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गिरफ्तार शिक्षकों का खुलासा, डीएवी में छात्रों को फेल-पास करने का चल रहा बड़ा खेल

पुनाईचक का डीएवी स्कूल भ्रष्टाचार में लिप्त हो चुका है। छात्र-छात्राओं को फेल-पास के जाल में फंसाया जाता था और फिर जमकर वसूली होती थी। पुलिस की गिरफ्त में आए डीएवी के शिक्षकों ने लिखित बयान में इस खेल को उजागर किया है।

By pradeep Kumar TiwariEdited By: Published: Sat, 21 Mar 2015 10:05 AM (IST)Updated: Sat, 21 Mar 2015 10:06 AM (IST)

पटना। पुनाईचक का डीएवी स्कूल भ्रष्टाचार में लिप्त हो चुका है। छात्र-छात्राओं को फेल-पास के जाल में फंसाया जाता था और फिर जमकर वसूली होती थी। पुलिस की गिरफ्त में आए डीएवी के शिक्षकों ने लिखित बयान में इस खेल को उजागर किया है। शिक्षक सनातन महाराणा एवं गोरांग डे ने पुलिस को बताया है कि पास होने वाले छात्रों को भी फेल कर दिया जाता है। छात्रों को कहा जाता है कि तुम 11 वीं में फेल हो। 12वीं का फॉर्म नहीं भरा जाएगा। फिर छल-कपट का खेल चलता है। किसी परिचित शिक्षक के माध्यम से छात्र को ज्यादा रकम देकर पास करा देने की परिस्थिति बनाई जाती है। इस बीच स्कूल प्रबंधन चुपके से छात्र का फार्म दिल्ली भेजकर एडमिट कार्ड मंगा चुका होता है। छात्र को यह बात पता नहीं होती थी। जब वह पैसे देने को राजी हो जाता था, तो उसे एडमिट कार्ड दिया जाता था।

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बड़े-बड़े शामिल

प्रिया रॉय के मामले में भी ऐसा ही खेल हुआ था। इसमें परीक्षा नियंत्रक, रूटीन टीचर और प्राचार्य से लेकर कई वरिष्ठ शिक्षक शामिल थे। हालांकि किसी कारण से 62 हजार रुपये देने को राजी होने पर भी प्रिया और स्कूल प्रबंधन के बीच फेल को पास कराने का सौदा नहीं पटा। फिर संदेहास्पद स्थिति में प्रिया गायब हो गई।

जेल भेजे गए तीन शिक्षक

विद्यार्थियों एवं उनके अभिभावकों आर्थिक दोहन करने व मानसिक प्रताडऩा देने के मामले में पटना सिविल कोर्ट ने स्कूल के तीन शिक्षकों को 2 अप्रैल तक के लिए फुलवारीशरीफ जेल भेज दिया। शास्त्रीनगर पुलिस ने शुक्रवार को न्यायिक दंडाधिकारी ज्योति प्रकाश की अदालत में शिक्षक प्रदीप भारती, सनातन महाराणा एवं गोरांग डे को पेश किया था। महाराणा प्राथमिकी अभियुक्त है जबकि अन्य दो अप्राथमिकी अभियुक्त हैं।

जांच अधिकारियों को भी शो कॉज

न्यायिक दंडाधिकारी श्री प्रकाश ने शास्त्रीनगर थाना प्रभारी रमेश प्रसाद सिंह और अनुसंधानकर्ता ज्योति पुंज के खिलाफ कारण बताओ नोटिस जारी करने का आदेश दिया है। दोनों को जवाब दो दिनों के अंदर दाखिल करने का निर्देश दिया गया है। अदालत ने दोनों से पूछा है कि अभियुक्तों को न्यायालय में पेशी के वक्त सीआरपीसी के प्रावधान का क्यों उल्लंघन किया गया। मेडिकल जांच क्यों नहीं कराई गई। केवल अभियुक्तों के स्वीकारोक्ति बयान को ही अदालत में प्रस्तुत क्यों किया गया। अदालत ने नोटिस के जरिये पूछा है कि क्यों ना आप लोगों के खिलाफ कार्रवाई की जाय। दरअसल अदालत के समक्ष तीनों आरोपियों ने शास्त्रीनगर पुलिस पर मारपीट करने का आरोप लगाया।

शिक्षकों ने कबूल किया अपराध

भारती ने शास्त्रीनगर पुलिस के समक्ष कबूल किया है कि मैं 1999 से स्कूल में कॉमर्स का शिक्षक हूं। परीक्षा नियंत्रक भी हूं। जो कार्य करता हूं, वह प्रधानाध्यापक के इशारे पर करता हूं। कम्प्यूटर टीचर अजीत कुमार वर्मा निर्देशानुसार 11वीं में फेल विद्यार्थी को भी फाइनल लिस्ट आफ कंडीडेट फार रजिस्ट्रेशन (एलओसी) में नाम जोड़कर सीबीएसई बोर्ड को भेज दिया जाता था। मोटी रकम लेकर 11वीं में फेल को 12वीं की परीक्षा में सम्मिलित करा दिया जाता है। जिन छात्रों का फाइनल एलओसी बोर्ड को भेजा जाता है, बोर्ड उनका एडमिट कार्ड भेज देता है। भारती ने पुलिस के समक्ष स्वीकार किया कि इस वर्ष मैंने 11वीं में 79 फेल छात्रों का नाम फाइनल एलओसी में भेजा। इसके लिए स्कूल प्रबंधन ने मुझे निर्देशित किया था। इनमें प्रिया राय का नाम भी है।

शिक्षकों से परिचित थी प्रिया

शिक्षकों ने स्वीकार किया कि गोरांग डे और महाराणा से प्रिया की पहले से जान पहचान है। 28 फरवरी 2015 को प्रिया अपने पिता के साथ 62 हजार रुपये लेकर स्कूल आई थी। लेकिन मामला नहीं बनने पर प्रधानाचार्य के निर्देश के बाद उसे एडमिट कार्ड नहीं दिया, जबकि प्रिया का एडमिट कार्ड आया था। शिक्षक महाराणा और डे ने ही प्रिया को स्कूल में बुलाया था। इन दोनों शिक्षकों के ही सहारे फेल होने के बावजूद प्रिया स्कूल में आती थी। 11वीं में फेल छात्र भी स्कूल प्रबंधन 60 से 80 हजार रुपये लेकर एक षड्यंत्र के तहत 12वीं की परीक्षा में शामिल करवाया जाता था। सभी मामले में प्रधानाध्यापक रामानुज प्रसाद का हाथ है।

आरोपी शिक्षक सनातन महाराणा ने भी पुलिस के समक्ष स्वीकार किया कि प्रिया की जान-पहचान शिक्षक गोरांग डे से बहुत पहले से थी। प्रिया को जानबूझकर 11वीं में फेल कराया गया। प्रिया ने गोरांग डे माध्यम से संपर्क किया। डे और मैंने प्रिया से कहा कि स्कूल कभी-कभी आ जाया करो। हम तुम्हें 12वीं की परीक्षा में सम्मलित करा देंगे।

शिक्षकों पर 420 का मुकदमा

शास्त्रीनगर थाना प्रभारी रमेश प्रसाद सिंह ने 18 मार्च को थाने में आइपीसी की धारा 420, 465, 468 और 471 के तहत प्राथमिकी दर्ज कराई थी जिसमें स्कूल के प्रधानाध्यापक रामानुज प्रसाद और शिक्षक महाराणा को नामजद किया गया था।

कोर्ट में पेश हुई प्रिया, मेडिकल होगा

शास्त्रीनगर पुलिस ने प्रिया राय को शुक्रवार को कोर्ट के समक्ष उपस्थित किया। अदालत ने प्रिया का मेडिकल कराने का आदेश दिया। प्रिया के पिता ने 28 फरवरी को शास्त्रीनगर थाने में अपहरण की प्राथमिकी दर्ज कराई थी।


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