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Softbank को अरबों का घाटा, फिर भी इस भारतवंशी सीईओ को मिला दोगुना वेतन, जानें पूरा ब्योरा

मिश्रा सॉफ्टबैंक में सबसे ज्यादा वेतन पाने वाले दूसरे नंबर के कर्मचारी हैं। उनसे ज्यादा वेतन केवल सीओओ मार्सेलो क्लॉर का है।

By Ankit KumarEdited By: Published: Sat, 30 May 2020 10:28 AM (IST)Updated: Sun, 31 May 2020 01:52 PM (IST)
Softbank को अरबों का घाटा, फिर भी इस भारतवंशी सीईओ को मिला दोगुना वेतन, जानें पूरा ब्योरा
Softbank को अरबों का घाटा, फिर भी इस भारतवंशी सीईओ को मिला दोगुना वेतन, जानें पूरा ब्योरा

नई दिल्ली, जेएनएन। जापान की कंपनी सॉफ्टबैंक ने अरबों के घाटे के बावजूद अपने विजन फंड के सीईओ राजीव मिश्रा को पिछले साल दोगुना वेतन दिया। कई जानकार कंपनी के इस कदम को आश्चर्यजनक मान रहे हैं। मूलरूप से टेक्नोलॉजी फर्म सॉफ्टबैंक अपने विजन फंड के माध्यम से विभिन्न कंपनियों में निवेश करती है। इसने अलीबाबा, ओला, उबर, स्नैपडील, पेटीएम, ओयो और इनमोबी समेत कई कंपनियों में पैसा लगाया है। रेगुलेटरी फाइलिंग के मुताबिक, सॉफ्टबैंक ने मिश्रा को वित्त वर्ष 2019-20 में कुल 1.5 करोड़ डॉलर (करीब 113 करोड़ रुपये) का वेतन दिया। यह सालभर पहले के मुकाबले में दोगुने से भी ज्यादा है।  

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कंपनी ने मिश्रा को यह वेतन ऐसे हालात में दिया है, जबकि पिछले साल विजन फंड को 18 अरब डॉलर (करीब 1.35 लाख करोड़ रुपये) का भारी-भरकम नुकसान हुआ है। विजन फंड के घाटे का ही नतीजा है कि सॉफ्टबैंक ग्रुप को भी कुल 13 अरब डॉलर (करीब 97 हजार करोड़ रुपये) का ऑपरेटिंग लॉस हुआ है। कंपनी के इस कदम से विशेषज्ञ हैरान हैं। एनालिस्ट डेन बेकर का कहना है कि कंपनी के प्रदर्शन को देखते हुए मिश्रा को मिला वेतन बहुत ज्यादा है। यह समझना असंभव है कि वेतन किसी तरह से प्रदर्शन पर आधारित है।  

मिश्रा सॉफ्टबैंक में सबसे ज्यादा वेतन पाने वाले दूसरे नंबर के कर्मचारी हैं। उनसे ज्यादा वेतन केवल सीओओ मार्सेलो क्लॉर का है। उन्हें 17 फीसद की वृद्धि के साथ कंपनी ने पिछले साल दो करोड़ डॉलर (करीब 150 करोड़ रुपये) का वेतन दिया। चौंकाने वाली बात यह भी है कि सॉफ्टबैंक के संस्थापक और सीईओ मासायोशी सोन ने पिछले साल नौ फीसद की कटौती के साथ मात्र 19 लाख डॉलर (करीब 14 करोड़ रुपये) ही बतौर वेतन लिया। 

जानें कौन हैं राजीव मिश्रा

ओडिशा के बालेश्वर में जन्में 56 वर्षीय राजीव मिश्रा के पास आइआइटी, दिल्ली से मैकेनिकल इंजीनियरिंग में बैचलर की डिग्री है। उनके पास यूनिवर्सिटी ऑफ पेंसिलवेनिया से कंप्यूटर साइंस में मास्टर्स की डिग्री है। वह Sloan School of Management से एमबीए हैं। राजीव मिश्रा Merrill Lynch, Deutsche Bank, UBS Group और Fortress Investment Group के साथ काम कर चुके हैं।

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गलत साबित हुए कई फैसले

राजीव मिश्रा के नेतृत्व में सॉफ्टबैंक विजन फंड के कई फैसले गलत साबित हुए हैं। 2019 में कंपनी ने वीवर्क में 47 अरब डॉलर कर निवेश किया था। इस निवेश का मूल्य अब मात्र 2.9 अरब डॉलर ही बचा है। उबर में किए गए निवेश का मूल्य भी 10 अरब डॉलर कम हो गया है। ओयो में निवेश भी कंपनी के लिए घाटे का सौदा रहा।


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