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घटने लगा उत्तर प्रदेश की नदियों का जलस्तर, कटान तेज

उत्तर प्रदेश में बढ़ती नदियों का जलस्तर घटने से कटान तेज है। अब बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में संक्रामक रोगों का खतरा बढ़ गया है।

By Nawal MishraEdited By: Published: Wed, 03 Aug 2016 08:17 PM (IST)Updated: Wed, 03 Aug 2016 08:26 PM (IST)

लखनऊ (जेएनएन)। उत्तर प्रदेश में बढ़ती नदियों का जलस्तर अब घटा है लेकिन कटान तेज होने से लोगों की मुश्किलें बढ़ गईं हैं। बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में संक्रामक रोगों का खतरा बढ़ गया है।

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सीतापुर में घाघरा व शारदा नदी का जल स्तर घटने के बाद स्थिर है, लेकिन घाघरा से रेउसा के मेउड़ी छोलहा के भदिम्मरपुरवा, गोलोक कोडऱ के पचीसा गांव में कटान हो रही है। वहीं शारदा नदी बेहटा ब्लॉक के सेतुही, सोंसरी में कटान कर रही है। रामपुर मथुरा ब्लॉक के अंगरौरा ग्राम में भी कटान तेज हो गई है।

लखीमपुर के पलिया में शारदा नदी खतरे के निशान से काफी ऊपर बह रही है। पलिया व निघासन तहसील क्षेत्र के कई गांवों में फसलें बाढ़ के पानी में डूबी हुई हैं। वहीं धौरहरा तहसील क्षेत्र के गांव हुलासपुरवा में घाघरा की कटान जारी है। निघासन के तिकुनिया इलाके में मोहाना नदी की कटान से हाहाकार मचा है। बाराबंकी में घाघरा नदी लाल निशान से ऊपर बह रही है।

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बहराइच में घाघरा नदी का जलस्तर फिर बढऩे लगा है। गोलागंज व कायमपुर में आधा दर्जन आशियाने कटकर नदी की धारा में समा गए। दो दर्जन से अधिक गांव बाढ़ के पानी से घिरे हुए हैं। जलमग्न गांवों में पशुओं के सामने जहां चारे का संकट है वहीं प्रभावित लोग भोजन के लिए भी तरस रहे हैं। जिन गांवों में पानी कम हो गया है वहां संक्रामक रोगों के फैलने का खतरा बढ़ रहा है। बलरामपुर में राप्ती अभी भी खतरे के निशान से निशान ऊपर बह रही है। सौ से अधिक गांव बाढ़ की जद में हैं। पहाड़ी नालों में उफान से कई रास्ते अभी भी बंद हैं। श्रावस्ती में बाढ़ का पानी उतरने के बाद संक्रामक रोग बढऩे का खतरा बढ़ गया है। गोंडा में घाघरा व सरयू नदी लाल निशान पार बह रही हैं। अंबेडकरनगर में घाघरा का जल स्तर खतरे के निशान से ऊपर रहा। मांझा उल्टहवा ग्राम पंचायत की करीब पांच हजार आबादी बाढ़ के पानी से घिरी है।

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कानपुर, उन्नाव, कन्नौज, फतेहपुर, हरदोई तथा फर्रुखाबाद में यह नदी बुधवार को भी उफान पर रही। फर्रुखाबाद में रामगंगा का जलस्तर बढ़ रहा है। कटान की गति तेज हो गई। वहीं गंगा की बाढ़ का पानी एक दर्जन गांवों में भरा है। कन्नौज व उन्नाव के कछारी क्षेत्र में भी गंगा का जलस्तर लगातार बढ़ रहा है।

सिद्धार्थनगर में अब भी 65 गांव मैरुंड हैं वहीं गोरखपुर में एक दर्जन और देवरिया जिले में चार गांव पानी से घिर गए हैं। बस्ती में घाघरा खतरे के निशान से ऊपर है। यहां के 14 गांव मैरुंड है। संतकबीर नगर में भी घाघरा खतरे के निशान से ऊपर है। मुरादाबाद में गंगा का जलस्तर बढ़ रहा है। पीलीभीत में नदियां उफान पर हैं। शारदा और देवहा में पानी बढ़ रहा है।


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