लखनऊ से दौरे पर आए रेल अफसरों की रिपोर्ट तलब
जागरण संवाददाता, वाराणसी : कुछ दिनों पूर्व ही अलग अलग समय पर रेलवे के सर्वोच्च अधिकारी चेयरमैन द्वय द्वारा वाराणसी दौरे के दौरान यहां के कैंट रेलवे स्टेशन को देश का सर्वाधिक गंदा स्टेशन घोषित कर दिए जाने का मामला बुधवार को एक बार फिर गरम हो गया। वजह, बुधवार को रेलवे बोर्ड के चेयरमैन अरुणेंद्र कुमार एक बार फिर कैंट रेलवे स्टेशन पर थे। चारों ओर गंदगी, बिजली, पानी व साफ सफाई का मसला फिर मुंह बाए सामने खड़ा था। क्षुब्ध चेयरमैन ने दो टूक कहा-बीते तीन माह में लखनऊ से जितने भी रेल अफसरों ने बनारस का दौरा किया है, उनकी रिपोर्ट मुझे भेजी जाए।
बुधवार को चेयरमैन व इसके पूर्व मंगलवार की रात उत्तर रेलवे के महाप्रबंधक वीके गुप्ता ने कैंट रेलवे स्टेशन का हाल जाना। प्लेटफार्म पर नलों के नीचे गंदगी, जहां तहां फैला बिजली का केबिल, सर्कुलेटिंग एरिया में खुले मैनहोल, प्रथम व द्वितीय श्रेणी यात्री हॉल में अंधेरा आदि तमाम गड़बड़ियां अपनी कहानी खुद कह रही थीं।
ज्ञात हो कि लगभग छह माह पहले निवर्तमान चेयरमैन विनय मित्तल ने भी कैंट स्टेशन का निरीक्षण किया था। तब भी गंदगी को लेकर वह खफा थे। इसके बावजूद स्थितियों में सुधार नहीं आया।
उत्तर रेलवे में ही रहेगा कैंट स्टेशन
निरीक्षण के बाद चेयरमैन ने मीडिया से कहा कि कैंट स्टेशन पर प्रतिदिन लगभग एक लाख यात्री आते जाते हैं। इस कारण माकूल व्यवस्था करने के बाद भी स्थिति बेहतर नहीं हो पा रही है। स्थानीय अधिकारी बेहतर करने में सक्षम हैं, इन्हें निर्देश दिए गए हैं, शीघ्र ही परिणाम सामने आना चाहिए। तत्काल व्यवस्था सुधारने के लिए क्या कैंट स्टेशन को पूर्वोत्तर रेलवे में शामिल नहीं किया जा सकता क्योंकि इसका डीआरएम कार्यालय यहीं है। इस पर वह बोले कि परिचालन की दृष्टि से कैंट स्टेशन उत्तर रेलवे में ही रहेगा। हां, बेहतर करने के लिए परिश्रम करना होगा। उम्मीद है कि जिम्मेदार अधिकारी अपना काम ठीक तरीके से करेंगे।
किसी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं
कैंट स्टेशन की दुर्व्यवस्था पर क्या किसी अधिकारी व इंजीनियर के खिलाफ कोई कार्रवाई की गई है। चेयरमैन श्री कुमार ने कहा कि एक मौका दिया गया है। स्थिति न सुधरने पर अब कार्रवाई होगी।
हालांकि स्टेशन परिसर में चर्चा थी कि मंगलवार की रात जीएम ने निरीक्षण के दौरान खामियां पाई व एक मैनेजर व एक इंजीनियर के खिलाफ कार्रवाई की। हालांकि इसकी पुष्टि नहीं हो पाई।
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तीखी टिप्पणी, दो टूक आदेश
कैंट रेलवे स्टेशन पर भारी गड़बड़ियों के बीच रेलवे बोर्ड के चेयरमैन अरुणेंद्र कुमार कई बार बेहद क्षुब्ध हो गए। इस दौरान उन्होंने कई तल्ख टिप्पणियां कीं व आदेश भी दिए-
-मौके पर ही डीआरएम जगदीप राय व स्टेशन प्रबंधक एके पांडेय को सख्त निर्देश दिया कि अब हालात सुधारें वरना 'दिक्कत हो जाएगी'।
-दिल्ली से अधिकारी यहां बार-बार यह बताने नहीं आएंगे कि स्थानीय अफसरों को क्या करना हैं। स्टेशन प्रबंधक से तीखा सवाल किया कि यह किस की जिम्मेदारी है! स्टेशन प्रबंधक मौन थे।
-चेयरमैन प्रतीक्षालय स्थित सुलभ शौचायल में घुस गए। बदबू व गंदगी देखकर दंग, क्षुब्ध। डीआरएम से कहा कि यहां की व्यवस्था सुधरने तक अपर मंडल रेल प्रबंधक यहीं कैंप करें। हालांकि बाद में चेयरमैन ने इसे अंदरुनी मामला बताया।
-खफा चेयरमेन ने पिछले तीन माह में लखनऊ से बनारस दौरे पर आए सभी रेल अधिकारियों की रिपोर्ट तलब कर ली है।
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