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नौकरी में रहते हुए भी आप निकाल सकते हैं पीएफ का पैसा, जानिए

ईपीएफ खाताधारक अपनी नौकरी के दौरान भी अपने फंड में जमा रकम की राशि की निकासी कर सकते हैं

By Surbhi JainEdited By: Published: Fri, 05 May 2017 01:49 PM (IST)Updated: Fri, 05 May 2017 01:49 PM (IST)
नौकरी में रहते हुए भी आप निकाल सकते हैं पीएफ का पैसा, जानिए

नई दिल्ली (जेएनएन)। पीएफ खातों में किया गया योगदान सेवानिवृत्ति के बाद की जरूरतों का ख्याल रखने के लिहाज से किया जाता है। आमतौर पर यह माना जाता है कि इस फंड में जमा पैसे का इस्तेमाल करने के लिए आपको रिटायरमेंट तक का इंतजार करना पड़ता है। लेकिन आपको मालूम होना चाहिए कि ईपीएफओ रोजगार के दौरान भी ईपीएफ फंड में जमा पैसे का इस्तेमाल करने की अनुमति देता है। वहीं कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने हाल ही में पीएफ निकासी से जुड़े कुछ नियमों में तब्दीली भी की है। हम अपनी खबर के माध्यम से आपको इसके बारे में विस्तार से बताने की कोशिश करेंगे।

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हालांकि आप नौकरी के दौरान सिर्फ कुछ निश्चित मदों के लिए ईपीएफ फंड में जमा राशि की निकासी कर सकते हैं। इसे तकनीकी भाषा में अग्रिम निकासी कहते हैं। हालांकि इसके लिए बतौर सेवा आपका कार्यकाल 5 साल से ऊपर का होना चाहिए।

जानिए किन मदों में आप ईपीएफ निकासी कर सकते हैं....
• घर की खरीद के लिए

• होम लोन के पुर्नभुगतान के लिए

• केन्द्रीय भविष्य निधि आयुक्त की ओर से अधिसूचित आवास योजना के तहत एक घर/साइट/ फ्लैट की खरीद के लिए

• तालाबंदी या अस्थायी बंद होने के कारण बेरोजगारी

• बीमारी के कारण बेरोजगारी

• स्वयं या बेटी, बेटा, बहन, या भाई के विवाह के लिए

• बेटा या बेटी की पढ़ाई के लिए

• असाधारण आपदाओं के लिए

निकासी के दुरुपयोग पर भी प्रतिबंध:
हालांकि, अगर ईपीएफओ को यह मालूम चलता है कि सदस्य की ओर से किसी भी अग्रिम का दुरुपयोग किया गया है, तो संगठन दंड और ब्याज के साथ पूरी राशि को वसूल भी कर सकता है। वहीं इसके अलावा, अगर अग्रिम का एक हिस्सा अप्रयुक्त रहता है, तो उसे ईपीएफ खाते में वापस डाल दिया जाना चाहिए।

कैसे मिलेगा लाभ:
यदि आपके पास केवाईसी के अनुरूप यूनिवर्सल अकाउंट नंबर (यूएएन) है, जो कि सक्रिय है और आपके बैंक अकाउंट से जुड़ा हुआ है तो आपको अपने ईपीएफ की निकासी के लिए लिए नियोक्ता की माध्यम से गुजरने की जरूरत नहीं होगी। यूएएन आधारित फॉर्म 31 (नया) ईपीएफओ को सीधे जमा किया जा सकता है। वरना, आप फॉर्म 31 भर सकते हैं और इसे अपने नियोक्ता के माध्यम से ईपीएफओ में जमा करा सकते हैं।

90 फीसद की निकासी
केंद्रीय श्रम मंत्री बंडारू दत्तात्रेय ने राज्यसभा में दिए गए एक उत्तर में कहा था कि एम्प्लॉय प्रोविडेंट फंड (ईपीएफ) स्कीम+, 1952 में नया पैराग्राफ 68 BD जोड़ा गया है। मंत्री ने बताया कि इस नए प्रावधान के तहत ईपीएफ खाता धारक को-ऑपरेटिव सोसाइटी या हाउसिंग सोसाइटी का हिस्सा होना चाहिए, जिसमें कम से कम 10 सदस्य होने चाहिए। ये घर एवं फ्लैट की खरीद, साइट की खरीद या फिर मकान के निर्माण के लिए फंड में जमा रकम में से 90 फीसद की निकासी कर सकते हैं।

आपको बता दें कि 90 फीसद राशि की निकासी के अलावा सदस्य प्रत्येक माह पीएफ में जमा होने वाली रकम में से भी लोन का भुगतान कर सकेंगे। ईपीएफओ (कर्मचारी भविष्य निधि संगठन) फ्लैट बनाने या फिर प्लॉट खरीदने के लिए सदस्यों के बजाय को-ऑपरेटिव सोसायटी, हाउसिंग एजेंसी या बिल्डरों को भुगतान करेगा। यदि ईपीएफ सदस्य फ्लैट बनाने या प्लॉट खरीदने में विफल हो जाता है तो निकासी की गई राशि को 15 दिन के अंदर ईपीएफओ को वापस जमा करवाना होगा।

गौरतलब है कि हाल ही में ईपीएफओ ने खाताधारकों को यह सुविधा दी है कि वो अपनी बीमारी की स्थिति या फिर विकलांग होने की सूरत में पीएफ खाते में जमाराशि की निकासी बिना डॉक्टर के प्रमाणपत्र के भी कर सकते हैं। वहीं घर की खरीद या फिर बेटा या बेटी की शादी के लिए भी खाते में जमा 90 फीसद रकम की निकासी अग्रिम के रुप में की जा सकती है।

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