Move to Jagran APP

'गोवध करने वालों की रद हो नागरिकता'

देहरादून, जासं। उत्तराखंड के राज्यपाल अजीज कुरैशी ने कहा कि गोवध करने वाले की भारतीय नागरिकता रद कर देनी चाहिए। रविवार को गोवर्धन जन जागरण रैली में शरीक राज्यपाल ने स्पष्ट किया कि गोवध करने वाला ¨हदुस्तानी हो ही नहीं सकता। इस बाबत केंद्र सरकार को कानून भी बनाना चाहिए। उन्होंने भारतीय गो क्रांति मंच की सभी म

By Edited By: Published: Sun, 21 Sep 2014 10:19 PM (IST)Updated: Sun, 21 Sep 2014 10:19 PM (IST)
'गोवध करने वालों की रद हो नागरिकता'

देहरादून, जासं। उत्तराखंड के राज्यपाल अजीज कुरैशी ने कहा कि गोवध करने वाले की भारतीय नागरिकता रद कर देनी चाहिए। रविवार को गोवर्धन जन जागरण रैली में शरीक राज्यपाल ने स्पष्ट किया कि गोवध करने वाला ¨हदुस्तानी हो ही नहीं सकता। इस बाबत केंद्र सरकार को कानून भी बनाना चाहिए। उन्होंने भारतीय गो क्रांति मंच की सभी मांगों का समर्थन करते हुए राष्ट्रपति को मांग-पत्र भेजने की बात कही।

loksabha election banner

परेड ग्राउंड में आयोजित राज्य स्तरीय रैली में बतौर मुख्य अतिथि राज्यपाल ने कहा कि देश के 80 करोड़ से ज्यादा लोग गाय को माता मानते हैं और पिछले 50 सालों से गोवध रोकने की दिशा में काम कर रहे हैं। इसके लिए उनके स्तर पर मध्यप्रदेश में आंदोलन भी किए गए। साथ ही पिछले साल उत्तराखंड, उत्तरप्रदेश, हरियाणा व दिल्ली में कुरैशी बिरादरी की पंचायत भी की गई, जिसमें गोवध नहीं करने का निर्णय किया गया था। साथ ही तय किया गया कि यदि कोई गोवध करेगा तो बिरादरी उसका बहिष्कार कर देगी। कुरैशी ने कहा कि मुगलकाल में गोवध पर प्रतिबंध था और बाबर ने बेटे हुमायूं को कहा था कि भारत में ¨हदुओं के दिलों को जीतकर ही कोई राज कर सकता है। अंग्रेज भारत आए तो उन्होंने गोवध की छूट दे दी। देश के 80 करोड़ लोगों की भावनाओं का सम्मान करते हुए राज्य और केंद्र सरकारों को गोमाता को 'राजमाता' का दर्जा दे देना चाहिए।

पढ़ें:गुजरात में मुस्लिमों ने उठाया गोवंश की हिफाजत का बीड़ा

पढ़ें: आतंकवाद में लग रहा है पशुवध का पैसा: मेनका


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.