बिजली चोरी के टॉप 10 राज्यों में उत्तराखंड
उत्तराखंड बिजली चोरी, वन एवं वन्य तस्करी के मामले में सर्वाधिक अपराध वाले टॉप टेन राज्यों में शुमार है।
देहरादून, [सुमन सेमवाल]: कुल अपराध में भले ही उत्तराखंड देश के सबसे शांत टॉप पांच राज्यों में शुमार हो, लेकिन कई गंभीर अपराधों के मामले में राज्य की स्थिति पर अधिक संतोष नहीं किया जा सकता।
इसकी वजह यह है कि बलात्कार, हत्या, डकैती, लूट जैसे अपराधों में देश के 29 राज्य व सात केंद्र शासित प्रदेशों में उत्तराखंड टॉप 20 राज्यों में, जबकि बिजली चोरी, वन एवं वन्य तस्करी के मामले में सर्वाधिक अपराध वाले टॉप टेन राज्यों में शुमार है। नेशनल क्राइम रिकॉड्र्स ब्यूरो(एनसीआरबी) के 30 नवंबर को जारी वर्ष 2016 के आंकड़ों में प्रदेश में अपराध की यह तस्वीर निकलकर सामने आई है।
शस्त्रों के अनाधिकृत प्रयोग की बात करें तो उत्तराखंड सर्वाधिक अपराध वाले टॉप 11 राज्यों में शुमार है। शराब तस्करी व नशे की अन्य वस्तुओं के प्रयोग की स्थिति भी राज्य के हित में नजर नहीं आती। इस श्रेणी के अपराध में उत्तराखंड का स्थान टॉप 16 में शामिल है। हालांकि सुकून की बात यह जरूर है कि वर्ष 2016 में राष्ट्र के खिलाफ किसी भी तरह के अपराध में राज्य का आंकड़ा शून्य है।
जबकि, वर्ष 2016 में प्रिवेंशन ऑफ इंसल्ट टू नेशनल ऑनर एक्ट में विभिन्न राज्यों से 73 मामले दर्ज किए गए हैं। रेलवे एक्ट व बाल मजदूरी में भी प्रदेश में एक भी अभियोग पंजीकृत नहीं किया गया है। रेलवे एक्ट में देश में 375 व बाल मजदूरी में 128 मामले दर्ज किए गए।
बिजली चोरी में ये प्रदेश आगे
उत्तर प्रदेश (पहला), हरियाणा (दूसरा), पश्चिम बंगाल (तीसरा) बिहार (चौथा), राजस्थान (पांचवां), झारखंड (छठा) दिल्ली (सातवां), महाराष्ट्र (आठवां), उत्तराखंड(नवां), उड़ीसा(दसवां)।
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