विवादों में डेरा प्रमुख की फिल्म 'जट्टू इंजीनियर', एसजीपीसी ने जताया विरोध
फिल्म 'जट्टू इंजीनियर' में डेरा मुखी ने सिख की भूमिका निभाई है, जिस पर शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी) ने विरोध जताया है। ...और पढ़ें

जेएनएन, अमृतसर। डेरा सिरसा के प्रमुख संत गुरमीत राम रहीम की फिल्म 'जट्टू इंजीनियर' विवादों में आ गई है। फिल्म में डेरा मुखी ने सिख की भूमिका निभाई है, जिस पर शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी (एसजीपीसी) ने ऐतराज प्रकट किया है।
इस भूमिका को एसजीपीसी के अध्यक्ष प्रो. किरपाल सिंह बडूंगर ने सिखों के अक्स के खिलाफ बताया है। मामले को एसजीपीसी और अन्य सिख संगठन श्री अकाल तख्त साहिब लेकर जाएंगे। इसके अलावा केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय और फिल्म सेंसर बोर्ड को भी शिकायत की जाएगी।
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श्री अकाल तख्त साहिब में पांच सिंह साहिबान जो भी फैसला लेंगे, उस पर सिख कौम अमल करेगी। बडूंगर ने पत्रकार वार्ता के दौरान यह बात कही। इस अवसर पर उनके साथ श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ज्ञानी गुरबचन सिंह, दमदमी टक्साल के मुखी बाबा हरनाम सिंह धुम्मा और दिल्ली गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के अध्यक्ष मंजीत सिंह जीके भी मौजूद थे।
प्रो. बडूंगर ने कहा कि डेरा मुखी का फिल्म में निभाया किरदार सिख परंपराओं के खिलाफ है। डेरा मुखी सिर्फ सस्ती शोहरत हासिल करने के लिए इस तरह के फिल्मी रोल करके सिख कौम के अक्स को खराब करने की कोशिश कर रहे हैं, जो सहन नहीं होगा। इस मुद्दे पर विशेषज्ञों और अन्य सिख संगठनों के साथ भी चर्चा की जाएगी। श्री अकाल तख्त साहिब के आदेश पर ही आगे की कार्रवाई होगी।
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पहले भी हुआ था विरोध
पहले ही डेरा मुखी की फिल्म 'मैसेंजर ऑफ गॉड' विवादों में रही थी और इसका भारी विरोध हुआ था। एसजीपीसी शुरू से ही उन फिल्मों का विरोध करती आ रही है, जिन फिल्मों में सिखों की भूमिका को गलत ढंग से पेश किया गया था। इसके लिए एसजीपीसी ने अपने तौर पर भी एक विशेषज्ञों की जांच कमेटी बनाई है, जो सिखों से संबंधित फिल्मों को रिलीज होने से पहले खुद देखती है। इसके बाद ही रिलीज करने की इजाजत देती है। 'जट्टू इंजीनियर' को रिलीज करने से पहले डेरा की ओर से एसजीपीसी को फिल्म नहीं दिखाई गई।
सिख कौम से निष्कासित हैं डेरा मुखी
डेरा मुखी को पहले ही श्री अकाल तख्त साहिब से हुक्मनामा जारी करके सिख कौम से निष्कासित किया जा चुका है। इस से पहले भी एसजीपीसी सिंह इज किंग, सन ऑफ सरदार, जो बोले सो निहाल, नानक शाह फकीर और फ्लाइंग जट्ट आदि फिल्मों पर ऐतराज प्रकट कर चुकी है।

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