क्लीन फ्यूल क्या है? भारत सरकार पंचामृत कार्यक्रम से दे रही इस सेक्टर को बढ़ावा
इस समय देश में इलेक्ट्रिक व्हीकल की डिमांड भी बढ़ी है इसके अलावा कई नए मेरे मैन्यूफैक्चर्स इस सेगमेंट में अपना लक आजमा रहे हैं। भारत सरकार मैन्यूफैक्चरर्स और ग्राहकों को ईवी खरीद पर प्रोत्साहन राशि भी देती है। (जागरण फोटो)
नई दिल्ली, ऑटो डेस्क। भारत सरकार बढ़ते प्रदूषण पर अंकुश लगाने के लिए हर संभव प्रयास कर रही है। इसी क्रम में केंद्रीय भारी उद्योग मंत्री महेंद्र नाथ पांडे 'पंचामृत' कार्यक्रम की मदद से भारत को क्लीन फ्यूल की तरफ प्रमोट कर रहे हैं। क्या होता है क्लीन फ्यूल आज इसके बारे में इस खबर के माध्यम से आपको बताने जा रहे हैं।
क्या होता है क्लीन क्लीन फ्यूल
क्लीन फ्यूल से ईंधन की तुलना में पर्यावरण को कम नुकसान पहुंचता है। क्योंकि, डीजल-पेट्रोल गाड़ी से निकलने वाली धुआं से पर्यावरण को अच्छा-खासा नुकसान पहुंचता है और वायु प्रदूषण भी फैलता है। भारत सरकार क्लीन फ्यूल की तरफ तेजी से काम कर रही है। जिसका ताजा उदाहरण इलेक्ट्रिक व्हीकल से ले सकते हैं। इस समय देश में इलेक्ट्रिक व्हीकल की डिमांड भी बढ़ी है इसके अलावा कई नए मेरे मैन्यूफैक्चर्स इस सेगमेंट में अपना लक आजमा रहे हैं। भारत सरकार मैन्यूफैक्चरर्स और ग्राहकों को ईवी खरीद पर प्रोत्साहन राशि भी देती है।
इस समय 5 क्लीन फ्यूल की तरफ भारत सरकार तेजी से ध्यान दे रही है, जिसमें हाइड्रोजन, इथेनॉल, बायोडीजल, गैस और इलेक्ट्रिक व्हीकल शामिल हैं।
आपको जानकारी के लिए बता दें, तीन अगस्त 2022 को केंद्रीय कैबिनेट ने देश के इस एनडीसी का अनुमोदन किया था। जिसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा बीते वर्ष नवंबर में ग्लासगो में कान्फ्रेंस आफ पार्टीज (काप)26 सम्मेलन में सुझाए गए 'पंचामृत' भी शामिल हैं। पंचामृत से तात्पर्य जलवायु परिवर्तन रोकने की दिशा में तय लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए काप26 में पीएम द्वारा सुझाए गए पांच महत्वपूर्ण बिंदु हैं।
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