रुहेलखंड की उम्मीदें फिर डिरेल
जागरण संवाददाता, बरेली : यूपीए सरकार का अंतरिम रेल बजट रुहेलखंड की उम्मीदों को डिरेल कर गया। हां, बरेली जंक्शन से भोपाल के लिए साप्ताहिक ट्रेन, इज्जतनगर रेल मंडल को दो नई एक्सप्रेस ट्रेन का झुनझुना जरूर थमा दिया गया। इसके साथ ही जंक्शन से गुजरने वाली सात ट्रेनें यात्रियों को जरूर राहत दे सकती हैं। भोजीपुरा वाया पीलीभीत टनकपुर ब्रॉडगेज, डेमू मेंटीनेंस वर्कशॉप, चनेहटी को कैंट स्टेशन का दर्जा और पहाड़ से दक्षिण भारत की नई ट्रेनों के प्रस्ताव लटके ही रहे।
केंद्र की यूपीए सरकार के अंतरिम रेल बजट से रुहेलखंड और उत्तराखंड के यात्रियों को काफी उम्मीदें थीं। रामगंगा-कासगंज ब्रॉडगेज एक-दो महीने में पूरा हो जाएगा। इसके चलते पहाड़ (उत्तराखंड के कुमाऊं) से दक्षिण भारत को कई नई ट्रेन मिलने की उम्मीद थी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। इसके साथ ही जंक्शन से गुजरने वाली दर्जन भर नॉन स्टॉप ट्रेनों में से किसी का भी स्टॉपेज नहीं बढ़ा।
यह हैं सौगात
-आगरा को मिली नई ट्रेन।
-मुरादाबाद रेल मंडल ने दो साल पहले बरेली जंक्शन-भोपाल के बीच एक जोड़ी ट्रेन का प्रस्ताव भेजा था। इसे अंतरिम रेल बजट में हरी झंडी मिल गई है। साप्ताहिक एक्सप्रेस ट्रेन सुबह छह बजे चलकर चंदौसी, टूंडला, अलीगढ़, आगरा, झांसी, ग्वालियर और रात दो बजे भोपाल पहुंचेगी। बरेली से आगरा, झांसी, ग्वालियर और भोपाल को पहली ट्रेन होगी।
गोरखपुर-लखनऊ की राह आसान
17 प्रीमियम ट्रेनों में से एक पूर्वोत्तर रेलवे को भी मिली है। यह सप्ताह में तीन दिन गोरखपुर से नई दिल्ली जाएगी। लखनऊ, बरेली, मुरादाबाद आदि स्टेशनों पर रुकेगी। इसके साथ ही गोरखपुर-अमृतसर, लखनऊ और काठगोदाम, पटना-नई दिल्ली, हावड़ा-कटरा, कामख्या-नई दिल्ली तथा वाराणसी-नई दिल्ली के बीच चलने वाली ट्रेनों का भी बरेली जंक्शन पर स्टॉपेज होगा। इससे गोरखपुर, लखनऊ, दिल्ली और काठगोदाम के यात्रियों को काफी राहत मिलेगी।
रामनगर से चंडीगढ़ को ट्रेन
इज्जतनगर रेल मंडल को रामनगर से चंडीगढ़ के बीच साप्ताहिक ट्रेन मिली है। इससे पूर्व 31 जनवरी को रामनगर-मुंबई के बीच एक ट्रेन संचालित हो चुकी है। इसके साथ ही काठगोदाम-लखनऊ के बीच भी एक्सप्रेस ट्रेन चलेगी।
जैसलमेर जाएगी रानीखेत एक्सप्रेस
इज्जतनगर रेल मंडल की 15013/15014 रानीखेत एक्सप्रेस का विस्तार जैसलमेर तक किया गया है। यह ट्रेन पहले काठगोदाम से भागत की कोठी तक जाती थी, लेकिन अब जैसलमेर तक संचालन होगा।
यह ट्रेन भी चलेंगी
-साप्ताहिक लखनऊ-अहमदाबाद एक्सप्रेस वाया कासगंज-मथुरा होकर जाएगी।
-लखनऊ-बांद्रा टर्मिनल एक्सप्रेस वाया कोटा, मथुरा और कासगंज से संचालित होगी।
-गोररखपुर-पूना एक्सप्रेस वाया लखनऊ और कानपुर से चलेगी।
-साप्ताहिक खड़वा-जबलपुर एक्सप्रेस
-साप्ताहिक गोरखपुर-मुंबई एक्सप्रेस,
-साप्ताहिक लखनऊ-पूना एक्सप्रेस
यह उम्मीदें नहीं हुई पूरी
-पहाड़ की चढ़ाई को नहीं मिला रास्ता। इस बार पहाड़ की चढ़ाई से काफी राहत मिलने की उम्मीद थी, मगर सपना ही रहा। भोजीपुरा वाया पीलीभीत टनकपुर छोटी लाइन को बड़ी लाइन में परिवर्तित करने को दो साल पहले हरी झंडी मिल गई थी। इसके बाद भी बुधवार को इस रेलखंड के ब्रॉडगेज की घोषणा नहीं हुई।
..फिर खाली हाथ डीजल शेड-वर्कशॉप
इज्जतनगर रेल मंडल का डीजल शेड और वर्कशॉप फिर खाली हाथ रह गया। डीजल शेड में इलेक्ट्रिक इंजनों की मरम्मत और वर्कशॉप में भी विस्तार को प्रस्ताव था, मगर यह भी पूरा नहीं हो सका।
डेमू मेंटीनेंस को नहीं मिला धन
सीबीगंज स्थित बदं स्लीपर फैक्ट्री की खाली भूमि पर डेमू मेंटीनेंस वर्कशॉप बनाने के प्रस्ताव को हरी झंडी मिल चुकीं है। इसकी डीपीआर बनाने को राशि भी मिली, लेकिन बजट में धन देने की घोषणा नहीं हुई।
..नहीं मिला कैंट का दर्जा
उत्तर रेलवे के बरेली जंक्शन का भार कम करने के लिए चनेहटी स्टेशन को कैंट का दर्जा मिलना था। इसके लिए वर्ष 2004 में लड़ाई शुरू हुई थी। इसमें रक्षा मंत्रालय, राज्य सरकार, गृह मंत्रालय से एनओसी मिल चुकीं है, मगर यह सपना फिर पूरा नहीं हो सका।
रोशन नहीं हुई ब्रांच लाइन
बरेली वाया चंदौसी मुरादाबाद रेलखंड को विद्युतीकरण करने के लिए सर्वे पूरा हो चुका है, मगर इसके प्रस्ताव पर भी चर्चा नहीं हुई।
धूप में फिर झुलसेंगे यात्री
जंक्शन के प्लेटफार्म नंबर दो, तीन व चार से सफर करने वाले यात्री इस दफा भी धूप से झुलसेंगे। जंक्शन को अपग्रेड करने की लंबे समय से मांग उठ रही थी, जो पूरी नहीं हुई।
यह भी अधूरे रह गए प्रस्ताव
-लालकुआं से कोटा, गोरखपुर,बरेली सिटी से कासगंज और दक्षिण भारत के लिए नौ ट्रेनों का संचालन का प्रस्ताव भेजा था।
-पीलीभीत-शाहजहांपुर छोटी लाइन भी बड़ी लाइन नहीं हो सकेगी।