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Delhi Pollution: 400 के पार पहुंचा AQI, रेड जोन में बना हुआ है दिल्ली-एनसीआर

Delhi Pollution केंद्रीय पृथ्वी विज्ञान मंत्रलय द्वारा संचालित वायु गुणवत्ता सूचकांक निगरानी संस्था सफर इंडिया के का कहना है कि पंजाब और हरियाणा समेत अन्य राज्यों में जलाई जा रही पराली का धुआं दिल्ली-एनसीआर की हवा को जहरीली बना रहा है।

By JP YadavEdited By: Published: Sat, 07 Nov 2020 08:15 AM (IST)Updated: Sat, 07 Nov 2020 09:36 AM (IST)
दिल्ली और एनसीआर की हवा हुई जहरीली।

नई दिल्ली, जेएनएन। Delhi Pollution: दिल्ली-एनसीआर में अन्य दिनों की तुलना में शनिवार को वायु प्रदूषण से हल्की राहत है, लेकिन यह स्वास्थ्य के लिहाज से बेहद खराब श्रेणी में ही बना हुआ है। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (Central Pollution Control Board) के मुताबिक,  दिल्ली के पंजाबी बाग में शनिवार को वायु गुणवत्ता स्तर 438 रिकॉर्ड किया गया है। वहीं, दिल्ली के साथ नोएडा, ग्रेटर नोएडा, गाजियाबाद और गुरुग्राम समेत एनसीआर के दर्जनभर शहर प्रदूषण के लिहाज से रेड जोन में ही चल रहे हैं। इसके चलते लोगों ने स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं की जिक्र किया है, जिसमें सांस लेने में दिक्कत के साथ आंखों में जलन आम है। वहीं, इससे पहले शुक्रवार को भी  वायु प्रदूषण से दिल्ली-एनसीआर का हाल बेहाल ही रहा। बृहस्पतिवार की तुलना में शुक्रवार को दिल्ली की वायु गुणवत्ता स्तर में हल्का सुधार हुआ। बावजूद इसके एयर इंडेक्स गंभीर श्रेणी में ही रिकॉर्ड किया गया था। दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति के मुताबिक, जहां बृहस्पतिवार को दिल्ली का वायु गुणवत्ता स्तर 450 था तो शुक्रवार को इसमें 44 अंकों का हल्का सुधार हुआ और यह 406 अंक पहुंच गया।  वहीं, दिल्ली से ज्यादा प्रदूषित नोएडा शहर रहा। यहां पर पीएम 2.5 का स्तर 600 तक पहुंच गया। 

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वहीं, केंद्रीय पृथ्वी विज्ञान मंत्रलय द्वारा संचालित वायु गुणवत्ता सूचकांक निगरानी संस्था सफर इंडिया के का कहना है कि पंजाब और हरियाणा समेत अन्य राज्यों में जलाई जा रही पराली का धुआं दिल्ली-एनसीआर की हवा को जहरीली बना रहा है। 

यह अलग बता है कि  शुक्रवार को दिल्ली के प्रदूषण में पराली के धुएं की हिस्सेदारी 42 फीसद से घटकर आधी यानी 21 फीसद रह गई। सफर इंडिया के मुताबिक, पंजाब और हरियाणा में अब तक पराली जलाए जाने की घटनाएं 3,225 दर्ज हुईं।

सफर इंडिया का कहना है कि  न्यूनतम तापमान में कमी आने के साथ हवा की कम गति ने भी दिल्ली-एनसीआर के प्रदूषण में इजाफा किया है। हवा की गति घटी या कम हुई तो वायु प्रदूषण की समस्या दिल्ली में गंभीर हो जाएगी। ऐसे यह स्वास्थ्य के लिहाज से ठीक नहीं होगा, खासकर बुजुर्गों और बच्चों के लिए।

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