Rahul Rajput Murder Case: बहन को स्कूटी गिफ्ट करना चाहते थे राहुल राजपूत, पढ़ाई का खर्च भी खुद उठाते थे
Rahul Rajput Murder Case ट्यूशन पढ़ाने वाले राहुल राजपूत अपनी कमाई से छोटी बहन मुस्कान को भाईदूज त्योहार पर स्कूटी गिफ्ट करना चाहते थे। जब भाई की मौत की खबर बहन ने सुनी तो वह बेसुध हो गई।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। Rahul Rajput Murder Case: हमले में जान गंवाने वाले 19 वर्षीय राहुल राजपूत बेहद जिंदादिल इंसान थे। परिवार के साथ दोस्तों में भी बेहद लोकप्रिय थे। राहुल बचपन से ही पढ़ाई में तेज थे और सरकारी नौकरी पाने के लिए प्रतियोगी परीक्षाओं की भी तैयारी कर रहे थे। उनकी पढ़ाई से परिवार पर आर्थिक बोझ न पड़े, इसलिए वह कोचिंग सेंटर में बच्चों को पढ़ा भी रहे थे। वह अपनी कमाई से बहन मुस्कान को भाईदूज पर स्कूटी गिफ्ट करना चाहते थे। जब भाई की मौत की खबर बहन ने सुनी तो वह बेसुध हो गई।
बताया जा रहा है कि पांचों हमलावरों ने इतनी बेरहमी से पीटा था कि राहुल राजपूत सदमे में आ गए थे। पिटाई के बाद वह किस कदर डरे हुए थे, इसका अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि जहांगीरपुरी का नाम सुनते ही वह घबरा जाते थे। जब रात को राहुल राजपूत तबीयत बिगड़ने पर उनको जहांगीरपुरी इलाके के बाबू जगजीवन राम स्मारक अस्पताल ले जाया जाने लगा तो वह रास्ते भर स्वजनों से जहांगीरपुरी नहीं ले जाने की बात कहते रहे। वहीं, शुक्रवार को पोस्टमार्टम रिपोर्ट में पता चला है कि राहुल की आंत फट गई थी, जिससे उनकी मौत हो गई।
सांस लेने में हो रही थी परेशानी
राहुल के चाचा धर्मपाल ने बताया कि राहुल को सांस लेने में बहुत दिक्कत हो रही थी। अस्पताल में चिकित्सकों ने जान बचाने के भरसक प्रयास किए, लेकिन कामयाबी नहीं मिल सकी। उधर, स्वजनों ने शुक्रवार को राहुल की अस्थि विसर्जन करने के लिए गढ़ मुक्तेश्वर गए। उनकी मांग है कि मुकदमे की त्वरित सुनवाई हो और हमलावरों को फांसी मिले। साथ ही तीनों नाबालिगों पर भी बालिगों की तरह मुकदमा चलाया जाए।
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