15 जनवरी को तय होगा कि मरियम नवाज को ECL से राहत मिलती है कि नहीं
एलएचसी15 जनवरी को पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के उपाध्यक्ष मरियम नवाज की याचिका पर सुनवाई करेगा।
लाहौर, एजेंसी । लाहौर उच्च न्यायालय (एलएचसी) 15 जनवरी को पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) के उपाध्यक्ष मरियम नवाज की याचिका पर सुनवाई करेगा। इस याचिका में एक्जिट कंट्रोल लिस्ट (ईसीएल) से उनका नाम हटाने की मांग की गई है। द न्यूज इंटरनेशनल की रिपोर्ट के अनुसार न्यायमूर्ति मुहम्मद तारिक अब्बासी और चौधरी मुश्ताक अहमद की पीठ याचिका पर सुनवाई करेगी। बता दें कि पिछले साल 21 दिसंबर को एक याचिका में मरियम का नाम नो-फ्लाई लिस्ट से हटाने के साथ-साथ विदेश यात्रा की एक बार की अनुमति मांगी गई थी।
पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ की बेटी मरियम अभी लंदन में इलाज करवा रही हैं। उन्होंने सात दिसंबर को इस अनुरोध के साथ अदालत का दरवाजा खटखटाया था। मरियम और उनके पिता को 20 अगस्त, 2018 को ईसीएल में रखा गया था। मरियम वर्तमान में चौधरी शुगर मिल मामले में जमानत पर हैं, जिसमें वह एक संदिग्ध है, लेकिन उसका नाम नो-फ्लाई सूची में बना हुआ है।
गौरतलब है कि लाहौर हाइकोर्ट ने दिसंबर 2019 को पाकिस्तान सरकार को यह आदेश दिया था कि वह सात दिनों के भीतर पाकिस्तान मुस्लिम लीग नवाज (PML-N) की उपाध्यक्ष मरियम नवाज की उस याचिका पर फैसला करे, जिसमें उन्होंने अपना नाम एक्जिट कंट्रोल लिस्ट (Exit Control List, ECL) से हटाने की गुजारिश की है। समाचार एजेंसी एएनआइ के मुताबिक, जस्टिस अली बाकिर नजफी (Justice Ali Baqir Najfi) की अध्यक्षता वाली पीठ ने मरियम नवाज की याचिका पर यह निर्देश जारी किया था।
उल्लेखनीय है कि पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री नवाज शरीफ (Nawaz Sharif) की बेटी मरियम नवाज ने लाहौर हाईकोर्ट (एलएचसी) में याचिका दाखिल करके अपना नाम एक्जिट कंट्रोल लिस्ट (ईसीएल) से हटाने की मांग की थी। पाकिस्तानी अखबार डॉन की रिपोर्ट के मुताबिक, इस याचिका पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने पाकिस्तान सरकार की रिव्यू कमेटी को निर्देश दिया कि वह इस मामले में एक हफ्ते के भीतर फैसला ले। बता दें कि पाकिस्तान के नेशनल एकाउंटबिलिटी ब्यूरो (National Accountability Bureau's, NAB) की अपील पर इमरान खान की सरकार ने मरियम का नाम एक्जिट कंट्रोल लिस्ट में डाला था।
इस बारे में 20 अगस्त 2018 को ज्ञापत जारी किया गया था। डॉन न्यूज के मुताबिक, पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (पीएमएल-एन) की नेता ने अपनी याचिका में दलील दी है कि उनका नाम बिना किसी सूचना के ईसीएल में डाला गया था। उन्होंने यह भी कहा है कि इस बारे में जारी ज्ञापन गैर कानूनी है। उल्लेखनीय है कि मरियम वर्तमान में चौधरी शुगर मिल्स भ्रष्टाचार मामले में जमानत पर बाहर हैं, लेकिन उनका नाम नो-फ्लाई लिस्ट में बना हुआ है। उनके पिता नवाज शरीफ को इलाज कराने के लिए पिछले महीने सरकार और अदालतों ने लंदन जाने की अनुमति दी थी।