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दिल्ली सरकार को लेकर आज हाई कोर्ट सुना सकता है अहम फैसला, पिछली सुनवाई पर लगाई थी फटकार

मुख्यमंत्री बने रहने के अरविंद केजरीवाल के निर्णय के चलते बेपटरी हुई राष्ट्रीय राजधानी की व्यवस्था से नाराज दिल्ली हाई कोर्ट आज सोमवार को अहम निर्णय सुना सकता है। पिछली सुनवाई पर दिल्ली सरकार को फटकार लगाते हुए अदालत ने स्पष्ट कहा था कि दिल्ली सरकार कोर्ट को उस रास्ते पर जाने के लिए मजबूर कर रही हैं जिस पर अदालत नहीं जाना चाहती है।

By Vineet Tripathi Edited By: Abhishek Tiwari Published: Mon, 29 Apr 2024 11:25 AM (IST)Updated: Mon, 29 Apr 2024 11:57 AM (IST)
दिल्ली सरकार को लेकर आज हाई कोर्ट सुना सकता है अहम फैसला

जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। Arvind Kejriwal News : आबकारी नीति घोटाले से जुड़े मनी लॉन्डिंग मामले में जेल जाने के बाद भी मुख्यमंत्री बने रहने के अरविंद केजरीवाल के निर्णय के चलते बेपटरी हुई राष्ट्रीय राजधानी की व्यवस्था से नाराज दिल्ली हाई कोर्ट आज अहम निर्णय सुना सकता है।

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उठाया था स्कूलों में किताबें और वर्दी न मिलने का मुद्दा

दिल्ली नगर निगम (एमसीडी) के स्कूली बच्चों को वर्दी समेत शैक्षिक सामग्री नहीं देने के मामले पर शुक्रवार को तल्ख टिप्पणी करते हुए दिल्ली हाई कोर्ट ने इस संबंध में इशारा किया था।

दिल्ली सरकार को फटकार लगाते हुए कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनमोहन व न्यायमूर्ति मनमीत प्रीतम सिंह अरोड़ा की पीठ ने स्पष्ट कहा था कि दिल्ली सरकार अदालत को उस रास्ते पर जाने के लिए मजबूर कर रही हैं जिस पर अदालत नहीं जाना चाहती है।

पीठ ने कहा था कि विभिन्न जनहित याचिकाओं में जब भी यह मुद्दा सामने आया है तो अदालत ने हर बार यही कहा है कि यह कार्यपालिका का फैसला है, अगर दिल्ली सरकार चाहती है कि अदालत इस पर टिप्पणी करें, तो हम पूरी सख्ती के साथ करेंगे।

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अदालत ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के रुख पर सवाल उठाते हुए यहां तक कह दिया था कि गिरफ्तारी के बाद इस्तीफा न देकर अरविंद केजरीवाल ने व्यक्तिगत हित को राष्ट्रहित से ऊपर रखा है।

अदालत ने कहा था कि दिल्ली सरकार की दिलचस्पी सिर्फ सत्ता के विनियोग में है और जमीनी स्तर पर हालात बहुत खराब हैं। अदालत ने कहा कि एक अदालत के तौर पर किताबें, वर्दी बांटना हमारा काम नहीं है। हम ऐसा इसलिए कर रहे हैं क्योंकि कोई अपने काम में असफल हो रहा है।

दिल्ली सरकार की रूचि सिर्फ सत्ता हासिल करने में है। अदालत ने उक्त टिप्पणियां तब की जब गैर सरकारी संगठन सोशल जूरिस्ट की जनहित याचिका पर सुनवाई के दौरान दिल्ली सरकार के अधिवक्ता शादान फरासत ने कहा कि इस मामले में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल से कुछ अनुमोदन की आवश्यकता है और वह आबकारी नीति से संबंधित मनी लॉन्डिंग मामले में हिरासत में हैं।

जवाब से नाखुश कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनमोहन ने कहा कि मुझे नहीं पता कि आप (दिल्ली सरकार) कितनी शक्ति चाहते हैं, लेकिन समस्या यह है कि आप सत्ता हथियाने की कोशिश कर रहे हैं।


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