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भारत के बाद श्रीलंका में भी बैन हुआ जाकिर नाइक का चैनल 'Peace', Serial Blast से जुड़े तार

श्रीलंका में दो प्रमुख केबल टीवी ऑपरेटरों ने विवादास्पद भारतीय इस्लामिक उपदेशक जाकिर नाइक के पीस टीवी को बैन कर दिया हैं।

By Nitin AroraEdited By: Published: Wed, 01 May 2019 04:24 PM (IST)Updated: Wed, 01 May 2019 04:24 PM (IST)
भारत के बाद श्रीलंका में भी बैन हुआ जाकिर नाइक का चैनल 'Peace', Serial Blast से जुड़े तार
भारत के बाद श्रीलंका में भी बैन हुआ जाकिर नाइक का चैनल 'Peace', Serial Blast से जुड़े तार

कोलंबो,पीटीआइ। श्रीलंका में ईस्टर वाले दिन हुए भीषण आतंकी हमलों ने पूरे देश को दहला कर रख दिया। धमाकों के बाद सरकार ने कई तरह के अहम फैसले लिए, जिनमें सोशल मीडिया पर बैन से लेकर कई तमाम फैसले देश की सुरक्षा के मद्देनजर उठाए गए। इस बीच देश में दो प्रमुख केबल टीवी ऑपरेटरों ने विवादास्पद भारतीय इस्लामिक उपदेशक जाकिर नाइक के 'पीस' टीवी को बैन कर दिया हैं। बता दें कि भारत और बांग्लादेश ने पहले से ही मलेशिया स्थित नाइक के 'पीस' टीवी पर प्रतिबंध लगा रखा है। आरोप है कि इसपर अक्सर आईएसआईएस में शामिल होने के लिए युवाओं का दिमाग भरा जाता है, उनका ब्रेनवॉश किया जाता रहा है।

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श्रीलंका के दो सबसे बड़े केबल ऑपरेटरों 'डायलॉग' और 'एसएलटी' ने जाकिर नाइक के 'पीस' टीवी को प्रसारित करना बंद कर दिया है। हालांकि, इसपर अभी कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की गई है। वहीं श्रीलंका सरकार ने भी विवादास्पद 'पीस' टीवी पर अभी कोई प्रतिबंध नहीं लगाया है। बता दें कि देश की सुरक्षा के मद्देनजर श्रीलंका में कई अहम फैसले लिए जा रहे है और यह कदम भी घातक ईस्टर संडे बम विस्फोटों के बाद लिया गया। इन भीषण आतंकी हमलों में 253 लोग मारे गए और 500 अन्य घायल हो गए थे।

जानकारी के मुताबिक 'पीस' टीवी को नाइक के मुंबई स्थित इस्लामिक रिसर्च फाउंडेशन द्वारा 2006 में लॉन्च किया गया था। 2009 में इसका एक उर्दू संस्करण लॉन्च किया गया और फिर इसके बाद 2011 में एक बंगला संस्करण को भी लॉन्च किया गया। बता दें कि अंग्रेजी, उर्दू और बंगाली भाषा में ये दुबई से प्रसारित किया जाता है।

बता दें कि नाइक भारत की राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) की वॉन्टेड लिस्ट में शामिल हैं। आरोप है कि नाइक ने अपने नफरत भरे भाषणों से युवाओं को आतंकी गतिविधियों की तरफ उकसाना का काम किया है। नाइक को राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) द्वारा आतंक और मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपों के तहत जांच की जा रही थी। उन्होंने जुलाई, 2016 में भारत छोड़ दिया था। वहीं अब नाइक को मलेशियाई स्थायी निवासी का भी दर्जा मिल गया है।


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