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Elections in 2024: भारत समेत 70 देशों में इस साल चुनाव, आखिर क्या है अमेरिका, ब्रिटेन और यूरोपीय संसद के चुनाव का सबसे बड़ा मुद्दा

Elections in 2024 भारत में लोकसभा चुनाव हो रहे हैं और सत्ता पक्ष और विपक्ष भ्रष्टाचार बेरोजगारी और महंगाई के मुद्दे पर एक दूसरे को घेर रहा है। इस बीच दुनिया के 70 देशों में इस साल चुनाव होने हैं। आज हम अमेरिका ब्रिटेन और यूरोपीय संसद में कौन से चुनावी मुद्दे हैं वो बताएंगे। जिसको लेकर वहां की जनता इस बार वोट डालने वाली है।

By Jagran News Edited By: Mahen Khanna Published: Sat, 25 May 2024 04:52 PM (IST)Updated: Sat, 25 May 2024 04:52 PM (IST)
Elections in 2024 इस बार क्या है अमेरिका और ब्रिटेन के चुनावी मुद्दे।

जागरण डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। Elections in 2024 इस साल दुनिया के 70 देशों में चुनाव होने हैं। भारत में लोकसभा चुनाव जारी हैं और पक्ष-विपक्ष भ्रष्टाचार, बेरोजगारी और महंगाई के मुद्दे पर एक दूसरे को घेर रहा है। इस बीच अमेरिका, ब्रिटेन और यूरोपीय संसद में भी चुनाव को लेकर राजनीतिक सरगर्मियां तेज है। 

आज हम इन देशों में कौन से चुनावी मुद्दे हैं, वो बताएंगे। जिसको लेकर वहां की जनता इस बार वोट डालने वाली है।

अमेरिका में ये होंगे चुनावी मुद्दे

अमेरिका में 4 नवंबर को चुनाव होना है और बोर्डर सुरक्षा, गोलीबारी की बढ़ती घटनाएं और अर्थव्यवस्था सबसे बड़ा चुनावी मुद्दा है। बाइडन राज में बेरोजगारी भी बढ़ी है, जिसको लेकर पूर्व पीएम डोनाल्ड ट्रंप हमलावर रुख अपना रहे हैं। ट्रंप का आरोप है कि अमेरिका की खराब आर्थिक हालत और बेरोजगारी के लिए बाइडन सरकार जिम्मेदार है। ट्रंप रूस-यूक्रेन युद्ध को लेकर भी बाइडन को दोषी ठहराते हैं।

ब्रिटेन में अवैध प्रवासी और महंगाई सबसे बड़े मुद्दे

ब्रिटेन में कंजरवेटिव सरकार का कार्यकाल 17 दिसंबर 2024 को खत्म होना है, लेकिन प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने छह महीने पहले ही 4 जुलाई को चुनाव का एलान कर दिया है। यहां 14 साल से कंजरवेटिव पार्टी सत्ता में है और इस बार सर्वेक्षणों में विपक्षी लेबर पार्टी को बढ़त दिख रही है।

ब्रिटेन में महंगाई चरम पर है, इसलिए सबसे बड़ा मुद्दा यहां महंगाई है। वहीं, अवैध प्रवासी और आर्थिक स्थिरता भी यहां अहम मुद्दे हैं। सुनक सरकार के लिए इस बार सबसे बड़ा मुद्दा रवांडा नीति भी है, जिसके तहत अवैध प्रवासियों को ब्रिटेन आने से रोकने का सुनक सरकार ये नीति लाई है। सुनक का कहना है कि अगर लेबर पार्टी आ गई तो वो इस नीति को हटा देगी। 

यूरोपीय संसद में भी 6 जून को वोटिंग

यूरोपीय संसद 27 देशों के लोगों का प्रतिनिधित्व करता है। इस चुनाव में 40 करोड़ लोग वोट डालेंगे, जिसके लिए 6 से 9 जून तक वोटिंग होगी। यह भारत के बाद सबसे बड़ा चुनाव माना जाता है। दरअसल, ईयू में मौजूद देश अपने हितों की रक्षा के लिए ये चुनाव करते हैं, जिसमें महंगाई, अवैध प्रवासी से लेकर जलवायु परिवार्तन जैसे मुद्दे शामिल हैं। 


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