हिस्से की आई छह लोकसभा सीटों के लिए उम्मीदवार तय कर लिये हैं। लेकिन कुछ अंदरुनी मसलों के चलते उनके नामों की घोषणा सोमवार को रोक दी गई। खगडि़या में पेंच फंसा है, जबकि हाजीपुर संसदीय सीट पर भी संदेह बरकरार है।
प्रत्याशियों के चयन के लिए संसदीय बोर्ड की बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत में लोजपा नेता चिराग पासवान ने यह जरूर बताया कि पार्टी प्रमुख राम विलास पासवान इस बार लोकसभा चुनाव नहीं लड़ेंगे। वह राज्यसभा के रास्ते संसद जाएंगे। गोवा के मुख्यमंत्री रहे मनोहर पर्रिकर के निधन के बहाने नामों की घोषणा रोक दी गई है।
पार्टी सूत्रों के मुताबिक चिराग पासवान जमुई संसदीय सीट से चुनाव मैदान में उतरेंगे। जबकि रामचंद्र पासवान समस्तीपुर से पार्टी प्रत्याशी होंगे, जहां से वह फिलहाल सांसद हैं। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष राम विलास पासवान की चिरपरिचित संसदीय सीट हाजीपुर से उनके भाई पशुपति कुमार पारस चुनाव लड़ेंगे। फिलहाल बिहार सरकार में मंत्री हैं।
वैशाली संसदीय सीट से इस बार नयी प्रत्याशी वीणा सिंह चुनाव लड़ेंगी। सिंह जद यू के विधायक निदेश सिंह की पत्नी हैं। वर्ष 2014 के लोकसभा चुनाव में यहां से रामा सिंह जीते थे, लेकिन उन्हें पार्टी से बाहर कर दिया गया है। खगडि़या सीट पर महबूब अली कैसर टिकट के लिए जोड़ तोड़ कर रहे हैं, लेकिन पासवान परिवार के वरिष्ठ सदस्यों के बीच आमराय नहीं बन पाने से इस पर फैसला नहीं हो सका है। हाजीपुर सीट पर भी पशुपति पारस के अलावा परिवार के किसी और सदस्य का नाम आ जाने से सूची जारी नहीं की जा सकी।
बिहार की नवादा सीट भी लोजपा के हिस्से आ गई है, जिसे लेकर भाजपा के नेता गिरिराज सिंह बवाल काटे हुए हैं। सिंह ने यहीं से चुनाव जीता था। लोजपा ने इस सीट से पूर्व सांसद व बाहुबली नेता सूरजभान सिंह की पत्नी वीणा देवी को टिकट देने का फैसला किया है। वीणा देवी ने लोकसभा का पिछला चुनाव मुंगेर संसदीय सीट से जीती थीं।
नवादा संसदीय सीट पर उठे विवाद के बारे में चिराग पासवान ने कहा कि वह इस बारे में गिरिराज सिंह से बात करेंगे, ताकि मसले का समाधान किया जा सके। गिरिराज सिंह को नवादा की जगह बेगूसराय भेज दिया गया है, जिससे उनका पारा चढ़ा हुआ है। चिराग ने कहा कि राजग के बीच बिहार में सीटों का बंटवारा सहज तरीके से कर दिया गया है, जबकि महागठबंधन में सीटों को लेकर जबर्दस्त मारामारी चल रही है।
पूरा गठबंधन भ्रम की स्थिति में है। उन्होंने जोर देकर कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में राजग लोकसभा के इस चुनाव में 543 सीटों से 350 सीटें जीतकर सत्ता में लौटेगा। बिहार में भाजपा व जद यू 17-17 और लोजपा को छह सीटें मिली हैं।