Move to Jagran APP

जम्मू-कश्मीर:अमरनाथ यात्रियों से लगवाये गए पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे

हिजबुल कंमाडर बुरहान वानी की सुरक्षाबलों के साथ हुई मुठभेड़ के बाद कश्मीर में हिंसा भड़क उठी हैं जिसमें अभी तक 11 लोगों की मौत हो गई है।

By kishor joshiEdited By: Published: Sun, 10 Jul 2016 01:03 AM (IST)Updated: Sun, 10 Jul 2016 06:24 AM (IST)
जम्मू-कश्मीर:अमरनाथ यात्रियों से लगवाये गए पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे

राज्य ब्यूरो, श्रीनगर। आतंकी संगठन हिजबुल मुजाहिदीन के 22 वर्षीय कमांडर बुरहान वानी की मुठभेड़ में मौत के बाद शनिवार को कश्मीर में हिंसा भड़क उठी जिसमें 11 प्रदर्शनकारियों की मौत हो गई। सुबह से देर शाम तक जारी झड़पों में 96 सुरक्षाकर्मियों समेत 180 से ज्यादा लोग जख्मी हो गए। तीन पुलिसकर्मियों की हालत गंभीर है, उन्हें भीड़ में शामिल आतंकियों ने निशाना बनाया। हिंसक भीड़ ने कुलगाम में एक भाजपा नेता और कोकरनाग में एक विधायक के मकान के अलावा वादी में सात जगहों पर पुलिस चौकियों, थानों और तहसील ऑफिस को आग लगा दी। बांडीपोर में बीएसएफ बंकर जलाने का प्रयास किया।

loksabha election banner

पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगवाए

ऊधमपुर में उग्र भीड़ ने अमरनाथ श्रद्धालुओं के कई वाहनों को निशाना बनाया। पथराव में दर्जनों वाहन क्षतिग्रस्त हुए और कई श्रद्धालु घायल हुए। दिल्ली, गुजरात, हरियाणा, पंजाब सहित कई राज्यों के श्रद्धालुओं पर पत्थर बरसाए गए। कई यात्रियों से पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगाने को कहा गया और न लगाने पर जान से मारने की धमकियां दी गई। नारे लगवाने के बाद भीड़ ने मारपीट के बाद उन्हें छोड़ा। कई वाहनों को जला दिया गया।

पढ़ें- यदि जिहाद इतना पवित्र है, तो अलगावदी नेताओं के बेटे क्यों नहीं उठाते बंदूक-जुनैद कुरैशी

प्रदर्शनकारियों ने दमहाल हांजीपोरा पुलिस स्टेशन से हथियार लूटने के बाद 20 पुलिसकर्मियों को बंधक बना लिया। 17 को किसी तरह बल प्रयोग कर छुड़ाया गया, लेकिन तीन पुलिसकर्मी देर रात गए तक लापता थे। बिगड़े हालात को देखते हुए अमरनाथ यात्रा रोक दी गई है। बुरहान वानी और उसके दो साथियों सरताज और मासूम शाह को शुक्रवार शाम अनंतनाग में मुठभेड़ में मार गिराया गया था। उसके बाद से ही हिंसक झड़पों का दौर शुरू हो गया था। प्रशासन ने रात में ही पूरी वादी में सुरक्षा कड़ी कर दी थी। दक्षिण कश्मीर और श्रीनगर के आठ थाना क्षेत्रों में पुलिस ने निषेधाज्ञा लागू कर सभी संवदेनशील इलाकों में आने-जाने के सभी रास्तों को सील कर दिया था।

नमाज के बाद हिंसक हुए लोग

कश्मीर के विभिन्न हिस्सों में हजारों लोगों ने मारे गए आतंकियों के लिए गायबाना नमाज अदा की। उसके बाद ¨हसक हुए लोगों ने जुलूस निकाल कर सुरक्षा बलों पर पथराव किया। पुलिस को लाठियां, आंसूगैस, रबर की गोलियां और हवाई फायरिंग का सहारा लेना पड़ा। वेस्सु कुलगाम में भीड़ ने हिंदुओं और सिखों के मोहल्ले पर भी पथराव किया। उन्होंने वहां चौकी पर भी हमला किया। लारनू-अनंतनाग, पल्हालन में दो पुलिस चौकियों पर पथराव किया। कुलगाम में भाजपा नेता गुलाम हसन जरगर का मकान जला दिया गया।

पढ़ें- अमरनाथयात्रा पर गए अलीगढ़ के 250 लोग कश्मीर में फंसे

इंटरनेट सेवा बंद

प्रशासन ने पूरे कश्मीर में मोबाइल इंटरनेट सेवाओं को शुक्रवार को आधी रात के बाद ही बंद कर दिया। इसके साथ ही ब्राडबैंड सेवा की गति धीमी कर दी गई।

हाईवे और रेल सेवाएं बंद

प्रशासन ने श्रीनगर से जम्मू की तरफ किसी भी तरह के सामान्य वाहन को जाने की इजाजत नहीं दी। बनिहाल-बारामुला रेल सेवा भी पूरी तरह बंद रही।

परीक्षाएं स्थगित

छात्रों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए 9 जुलाई को कश्मीर में होने वाली 11वीं की परीक्षा को स्थगित कर दिया गया। इसके अलावा यूजीसी, राज्य लोक सेवा आयोग, जेकेबोपी और इस्लामिक यूनिवर्सिटी ने रविवार को होने वाली सभी परीक्षाओं को भी रोक दिया गया है।

पढ़ें- आतंकी बुरहान की मौत के बाद कश्मीर में हालात बिगड़े, अमरनाथ यात्रा रोकी गई

बंद रहे स्कूल, दुकान, कार्यालय

अलगाववादियों के बंद के आह्वान और प्रशासनिक पाबंदियों का असर सुबह से ही पूरी वादी में नजर आया। दुकानें, निजी कार्यालय, व्यापारिक प्रतिष्ठान और पेट्रोल पंप बंद रहे। बैंक और केंद्रीय विभागों के कार्यालयों में ताले लटके रहे। सार्वजनिक वाहन सड़कों से नदारद रहे। शैक्षणिक संस्थान भी बंद रहे।

अलगाववादी रहे नजरबंद

प्रशासन ने सभी प्रमुख अलगाववादियों को एहतियातन उनके घरों में नजरबंद रखा। इनमें सईद अली शाह गिलानी, मीरवाइज मौलवी उमर फारूक, शब्बीर शाह, यासीन मलिक, हिलाल वार, मुहम्मद अशरफ सहराई, नईम खान, पीर सैफुल्ला, जावेद मीर, एयाज अकबर शामिल हैं।

पढ़ें- कश्मीर के नाराज लोगों का नायक बन गया है बुरहान वानी : उमर अब्दुल्ला

शांति बनाए रखें: राजनाथ

केंद्रीय गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है। उन्होंने जम्मू-कश्मीर में जानमाल के नुकसान पर दुख जताते हुए कहा कि हालात सामान्य बनाने के लिए केंद्र सरकार राज्य सरकार के साथ हर वक्त खड़ी है।

कौन था बुरहान वानी

  • 15 साल की उम्र में वर्ष 2010 में बुरहान अपने भाई के मारे जाने के बाद हिजबुल मुजाहिदीन से जुड़ा।
  • उसका मानना था कि उसके भाई की सेना ने हत्या कर दी थी। वह इसका बदला लेना चाहता था।
  • कश्मीर के त्राल का रहने वाला बुरहान वानी एक रसूखदार परिवार से था।
  • उस पर कश्मीर के शिक्षित युवाओं को हिजबुल से जोड़ने का जिम्मा था।
  • बुरहान पर 10 लाख का इनाम भी घोषित किया गया था।
  • वह पिछले साल फौजी वर्दी में अपनी तस्वीरों को सोशल मीडिया पर शेयर करने के बाद चर्चा में आया था।

Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.