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Britain Polls: पांच साल के भीतर ब्रिटेन में तीसरा आम चुनाव, कल आएंगे नतीजे

ब्रिटेन में आज आम चुनाव के लिए मतदान हो रहा है। मतदान समाप्‍त होने के बाद मतगणना का कार्य शुरू होगा। इसके रुझान शुक्रवार की सुबह आने शुरू हो जाएंगे।

By Ramesh MishraEdited By: Published: Thu, 12 Dec 2019 02:32 PM (IST)Updated: Thu, 12 Dec 2019 07:49 PM (IST)
Britain Polls: पांच साल के भीतर ब्रिटेन में तीसरा आम चुनाव, कल आएंगे नतीजे
Britain Polls: पांच साल के भीतर ब्रिटेन में तीसरा आम चुनाव, कल आएंगे नतीजे

लंदन, प्रेट्र। ब्रिटेन में गुरुवार को हुए ऐतिहासिक आम चुनाव में वोटरों ने बढ़-चढ़कर अपने मताधिकार का प्रयोग किया। माना जा रहा है कि इस चुनाव के नतीजों से ब्रेक्जिट (यूरोपीय यूनियन से ब्रिटेन के अलगाव) का भविष्य तय होगा। ब्रिटेन में 2016 से ब्रेक्जिट के चलते सियासी गतिरोध बना हुआ है। इसी वजह से इस यूरोपीय देश में पांच साल के अंदर तीसरी बार आम चुनाव कराने की नौबत आई। इंग्लैंड, वेल्स, स्कॉटलैंड और उत्तरी आयरलैंड के मतदान केंद्रों पर लोगों ने स्थानीय समयानुसार सुबह सात बजे से लेकर रात दस बजे तक मतदान किया।

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इसके तुरंत बाद मतगणना शुरू हो गई। चुनाव नतीजे शुक्रवार सुबह घोषित किए जाएंगे। चुनाव प्रचार के अंतिम दिन सत्तारूढ़ कंजरवेटिव पार्टी के नेता और प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने कहा था कि सिर्फ उनकी ही पार्टी देश को ब्रेक्जिट के जाल से निकाल सकती है। जबकि जेरेमी कॉर्बिन के नेतृत्व वाली विपक्षी लेबर पार्टी ने वादा किया है कि वह ब्रेक्जिट पर दोबारा जनमत संग्रह कराएगी। ब्रेक्जिट के लिए 31 अक्टूबर तक की समय सीमा तय थी, लेकिन इसे अंजाम तक नहीं पहुंचा पाने के बाद जॉनसन ने मध्यावधि चुनाव कराने का एलान किया था। उन्हें इस बात की उम्मीद है कि वह चुनाव में जीत दर्ज कर 31 जनवरी को 28 सदस्यीय यूरोपीय यूनियन से अपने देश को अलग करने में सफल होंगे।

650 सीटों पर 3,322 उम्मीदवार

ब्रिटिश संसद के निचले सदन हाउस ऑफ कॉमन्स की 650 सीटों के लिए कुल 3,322 उम्मीदवार मैदान में हैं। 326 से ज्यादा सीटें जीतने वाली पार्टी सरकार बनाएगी। मतदान से पहले कराए गए जनमत सर्वेक्षणों में सत्तारूढ़ कंजरवेटिव पार्टी को बहुमत मिलता दिखाया गया है। 

63 भारतीय आजमा रहे किस्मत

इस चुनाव में भारतीय मूल के 63 लोग अपनी किस्मत आजमा रहे हैं। इनमें से 25 को कंजरवेटिव पार्टी ने अपना उम्मीदवार बनाया है। लेबर पार्टी से 13, ब्रेक्जिट पार्टी से 12 और लिबरल डेमोक्रेट्स से आठ भारतवंशी चुनाव मैदान में हैं। बाकी लोग अन्य दलों के उम्मीदवार या निर्दलीय हैं।

40 सीटों पर भारतवंशियों का प्रभाव

छह करोड़ की आबादी वाले ब्रिटेन में भारतीय मूल के लोगों की अच्छी संख्या है। यहां करीब 15 लाख भारतवंशी रहते हैं। अनुमान है कि करीब 40 सीटों पर भारतवंशी वोटर नतीजे प्रभावित कर सकते हैं।

मुख्य मुकाबला कंजरवेटिव और लेबर पार्टी के बीच

मिडिल्सबरो में एक रैली में लेबर पार्टी के कॉर्बिन (70) ने कहा, यह चुनाव बेहद महत्वपूर्ण है, जो वोटर अब भी अनिर्णय की स्थिति में हैं, उन्हें मेरा संदेश है कि वह भविष्य में अच्छी उम्मीद के लिए लेबर पार्टी को वोट करें। हम अत्यधिक अमीर और बड़े व्यावसायिक घरानों पर और अधिक टैक्स लगाकर आर्थिक रूप से आपको मजबूत करेंगे क्योंकि आप इसके हकदार हैं।

लेबर पार्टी सार्वजनिक सेवाओं और राष्ट्रीयकरण पर बड़े पैमाने पर खर्च करने की योजना बना रही है। इसका एलान उसने अपने घोषणापत्र में भी किया है। जबकि ब्रेक्जिट के मुद्दे पर पार्टी का रुख लचीला है। वह सत्ता में आने पर एक और जनमत संग्रह की बात करती है। तीसरे प्रमुख दल लिबरल डेमोक्रेट के नेता जो स्विनसन ने मतदाताओं से ब्रिटेन के यूरोपीय यूनियन से अलग होने के खिलाफ वोट करने की गुहार लगाई है।

कंजरवेटिव पार्टी को मिल सकता है बहुमत

मतदान से एक दिन पहले नए सर्वे में कंजरवेटिव पार्टी को 339 सीटें (2017 के आम चुनाव के मुकाबले 22 ज्यादा) मिलती दिखाई गई हैं। लेबर पार्टी को 231 सीटें (2017 के मुकाबले 31 कम) और स्कॉटिश नेशनल पार्टी को 41 सीटें मिलने की संभावना जताई गई है। लिबरल डेमोक्रेट्स के खाते में सिर्फ 15 सीटें जा रही हैं। पिछले सात दिनों के दौरान यूजीओवी संस्था द्वारा कराए गए सर्वे में लगभग एक लाख लोगों से उनकी राय पूछी गई थी।


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