Move to Jagran APP

जंगलराज टू की न हो वापसी, महिलाएं दिखा दें अपनी ताकत : स्मृति ईरानी

केंद्रीय मानव संसाधन मंत्री स्मृति ईरानी श्रीकृष्ण मेमोरियल में आयोजित भाजपा महिला मोर्चा के सम्मेलन को संबोधित करने पहुंच गईं हैं।

By pradeep Kumar TiwariEdited By: Published: Sun, 05 Apr 2015 12:52 PM (IST)Updated: Sun, 05 Apr 2015 06:03 PM (IST)

पटना। केंद्रीय मानव संसाधन मंत्री स्मृति ईरानी ने कहा कि लालू प्रसाद के पंद्रह साल के जंगलराज को समाप्त करने के लिए 2005 में जिस तरह महिलाओं ने एकजुट होकर संघर्ष कर उस सरकार को उखाड़ फेंकने का काम किया, उसी तरह जंगलराज टू की वापसी नहीं होने देने के लिए उसे दुबारा अपनी ताकत का अहसास करना होगा।

loksabha election banner

श्रीकृष्ण मेमोरियल हाल में आयोजित भाजपा महिला मोर्चा के सम्मेलन को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा यहां की महिलाओं के उत्साह को देख कर कहा जा सकता है कि बिहार की महिलाएं सूबे में परिवर्तन लाने को पूरी तरह से तैयार हैं।

सम्मेलन को पूर्व उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी, नेता प्रतिपक्ष नंद किशोर यादव, केंद्रीय मंत्री राधामोहन सिंह, प्रदेश अध्यक्ष मंगल पांडेय, केंद्रीय मंत्री रामकृपाल यादव, राजीव प्रताप रूडी, भाजपा की राष्ट्रीय महामंत्री सरोज पांडेय, महिला मोर्चा की राष्ट्रीय अध्यक्ष विजया राहटकर और सांसद रमा देवी ने भी संबोधित किया। प्रदेश महिला मोर्चा की अध्यक्ष सुषमा साहू ने सम्मेलन की अध्यक्षता की।

केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी ने महिलाओं के सच बोलने की ताकत पर महाभारत की कथा सुनाते हुए कहा कि साहस, सेवा और सम्मान के बल पर अगले विधानसभा चुनाव के बाद महिलाएं बिहार में भाजपा की सरकार बनाने में सारथी की भूमिका निभाएंगी।

उन्होंने कहा बिहार में लालू प्रसाद के कुशासन को समाप्त कर 2005 में गठबंधन की सरकार बनवाने में यहां की महिलाओं ने बढ़चढ़कर हिस्सा लिया था। लेकिन क्या कभी उन्होंने सोचा था कि जिस उत्साह और जोश के साथ उन्होंने जंगलराज को हटाया उसकी भाजपा सरकार से हटते ही वापसी भी हो जाएगी। उन्होंने जंगलराज टू की वापसी नहीं होने देने के लिए एकबार फिर से महिलाओं को एकजुट होने का आह्वान किया। कहा कि जल्द ही बिहार में नरेंद्र मोदी के सपनों की सरकार बनेगी।

उन्होंने कहा पिछले कुछ वर्ष पूर्व भोज को लेकर हुई राजनीति की हम चर्चा नहीं करेंगे पर आज जो लोग बिहार की अपेक्षा का आरोप लगाते हैं उन्हें नहीं पता कि चौदहवें वित्त आयोग की सिफारिशों के लागू होने के बाद अगर किसी राज्य को सबसे ज्यादा फायदा हुआ है वह बिहार है।

उन्होंने कहा कि महात्मा गांधी के नाम पर मोतिहारी में विश्वविद्यालय बनाने के लिए पांच साल से आंदोलन चल रहा था। राधामोहन सिंह लगातार इसकी मांग उठाते रहे। कांग्रेसी इसका विरोध करते रहे। जैसे ही केंद्र में नरेंद्र मोदी की सरकार बनी हमने पहला काम जो किया वह मोतिहारी में केंद्रीय विश्वविद्यालय बनाने का प्रस्ताव पारित कराया। उन्होंने कहा बिहार सरकार अगर जमीन दे तो हम वहां केंद्रीय विद्यालय भी बनाने को तैयार है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.