इन्फ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में निवेश 70 हजार करोड़ तक बढ़ा
जेटली ने बजट की शुरूआत में ही ‘मेक इन प्रोग्राम’ को नई दिशा देने की बात कहते हुए कहा कि सरकार की पांच मुख्य चुनौतियों में ‘निर्माण क्षेत्र’ में निवेश को बढ़ाया जाना भी है, क्योंकि पिछले कुछ समय में निर्माण क्षेत्र में निवेश में भारी कमी आई है।
नई दिल्ली। सरकार ने वर्ष 2015-16 के आम बजट में देश की तरक्की के लिए उद्योगों के साथ-साथ शहरी एवं ग्रामीण विकास की जरूरत पर बल दिया है। उन्होंने साफ किया कि इन्फ्रास्ट्रक्चर डिवेलपमेंट सरकार की प्राथमिकता है, लिहाजा इन्फ्रास्ट्रक्चर सेक्टर को मजबूत बनाया जाएगा। लिहाजा, सरकार ने अपनी प्रतिबद्धता जताते हुए वित्त वर्ष 2015-16 के लिए इन्फ्रास्ट्रक्चर सेक्टर में निवेश के लिए 70 हजार करोड़ रुपए की समग्र वृद्धि की घोषणा की।
जेटली ने बजट की शुरूआत में ही ‘मेक इन प्रोग्राम’ को नई दिशा देने की बात कहते हुए कहा कि सरकार की पांच मुख्य चुनौतियों में ‘निर्माण क्षेत्र’ में निवेश को बढ़ाया जाना भी है, क्योंकि पिछले कुछ समय में निर्माण क्षेत्र में निवेश में भारी कमी आई है। ऐसे में निवेश की स्थिति को मजबूत बनाना सरकार की प्राथमिकता है।
उन्होंने कहा कि अब सार्वजनिक क्षेत्र की कंपनियों का पूंजीगत खर्च 3,17,889 करोड़ रुपए हो जाएगा, जोकि पिछले वर्ष की तुलना में 80,844 करोड़ रुपए से अधिक है। साथ ही सरकार राष्ट्रीय निवेश और इंफ्रास्ट्रक्चर फंड की स्थापना करेगी, जिसे सरकार से 20,000 करोड़ रुपए की इक्विटी दी जाएगी। इस इक्विटी आधार के जरिए बुनियादी ढ़ाचा परियोजनाओं के लिए कर्ज जुटाने में मदद मिलेगी।
उन्होंने यह भी कहा कि सरकार एक इनोवेशन सेंटर पर प्रारंभिक 150 करोड़ रुपए निवेश करेगी, जिसमें युवा दिमाग देश में बड़े पैमाने पर बुनियादी ढांचा परियोजनाओं के लिए योगदान कर सकेंगे। सरकार ने सड़क क्षेत्र के लिए आवंटन 14,031 करोड़ जबकि रेलवे के लिए 10,050 करोड़ रुपए बढ़ाई है।
उन्होंने आगे कहा, दुनिया भर में छाए मंदी के माहौल के बीच भारत की अर्थव्यवस्था तेजी से बढ़ने को तैयार है। लिहाजा, शहरी क्षेत्रों के साथ गांव में गरीबों तक विकास पहुंचाना सरकार का लक्ष्य है। उन्होंने औद्योगिक विकास को आगे बढ़ाना भी सरकार का लक्ष्य बताया।
बड़ी योजनाओं को मिली इतनी राशि
दीनदयाल उपाध्याय ग्राम ज्योति योजना के तहत- 4230 करोड़
भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण- 29420 करोड़
प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना- 4134 करोड़
मेट्रो परियोजनाएं- 8260 करोड़ (इनमें दिल्ली, बेंगलुरु, कोलकाता, मुंबई, कोच्चि, जयपुर, विशाखापत्तम्, अहमदाबाद, लखनऊ और नागपुर शामिल है।)
100 स्मार्ट सिटी-5899 करोड़
नमामि गंगे-2100 करोड़
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